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अजमेर: जेएलएन अस्पताल के आईसीयू में मरीज नहीं व्यवस्था ही वेंटिलेटर पर

चिकित्सा मंत्री का गृह जिला होने के बाद भी संभाग का एकमात्र सबसे बड़ा अस्पताल अपने ही बदहाली पर आंसू बहा रहा है.गर्मी में तेजी होने के कारण अस्पताल में केवल मात्र 6 एसी लगाए गए हैं जो वहां दिखाई तो दे रहे हैं लेकिन चालू स्थिति में नहीं है.

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Published : Jun 12, 2019, 2:44 PM IST

जवाहर लाल नेहरू अस्पताल

अजमेर. शहर में सूरज जिस समय आग उगल रहा है और अस्पताल का ICU वार्ड भी सूरज के तपन जैसा ही काम कर रहा है. हम बात कर रहे हैं जवाहर लाल नेहरू अस्पताल के ICU वार्ड का जिसमें लगभग 6 एसी लगे हुए हैं लेकिन उसके बावजूद वहां का तापमान 38 डिग्री से ऊपर ही तापमान बताया जा रहा है. गर्मी में तेजी होने के कारण अस्पताल में केवल मात्र 6 एसी लगाए गए हैं जो वहां दिखाई तो दे रहे हैं लेकिन चालू स्थिति में नहीं है इतनी गर्मी के अंदर ICU के मरीज ऐसा लग रहा है अपनी जान की बाजी लगा रहे हैं और गर्मी से लड़ रहे हैं, साथ ही मरीजों के परिजन और वहां काम कर रहा नर्सिंग कर्मी स्टाफ और डॉक्टर भी गर्मी को लेकर उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.

अजमेर: जेएलएन अस्पताल का i.c.u. जहां मरीज नहीं बल्कि व्यवस्था ही वेंटिलेटर पर...

वही हम बात करें अस्पताल के शिशु रोग विभाग की तो वहां पर भी कुछ ऐसा ही नजारा देखने को मिला. ETV भारत जब अस्पताल पहुंचा तो वहां का तापमान नापा गया तो उसमें 40 डिग्री के ऊपर तापमान आया. वही ICU वार्ड में करीब 38 डिग्री का तापमान आया. अगर इस तरह गर्मी में वार्ड का तापमान बढ़ता रहेगा तो गंभीर मरीजों का इलाज कैसे संभव होगा. जवाहरलाल नेहरू अस्पताल में करीब 700 वातानुकूलित उपकरण लगे हुए हैं यह चल रहे हैं इनका बिल भी आ रहा है.

लेकिन यह हवा नहीं दे रहे. एसी को ठीक करने का 2 साल से ठेका ही नहीं हुआ है मेंटिनेंस करने वाला एक आदमी पूरे अस्पताल को कैसे संभाले इसी की परिणति है कि ऐसे हालात अस्पताल में पैदा हो गए हैं. अस्पताल में भर्ती मरीजों के परिजनों को गर्मी में बाहर से पंखे खरीद कर लाने पढ़ रहे हैं उनका कहना है कि गर्मी में तेजी होने के कारण ना ही अस्पताल में ऐसी काम कर रहे हैं ना ही उनके पंखे चालू है तो ऐसी गर्मी में मरीज कैसे रह पाएगा.

अजमेर. शहर में सूरज जिस समय आग उगल रहा है और अस्पताल का ICU वार्ड भी सूरज के तपन जैसा ही काम कर रहा है. हम बात कर रहे हैं जवाहर लाल नेहरू अस्पताल के ICU वार्ड का जिसमें लगभग 6 एसी लगे हुए हैं लेकिन उसके बावजूद वहां का तापमान 38 डिग्री से ऊपर ही तापमान बताया जा रहा है. गर्मी में तेजी होने के कारण अस्पताल में केवल मात्र 6 एसी लगाए गए हैं जो वहां दिखाई तो दे रहे हैं लेकिन चालू स्थिति में नहीं है इतनी गर्मी के अंदर ICU के मरीज ऐसा लग रहा है अपनी जान की बाजी लगा रहे हैं और गर्मी से लड़ रहे हैं, साथ ही मरीजों के परिजन और वहां काम कर रहा नर्सिंग कर्मी स्टाफ और डॉक्टर भी गर्मी को लेकर उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.

