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महात्मा गांधी अस्पताल में पानी रिसाव के कारण इमरजेंसी सहित कई वार्डों में भरा पानी...मोबाइल टॉर्च की रोशनी में ड्रेसिंग

बांसवाड़ा में गत रात भारी बारिश में महात्मा गांधी चिकित्सालय की परेशानी बढ़ा दी. पानी के रिसाव के कारण इमरजेंसी सहित कई वार्डों में पानी भर गया. करंट की आशंका में इन वार्डों की बिजली आपूर्ति रोक दी गई. स्थिति यह थी कि नर्सिंग कर्मियों को मोबाइल टॉर्च की रोशनी में मरीजों की ड्रेसिंग करना पड़ा.

मोबाइल टॉर्च की रोशनी में ड्रेसिंग
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Published : Jul 5, 2019, 8:13 AM IST

बांसवाड़ा. चिकित्सालय के इमरजेंसी वार्ड पर अन्य वार्ड का निर्माण कार्य चल रहा है. वाइब्रेट मशीन का उपयोग होने के कारण इमरजेंसी ट्रामा ड्रेसिंग रूम पुलिस चौकी के अलावा ईसीजी कक्ष और रजिस्ट्रेशन काउंटर की छत कमजोर हो गई. वहीं रिसाव के चलते इन वार्ड और कमरों में पानी भर गया, हालांकि प्रमुख चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर नंदलाल चरपोटा ने दोपहर में ही निर्माणकर्ता फर्म के इंजीनियर को बुलाकर तत्काल प्रभाव से पानी का रिसाव बंद करने के निर्देश दिए, लेकिन शाम तक पानी का रिसाव जारी रहा.

मोबाइल टॉर्च की रोशनी में ड्रेसिंग

ऐसे में करंट की आशंका को देखते हुए इनकी बिजली आपूर्ति रोक दी गई. नतीजतन क्रोमा इमरजेंसी सहित फर्स्ट फ्लोर पर स्थित इन वार्डों में अंधेरा छा गया.इमरजेंसी वार्ड से मरीजों को भी दूसरी जगह शिफ्ट करना पड़ा. वहीं डॉक्टर रूम भी बदला गया. यहां तक कि पुलिस चौकी के पास ड्रेसिंग रूप में तक अंधेरा था.

ऐसे में नर्सिंग कर्मियों को मोबाइल टॉर्च की रोशनी में मरीजों की ड्रेसिंग करते देखा गया. इस संबंध में इमरजेंसी डॉक्टर से बातचीत करने का प्रयास किया गया, लेकिन उन्होंने पीएमओ से बात करने की बात कही वहीं नर्सिंग कर्मियों का कहना था कि इन वार्डों में कभी पानी का रिसाव नहीं हुआ.

लेकिन निर्माण के लिए वाइब्रेट मशीन के यूज के कारण छत कमजोर हो गई और कई जगह लीकेज हो गए. इसी कारण पानी का रिसाव हुआ. संबंधित ठेकेदार को चिकित्सालय प्रशासन की निर्देशित करने के बावजूद निर्माणकर्ता एजेंसी की ओर से ध्यान नहीं दिया जा रहा है. आपको बता दें की पीएमओ ने दोपहर में ही निर्माण कार्य करने वाली फर्म के इंजीनियर को बुलाकर आवश्यक निर्देश दिए थे.

बांसवाड़ा. चिकित्सालय के इमरजेंसी वार्ड पर अन्य वार्ड का निर्माण कार्य चल रहा है. वाइब्रेट मशीन का उपयोग होने के कारण इमरजेंसी ट्रामा ड्रेसिंग रूम पुलिस चौकी के अलावा ईसीजी कक्ष और रजिस्ट्रेशन काउंटर की छत कमजोर हो गई. वहीं रिसाव के चलते इन वार्ड और कमरों में पानी भर गया, हालांकि प्रमुख चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर नंदलाल चरपोटा ने दोपहर में ही निर्माणकर्ता फर्म के इंजीनियर को बुलाकर तत्काल प्रभाव से पानी का रिसाव बंद करने के निर्देश दिए, लेकिन शाम तक पानी का रिसाव जारी रहा.

