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सरकार की गलती से हुआ हादसा..चम्बल में अगर नाव बंद हुई तो किसानों के बच्चे भूखे मर जाएंगे: मदन दिलावर

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Published : Sep 21, 2020, 10:12 PM IST

मदन दिलावर का कहना है कि यह पहला हादसा नहीं है. इससे पहले तेजा दशमी को भी एक नाव पलट गई थी. वहीं, पिछले साल भी नाव पलटने से 4 लोगों की मौत वहां पर हुई थी. सरकार इन लोगों के साथ काफी अन्याय कर रही है, जिन लोगों के खेत नदी के इस पार हैं और मकान उस पार है. ऐसे में वे लोग आना-जाना करेंगे. चाहे सरकार उनको सौ बार ही जेल में डाल दें. क्योंकि, वह अपने बच्चों को भूखा नहीं मार सकते.

कोटा समाचार, kota news
चंबल नदी में हुए हादसे पर मदन दिलावर का बयान

कोटा. जिले के खातोली इलाके में चंबल नदी में एक नाव के डूब जाने से 13 लोगों की अकाल मौत हो गई थी. इस मामले में भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश महामंत्री और विधायक मदन दिलावर ने सरकार को दोषी माना है. दिलावर का कहना है कि यह पहला हादसा नहीं है, इससे पहले तेजा दशमी को भी एक नाव पलट गई थी. वहीं, पिछले साल भी नाव पलटने से 4 लोगों की मौत वहां पर हुई थी. सरकार इन लोगों के साथ काफी अन्याय कर रही है.

चंबल नदी में हुए हादसे पर मदन दिलावर का बयान

दिलावर का कहना है कि कौन लोग नाव हादसे के दोषी हैं. उन पर टीका टिप्पणी नहीं करेंगे. लेकिन जिन लोगों के खेत नदी के इस पार हैं और मकान दूसरी तरफ तो वे लोग आना-जाना करेंगे. चाहे सरकार उनको सौ बार ही जेल में डाल दें. क्योंकि, वह अपने बच्चों को भूखा नहीं मार सकते है. सरकार को चाहिए कि इन लोगों की जमीन जिधर है, उन्हें ही उधर ही मकान दिया जाए या फिर इनकी जमीन के बदले दूसरे छोर पर जमीन दे दी जाए.

पढ़ें- कोटा: किसान बिल के खिलाफ कांग्रेस ने संभागीय आयुक्त कार्यालय पर किया प्रदर्शन, धारा 144 की उड़ाई धज्जियां

इसके अलावा दिलावर ने कहा कि सरकार ने किसानों के साथ काफी अन्याय किया है. इससे पहले भाजपा शासन में सहकारिता विभाग से लोन लेने पर किसानों का बीमा होता था. अकारण मौत होने पर उन्हें 10 लाख रुपए मिलते थे. वहीं, उनका पूरा लोन माफ हो जाता था. लेकिन इस सरकार ने सत्ता में आते ही इसे बंद कर दिया, जिसका फायदा चंबल नदी हादसे के पीड़ित लोगों को भी नहीं हुआ है.

पांच कृषक परिवार के मुखिया इस हादसे का शिकार हुए हैं. इसके अलावा दिलावर ने यह भी कहा कि सरकार ने केवल एक-एक लाख रुपए देकर मृतक के परिजनों को समझाने की कोशिश की है. जबकि हमारी मांग है कि 10 लाख रुपए दिए जाए. इससे पहले भी केशवरायपाटन इलाके में एक बस हादसा हुआ था. इसमें मृतक लोगों को पांच 5 लाख रुपए दिए गए थे.

इसके अलावा पूरे प्रदेश में कई घटनाएं ऐसी हो गई है, जिनमें 10-10 लाख रुपए तक मुआवजा दिया गया है, तो फिर कोटा जिले के इस हादसे के पीड़ित परिवारों को सरकार मुआवजा पूरा क्यों नहीं दे रही है. इस दौरान भाजपा के जिला अध्यक्ष शहर रामबाबू सोनी और देहात मुकुट नगर सहित कई भाजपा के नेता मौजूद रहे.

कोटा. जिले के खातोली इलाके में चंबल नदी में एक नाव के डूब जाने से 13 लोगों की अकाल मौत हो गई थी. इस मामले में भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश महामंत्री और विधायक मदन दिलावर ने सरकार को दोषी माना है. दिलावर का कहना है कि यह पहला हादसा नहीं है, इससे पहले तेजा दशमी को भी एक नाव पलट गई थी. वहीं, पिछले साल भी नाव पलटने से 4 लोगों की मौत वहां पर हुई थी. सरकार इन लोगों के साथ काफी अन्याय कर रही है.

चंबल नदी में हुए हादसे पर मदन दिलावर का बयान

दिलावर का कहना है कि कौन लोग नाव हादसे के दोषी हैं. उन पर टीका टिप्पणी नहीं करेंगे. लेकिन जिन लोगों के खेत नदी के इस पार हैं और मकान दूसरी तरफ तो वे लोग आना-जाना करेंगे. चाहे सरकार उनको सौ बार ही जेल में डाल दें. क्योंकि, वह अपने बच्चों को भूखा नहीं मार सकते है. सरकार को चाहिए कि इन लोगों की जमीन जिधर है, उन्हें ही उधर ही मकान दिया जाए या फिर इनकी जमीन के बदले दूसरे छोर पर जमीन दे दी जाए.

पढ़ें- कोटा: किसान बिल के खिलाफ कांग्रेस ने संभागीय आयुक्त कार्यालय पर किया प्रदर्शन, धारा 144 की उड़ाई धज्जियां

इसके अलावा दिलावर ने कहा कि सरकार ने किसानों के साथ काफी अन्याय किया है. इससे पहले भाजपा शासन में सहकारिता विभाग से लोन लेने पर किसानों का बीमा होता था. अकारण मौत होने पर उन्हें 10 लाख रुपए मिलते थे. वहीं, उनका पूरा लोन माफ हो जाता था. लेकिन इस सरकार ने सत्ता में आते ही इसे बंद कर दिया, जिसका फायदा चंबल नदी हादसे के पीड़ित लोगों को भी नहीं हुआ है.

पांच कृषक परिवार के मुखिया इस हादसे का शिकार हुए हैं. इसके अलावा दिलावर ने यह भी कहा कि सरकार ने केवल एक-एक लाख रुपए देकर मृतक के परिजनों को समझाने की कोशिश की है. जबकि हमारी मांग है कि 10 लाख रुपए दिए जाए. इससे पहले भी केशवरायपाटन इलाके में एक बस हादसा हुआ था. इसमें मृतक लोगों को पांच 5 लाख रुपए दिए गए थे.

इसके अलावा पूरे प्रदेश में कई घटनाएं ऐसी हो गई है, जिनमें 10-10 लाख रुपए तक मुआवजा दिया गया है, तो फिर कोटा जिले के इस हादसे के पीड़ित परिवारों को सरकार मुआवजा पूरा क्यों नहीं दे रही है. इस दौरान भाजपा के जिला अध्यक्ष शहर रामबाबू सोनी और देहात मुकुट नगर सहित कई भाजपा के नेता मौजूद रहे.

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