अजमेर: जेएलएन अस्पताल का i.c.u. जहां मरीज नहीं बल्कि व्यवस्था ही वेंटिलेटर पर...

वही हम बात करें अस्पताल के शिशु रोग विभाग की तो वहां पर भी कुछ ऐसा ही नजारा देखने को मिला. ETV भारत जब अस्पताल पहुंचा तो वहां का तापमान नापा गया तो उसमें 40 डिग्री के ऊपर तापमान आया. वही ICU वार्ड में करीब 38 डिग्री का तापमान आया. अगर इस तरह गर्मी में वार्ड का तापमान बढ़ता रहेगा तो गंभीर मरीजों का इलाज कैसे संभव होगा. जवाहरलाल नेहरू अस्पताल में करीब 700 वातानुकूलित उपकरण लगे हुए हैं यह चल रहे हैं इनका बिल भी आ रहा है.

लेकिन यह हवा नहीं दे रहे. एसी को ठीक करने का 2 साल से ठेका ही नहीं हुआ है मेंटिनेंस करने वाला एक आदमी पूरे अस्पताल को कैसे संभाले इसी की परिणति है कि ऐसे हालात अस्पताल में पैदा हो गए हैं. अस्पताल में भर्ती मरीजों के परिजनों को गर्मी में बाहर से पंखे खरीद कर लाने पढ़ रहे हैं उनका कहना है कि गर्मी में तेजी होने के कारण ना ही अस्पताल में ऐसी काम कर रहे हैं ना ही उनके पंखे चालू है तो ऐसी गर्मी में मरीज कैसे रह पाएगा.

Intro:अजमेर चिकित्सा मंत्री का गृह जिला होने के बाद भी संभाग का एकमात्र सबसे बड़ा अस्पताल अपने ही बदहाली पर आंसू बहा रहा है शहर में सूरज जिस समय आग उगल रहा है और अस्पताल का ICU वार्ड भी सूरज के तपन जैसा ही काम कर रहा है

जी हाँ हम बात कर रहे हैं जवाहर लाल नेहरू अस्पताल के ICU वार्ड का जिसमें लगभग 6 एसी लगे हुए हैं लेकिन उसके बावजूद वहाँ का तापमान 38 डिग्री से ऊपर ही तापमान बताया जा रहा है


Body:गर्मी में तेजी होने के कारण अस्पताल में केवल मात्र 6 एसी लगाए गए हैं जो वहाँ दिखाई तो दे रहे हैं लेकिन चालू स्थिति में नहीं है इतनी गर्मी के अंदर ICU के मरीज ऐसा लग रहा है अपनी जान की बाजी लगा रहे हैं और गर्मी से लड़ रहे हैं साथ ही मरीजों के परिजन और वहां काम कर रहा है नर्सिंग कर्मी स्टाफ और डॉक्टर भी गर्मी को लेकर उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ रहा है


वही हम बात करें अस्पताल के शिशु रोग विभाग की तो वहां पर भी कुछ ऐसा ही नजारा देखने को मिला ETV भारत जब अस्पताल पहुंचा तो वहाँ का तापमान नापा गया तो उसमें 40 डिग्री के ऊपर तापमान नजर आया


वही ICU वार्ड में करीब 38 डिग्री का तापमान नजर आया अगर इस तरह गर्मी में वार्ड का तापमान बढ़ता रहेगा तो गंभीर मरीजों का इलाज पर कैसे संभव होगा


Conclusion:जवाहरलाल नेहरू अस्पताल में करीब 700 वातानुकूलित उपकरण लगे हुए हैं यह चल रहे हैं इनका बिल भी आ रहा है लेकिन यह हवा नहीं दे रहे एसी को ठीक करने का 2 साल से ठेका ही नहीं हुआ है मेंटिनेंस करने वाला एक आदमी पूरे अस्पताल को कैसे संभाले इसी की परिणति है कि ऐसे हालात अस्पताल में पैदा हो गए हैं

अस्पताल में भर्ती मरीजों के परिजनों को गर्मी में बाहर से पंखे खरीद कर लाने पढ़ रहे हैं उनका कहना है कि गर्मी में तेजी होने के कारण ना ही अस्पताल में ऐसी काम कर रहे हैं ना ही उनके पंखे चालू है तो ऐसी गर्मी में मरीज कैसे रह पाएगा

बाईट-राजू प्रजापति


बाईट- इंद्रा

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