बांसवाड़ा. राजस्थान के रोडवेज आगार प्रबंधकों को छोटे-छोटे काम के लिए मुख्यालय की मेहरबानी का इंतजार नहीं करना पड़ेगा. अब आगार प्रबंधक अपने स्तर पर ही एक निश्चित राशि तक का काम करवा सकेंगे. राजस्थान रोडवेज प्रशासन इसके लिए हर आगार को निर्धारित राशि का आवंटन करने जा रहा है. रिवाल्विंग फंड नाम से एक नया मद जारी किया गया है.
इसके तहत हर आगार को प्रतिमाह 40 हजार रुपए का आवंटन किया जाएगा. इस राशि के जरिए आगार प्रबंधक किसी भी रोडवेज बस में अचानक आए किसी काम के साथ-साथ आगार परिसर की मरम्मत करवा सकेंगे.
अब तक रोडवेज आगार प्रबंधक चाहे रोडवेज बस में तत्कालिक तौर पर आई कोई तकनीकी खराबी हो या वायरिंग आदि का कोई कामकाज. इस पर आने वाले खर्च के लिए पहले मुख्यालय को प्रस्ताव भेजना होता है. वहां से स्वीकृति के बाद ही मरम्मत सहित अन्य काम करवाया जा सकता था. छोटी सी राशि के चक्कर में रोडवेज बस को कई दिनों तक खड़ा रखने के अलावा आगार के पास कोई विकल्प नहीं था. साथ ही आगार परिसर की सफाई सहित किसी छोटे बड़े कामकाज के लिए धनराशि जुटाने के लिए भी प्रस्ताव भेजने के अलावा कोई विकल्प नहीं था.
लेकिन, रिवाल्विंग फंड की राशि से अब प्रबंधक यह छोटे-छोटे काम अपने स्तर पर ही करवाने में सक्षम होंगे. हालांकि यह राशि रोडवेज बेड़े को देखते हुए संतोषप्रद नहीं कही जा सकती. लेकिन प्रबंधन अपने स्तर पर गाड़ियों में आने वाली किसी भी तत्कालिक समस्या का समाधान करवा सकेंगे.
वहीं, रोडवेज आगार के मुख्य प्रबंधक रवि मेहरा ने बताया कि रिवाल्विंग फंड में प्रतिमाह 40 हजार रुपए हमारे लिए काफी मददगार साबित होंगे. कई बार हम तत्काल राशि के अभाव में कोई फैसला नहीं कर पाते. इस फंड की राशि से हम जहां भी तत्कालीन तौर पर काम पड़ेगा उसे आसानी से करवा सकेंगे.