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बांसवाड़ा: चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट ने बाल संरक्षण संबंधित समस्याओं पर की चर्चा, कहा- डिस्ट्रिक्ट प्लान ऑफ एक्शन होगा तैयार

बाल संरक्षण संबंधित समस्याओं पर चर्चा के लिए यूनिसेफ के चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट संजय कुमार निराला सोमवार को बांसवाड़ा के दौरे पर पहुंचे. जहां उन्होंने संबंधित गैर सरकारी संगठनों और विभागीय अधिकारियों के साथ बैठक ली. साथ ही दो स्कूलों का निरीक्षण भी किया गया, जहां अन्य जिलों से कामकाज बेहतर पाया गया.

बांसवाड़ा की खबर, banswara news
चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट ने बाल संरक्षण संबंधित समस्याओं पर की चर्चा
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Published : Feb 3, 2020, 7:17 PM IST

बांसवाड़ा. बाल संरक्षण के कामकाज में आने वाली समस्याओं पर चर्चा के लिए यूनिसेफ के चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट संजय कुमार निराला सोमवार को बांसवाड़ा पहुंचे. उन्होंने यहां बाल संरक्षण से संबंधित गैर सरकारी संगठनों और विभागीय अधिकारियों के साथ चर्चा कर उनके सुझाव पर भी अमल की. साथ ही प्रदेश के अन्य जिलों के मुकाबले जिले के कामकाज पर संतोष जाहिर किया.

चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट ने बाल संरक्षण संबंधित समस्याओं पर की चर्चा

इस दौरान निराला ने सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग कार्यालय परिसर में बाल संरक्षण के कामकाज की समीक्षा की. इसमें सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के उपनिदेशक असीन शर्मा, पुलिस उप अधीक्षक, एससी-एसटी सेल मनोज सांवरिया, सीआई अखिलेश कुमार, बाल संरक्षण समिति सदस्य मधुसूदन व्यास, किशोर न्याय बोर्ड के सदस्य सुभाष मेहता के साथ विभिन्न गैर सरकारी संस्थाओं के प्रतिनिधि मौजूद थे. निराला ने एक-एक कर बाल संरक्षण से संबंधित कामकाज में आने वाली समस्याओं के समाधान के बारे में सुझाव भी मांगे.

पढ़ें- बांसवाड़ाः गृह किराया और प्रायोगिक परीक्षा की तिथि बढ़ाने को लेकर ABVP का प्रदर्शन

निराला ने बताया कि यहां सबसे बड़ी समस्या पलायन की है. इस दिशा में विभाग काम करना चाहता है, लेकिन सबसे बड़ी समस्या आंकड़ों की है. हम डिस्ट्रिक्ट प्लान ऑफ एक्शन तैयार करने जा रहे हैं, लेकिन सबसे बड़ी समस्या यह है कि आंकड़े कहां से आएंगे और इसके लिए फंड कहां से जुटाए जाएगा. साथ ही दो स्कूलों का निरीक्षण भी किया गया, जहां अन्य जिलों से कामकाज बेहतर पाया गया.

बांसवाड़ा. बाल संरक्षण के कामकाज में आने वाली समस्याओं पर चर्चा के लिए यूनिसेफ के चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट संजय कुमार निराला सोमवार को बांसवाड़ा पहुंचे. उन्होंने यहां बाल संरक्षण से संबंधित गैर सरकारी संगठनों और विभागीय अधिकारियों के साथ चर्चा कर उनके सुझाव पर भी अमल की. साथ ही प्रदेश के अन्य जिलों के मुकाबले जिले के कामकाज पर संतोष जाहिर किया.

चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट ने बाल संरक्षण संबंधित समस्याओं पर की चर्चा

इस दौरान निराला ने सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग कार्यालय परिसर में बाल संरक्षण के कामकाज की समीक्षा की. इसमें सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के उपनिदेशक असीन शर्मा, पुलिस उप अधीक्षक, एससी-एसटी सेल मनोज सांवरिया, सीआई अखिलेश कुमार, बाल संरक्षण समिति सदस्य मधुसूदन व्यास, किशोर न्याय बोर्ड के सदस्य सुभाष मेहता के साथ विभिन्न गैर सरकारी संस्थाओं के प्रतिनिधि मौजूद थे. निराला ने एक-एक कर बाल संरक्षण से संबंधित कामकाज में आने वाली समस्याओं के समाधान के बारे में सुझाव भी मांगे.

पढ़ें- बांसवाड़ाः गृह किराया और प्रायोगिक परीक्षा की तिथि बढ़ाने को लेकर ABVP का प्रदर्शन

निराला ने बताया कि यहां सबसे बड़ी समस्या पलायन की है. इस दिशा में विभाग काम करना चाहता है, लेकिन सबसे बड़ी समस्या आंकड़ों की है. हम डिस्ट्रिक्ट प्लान ऑफ एक्शन तैयार करने जा रहे हैं, लेकिन सबसे बड़ी समस्या यह है कि आंकड़े कहां से आएंगे और इसके लिए फंड कहां से जुटाए जाएगा. साथ ही दो स्कूलों का निरीक्षण भी किया गया, जहां अन्य जिलों से कामकाज बेहतर पाया गया.

Intro:बांसवाड़ा। बाल संरक्षण के कामकाज में आने वाली समस्याओं पर चर्चा के लिए यूनिसेफ के चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट संजय कुमार निराला आज बांसवाड़ा पहुंचे। उन्होंने यहां बाल संरक्षण से संबंधित गैर सरकारी संगठनों और विभागीय अधिकारियों के साथ चर्चा कर सुझाव लिए। साथ ही प्रदेश के अन्य जिलों के मुकाबले बांसवाड़ा के कामकाज पर संतोष जताया।


Body:निराला आज दोपहर मैं बांसवाड़ा पहुंचे और सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग कार्यालय परिसर में बाल संरक्षण के कामकाज की समीक्षा की। इसमें सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के उपनिदेशक असीन शर्मा , पुलिस विभाग से पुलिस उपाधीक्षक एससी-एसटी सेल मनोज सांवरिया सीआई अखिलेश कुमार, बाल संरक्षण समिति सदस्य मधुसूदन व्यास, किशोर न्याय बोर्ड के सदस्य सुभाष मेहता के साथ विभिन्न गैर सरकारी संस्थाओं के प्रतिनिधि मौजूद थे। निराला ने एक-एक कर बाल संरक्षण से संबंधित कामकाज में आने वाली समस्याओं के बारे में जाना और उनका क्या समाधान हो सकता है? इस संबंध में सुझाव भी मांगे गए।


Conclusion:यूनिसेफ के चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट निराला ने चर्चा के बाद हर समस्या को लिस्टेड किया और उनके सुझाव भी सूचीबद्ध किए। बैठक के बाद निराला ने बताया कि यहां सबसे बड़ी समस्या पलायन की है। इस दिशा में विभाग काम करना चाहता है लेकिन सबसे बड़ी समस्या आंकड़ों की है। हम डिस्ट्रिक्ट प्लान ऑफ एक्शन तैयार करने जा रहे हैं लेकिन सबसे बड़ी समस्या आंकड़े कहां से आएंगे और इसके लिए फंड कहां से जुटाए जाएगा। इस पर विस्तार से चर्चा की गई। यहां दो स्कूलों का निरीक्षण भी किया जहां अन्य जिलों से कामकाज बेहतर पाया गया। मेरा प्रयास रहेगा कि यहां की समस्याओं को उच्च स्तर पर पहुंचा कर समाधान तक पहुंचाया जाए।

बाइट........ संजय कुमार निराला चीफ चाइल्ड स्पेशलिस्ट यूनिसेफ राजस्थान
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