बानसूर (अलवर). नांगल लाखा में अतिक्रमण हटाने के मामले को लेकर भाजपा नेता महेंद्र यादव ने वीडियो जारी कर कहा है कि प्रशासन चाहता तो किसानों को 8-10 दिन का समय दिया जा सकता था. 500 परिवार बेघर होने से बच जाते और यह नौबत नहीं आती. निश्चित रूप से यह फसल गौ माताओं और जानवरों के काम आ सकती थी. लेकिन बानसूर प्रशासन ने यह मुनासिब नहीं समझा और पूरी पकी हुई खड़ी फसल को बुलडोजर से मिट्टी में मिला दिया.
वहीं, भाजपा मंत्री ने कहा कि लोगों ने सवाई चक जमीन पर फसल कर भी ली तो कोई जुर्म नहीं किया, प्रशासन ने जमीन पर तुरंत (BJP State Minister Mahendra Yadav Alleged Gehlot Gvernment) कार्रवाई कर खड़ी फसल को मिट्टी में मिला दिया. बानसूर प्रशासन गांव भूपसेड़ा की एक महिला की हत्या के मामले में 45 दिन बीत जाने के बावजूद भी खुलासा नहीं कर सका है. वहीं, दूसरी ओर महनपुर का 13 वर्षीय बालक का कंकाल का अभी तक पुलिस खुलासा नहीं कर पाई है. बानसूर में आए दिन फायरिंग जैसी घटनाएं हो रही हैं.
उन्होंने बानसूर के युवाओं से अपील करते हुए कहा आप जीतोड़ मेहनत कर पढ़ें, अपने लक्ष्य को पूरा करें, रास्ता से नहीं भटकें. यादव ने कहा कि नांगल लाखा अतिक्रमण मामले में महिलाओं-बच्चों पर मुकदमे दर्ज कर नई-नई धाराएं लगाई गईं हैं. वो किसान हैं और किसान के नजरिए से देखना चाहिए. बानसूर विधायक एवं कैबिनेट मंत्री शकुंतला रावत पर (Mahendra Yadav Targeted Minister Shakuntala Rawat) टिप्पणी करते हुए उन्होंने कहा कि बानसूर विधायक भी कहती हैं कि वो भी एक मां हैं और उनका कलेजा भी पसीजता है. भाजपा प्रदेश मंत्री तंज कसते हुए कहा कि आपकी सरकार है, आप मंत्री हैं तो क्या मंत्री महोदया ने बेघर हुए 500 परिवारों के आंसू पोछने का काम किया. महेंद्र यादव ने प्रशासन द्वारा फसल को नष्ट करने की निंदा की.
क्या है पूरा मामला ? बानसूर के गांव नांगल लाखा में 1100 बीघा सवाई चक जमीन पर हाईकोर्ट के दिए गए आदेश पर बानसूर प्रशासन ने 5 मार्च को जमीन से (BJP Allegation on Bansur Administration) अतिक्रमण हटाने पहुंचे थे, जहां बानसूर प्रशासन की गाड़ियों पर ग्रामीणों ने हमला कर दिया था. जिसमें 3 गाड़ियों के शीशे टूट गए थे. वहीं, इस मामले में एक पटवारी का पैर भी फैक्चर हो गया था. उस दिन प्रशासन ने कार्रवाई स्थगित कर दी गई थी. उसके बाद 24 मार्च को फिर दोबारा प्रशासन भारी पुलिस बल के साथ पहुंचा, जहां चार उपखंड अधिकारियों की मौजूदगी में खड़ी फसल से जेसीबी और ट्रैक्टर की मदद से अतिक्रमण हटाया गया.
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इस दौरान खड़ी फसल को मिट्टी में नष्ट किया गया. इस मामले में महिलाओं-पुरुषों सहित पढ़ने वाले बच्चों पर मामले दर्ज हैं. इसी मामले में दो आरोपियों को पुलिस गिरफ्तार कर चुकी है. अब इस मामले को लेकर विपक्ष पार्टी के नेताओं ने प्रशासन और बानसूर विधायक पर आरोप लगाने शुरू कर दिए हैं. 10 दिन का समय दिया जाता तो पक्की हुई फसल को प्रशासन अपने अधीन कर फसल की बोली लगवा सकता था या आवारा पशुओं तथा गौशालाओं में डलवाया जा सकता था, लेकिन प्रशासन ने पूरी फसल को मौके पर नष्ट कर अतिक्रमण हटाया.