मोबाइल टॉर्च की रोशनी में ड्रेसिंग

ऐसे में करंट की आशंका को देखते हुए इनकी बिजली आपूर्ति रोक दी गई. नतीजतन क्रोमा इमरजेंसी सहित फर्स्ट फ्लोर पर स्थित इन वार्डों में अंधेरा छा गया.इमरजेंसी वार्ड से मरीजों को भी दूसरी जगह शिफ्ट करना पड़ा. वहीं डॉक्टर रूम भी बदला गया. यहां तक कि पुलिस चौकी के पास ड्रेसिंग रूप में तक अंधेरा था.

ऐसे में नर्सिंग कर्मियों को मोबाइल टॉर्च की रोशनी में मरीजों की ड्रेसिंग करते देखा गया. इस संबंध में इमरजेंसी डॉक्टर से बातचीत करने का प्रयास किया गया, लेकिन उन्होंने पीएमओ से बात करने की बात कही वहीं नर्सिंग कर्मियों का कहना था कि इन वार्डों में कभी पानी का रिसाव नहीं हुआ.

लेकिन निर्माण के लिए वाइब्रेट मशीन के यूज के कारण छत कमजोर हो गई और कई जगह लीकेज हो गए. इसी कारण पानी का रिसाव हुआ. संबंधित ठेकेदार को चिकित्सालय प्रशासन की निर्देशित करने के बावजूद निर्माणकर्ता एजेंसी की ओर से ध्यान नहीं दिया जा रहा है. आपको बता दें की पीएमओ ने दोपहर में ही निर्माण कार्य करने वाली फर्म के इंजीनियर को बुलाकर आवश्यक निर्देश दिए थे.

Intro:बांसवाड़ाl गत रात भारी बारिश में महात्मा गांधी चिकित्सालय की परेशानी बढ़ा दीl पानी के रिसाव के कारण इमरजेंसी सहित कई वार्डों में पानी भर गयाl करंट की आशंका में इन वार्डों की बिजली आपूर्ति रोक दी गईl स्थिति यह थी कि नर्सिंग कर्मियों को मोबाइल टॉर्च की रोशनी में मरीजों की ड्रेसिंग करते देखा गयाl


Body:चिकित्सालय के इमरजेंसी वार्ड पर अन्य वार्ड का निर्माण कार्य चल रहा हैl वाइब्रेट मशीन का उपयोग होने के कारण इमरजेंसी ट्रामा ड्रेसिंग रूम पुलिस चौकी के अलावा ईसीजी कक्ष और रजिस्ट्रेशन काउंटर की छत कमजोर हो गई और रिसाव के चलते इन वार्ड और कमरों में पानी भर गयाl हालांकि प्रमुख चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर नंदलाल चरपोटा ने दोपहर में ही निर्माणकर्ता फर्म के इंजीनियर को बुलाकर तत्काल प्रभाव से पानी का रिसाव बंद करने के निर्देश दिए लेकिन शाम तक पानी का रिसाव जारी रहाl ऐसे में करंट की आशंका को देखते हुए इनकी बिजली आपूर्ति रोक दी गईl नतीजतन क्रोमा इमरजेंसी सहित फर्स्ट फ्लोर पर स्थित इन वार्डों में अंधेरा छा गयाl


Conclusion:इमरजेंसी वार्ड से मरीजों को भी दूसरी जगह शिफ्ट करना पड़ा वही डॉक्टर रूम भी बदला गयाl यहां तक कि पुलिस चौकी के पास ड्रेसिंग रूप में तक अंधेरा थाl ऐसे में नर्सिंग कर्मियों को मोबाइल टॉर्च की रोशनी में मरीजों की ड्रेसिंग करते देखा गयाl इस संबंध में इमरजेंसी डॉक्टर से बातचीत करने का प्रयास किया गया लेकिन उन्होंने पीएमओ से बात करने की बात कही वहीं नर्सिंग कर्मियों का कहना था कि इन वार्डों में कभी पानी का रिसाव नहीं हुआ लेकिन निर्माण के लिए वाइब्रेट मशीन के यूज के कारण छत कमजोर हो गई और कई जगह लीकेज हो गएl इसी कारण पानी का रिसाव हुआl संबंधित ठेकेदार को चिकित्सालय प्रशासन द्वारा निर्देशित करने के बावजूद निर्माणकर्ता एजेंसी द्वारा ध्यान नहीं दिया जा रहा हैl आपको बता दे की पीएमओ ने दोपहर में ही निर्माण कार्य करने वाली फर्म के इंजीनियर को बुलाकर आवश्यक निर्देश दिए थेl
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