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चैत्र नवरात्र के दूसरे दिन शिला माता मंदिर में माता ब्रह्मचारिणी की हुई पूजा अर्चना, प्रतिदिन 9 दुर्गाओ की होगी पूजा

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Published : Apr 14, 2021, 10:37 AM IST

जयपुर में चैत्र नवरात्रि की धूम है. जहां आमेर के प्राचीन शिला माता मंदिर में आज दूसरे नवरात्र को ब्रह्मचारिणी माता की पूजा अर्चना की गई. मंदिर में माता का विशेष फूलो से श्रृंगार किया गया है.

शिला माता मंदिर में ब्रह्मचारिणी की पूजा, Brahmacharini worship in Shila Mata temple
शिला माता मंदिर में ब्रह्मचारिणी की पूजा

जयपुर. चैत्र नवरात्रा में घर-घर में मां शक्ति की आराधना की जा रही है. आमेर में प्राचीन शिला माता मंदिर में इस बार कोरोना के चलते श्रद्धालुओं का प्रवेश बंद रखा गया है. मंदिर में पुजारियों की ओर से शिला माता की पूजा-अर्चना की जा रही है. मंदिर में माता का विशेष फूलो से श्रृंगार किया गया है. आज दूसरे नवरात्र को ब्रह्मचारिणी माता की पूजा अर्चना की गई.

शिला माता मंदिर में ब्रह्मचारिणी की पूजा

तीसरे नवरात्र को चंद्रघंटा माता की पूजा अर्चना की जाएगी. चौथे नवरात्र को कुषमांडा माता, पांचवे नवरात्रा को स्कंधमाता, छठे नवरात्र को कात्यायनी माता, सातवें नवरात्र को कालरात्रि माता, आठवे नवरात्र को महागौरी माता और नवे और आखिरी नवरात्र को सिद्धिदात्री माता की पूजा की जाएगी.

पढ़ें- किसान से 20 हजार रुपए रिश्वत लेते हुए पटवारी गिरफ्तार

शिला माता मंदिर में आने वाले भक्तों से अपील की गई है कि अपने घर से मां की आराधना करें मंदिर में कोरोना की वजह से प्रवेश बंद रखा गया है. बिना जानकारी के कई भक्त माता के दर्शन के लिए पहुंचे, लेकिन मंदिर में भक्तों का प्रवेश बंद होने की वजह से एक बाहर से ही धोक लगाकर मनोकामनाएं.

शिला माता मंदिर में पुजारियों की ओर से घट स्थापना के बाद पूरे 9 दिन विधिवत पूजा अर्चना की जाएगी. आमेर शिला माता मंदिर में भक्तों का प्रवेश बंद होने से नवरात्र मेला नहीं भरेगा. रोजाना पुजारी ही शिला माता के दरबार में पूजा अर्चना करेंगे. कोरोना गाइडलाइन की पालना में 13 अप्रैल से 22 अप्रैल तक शिला माता मंदिर में भक्तों का प्रवेश बंद रखा गया है. 10 महाविद्याओं की पूजा के सारे मंत्र जाप के पाठ किए जा रहे हैं.

नवरात्रों में प्रतिदिन दुर्गा सप्तमी का पाठ और हवन किया जाएगा. माता रानी का विशेष श्रंगार कर झांकी भी सजाई जाएगी. नवरात्रों में पूर्व राज परिवार की ओर से माता रानी की पोशाक चढ़ाई जाती है और रोजाना आभूषणों का विशेष श्रृंगार किया जाता है. शिला माता मंदिर में नवरात्रों के दौरान 10 महाविद्याओं और 9 दुर्गाओं की प्रतिदिन पूजा अर्चना की जाएगी.

शिला माता मंदिर के पुजारी बनवारी लाल शर्मा ने बताया कि शिला माता मंदिर में नवरात्र के दौरान दर्शनार्थियों के लिए मंदिर बंद रखा गया है. 21 अप्रैल तक नवरात्र में भरने वाला मेला और दर्शनार्थियों के लिए दर्शन बंद रहेगा. मंदिर में केवल पूजा पाठ आरती और आराधना पहले की तरह सुचारू रूप से संचालित रहेगी.

पढ़ें- बिल्डरों का खुला खेल, कोटा में 491 अवैध कॉलोनियां विकसित...यूआईटी के सर्वे में आए चौंकाने वाले आंकड़े

कोरोना को रोकने के लिए सरकार की गाइडलाइन की पालना में निर्णय लिया गया है. शिला माता मंदिर निशा पूजन 19 अप्रैल सोमवार को रात्रि 10:00 बजे होगी. 20 अप्रैल अष्टमी को शाम 4:30 बजे पूर्णाहुति होगी. 22 अप्रैल दशमी के दिन नवरात्रा उत्थापना सुबह 10:30 बजे किया जाएगा. दर्शनार्थियों के लिए 13 अप्रैल से 22 अप्रैल तक शिला माता मंदिर में दर्शन बंद रहेंगे.

जयपुर. चैत्र नवरात्रा में घर-घर में मां शक्ति की आराधना की जा रही है. आमेर में प्राचीन शिला माता मंदिर में इस बार कोरोना के चलते श्रद्धालुओं का प्रवेश बंद रखा गया है. मंदिर में पुजारियों की ओर से शिला माता की पूजा-अर्चना की जा रही है. मंदिर में माता का विशेष फूलो से श्रृंगार किया गया है. आज दूसरे नवरात्र को ब्रह्मचारिणी माता की पूजा अर्चना की गई.

शिला माता मंदिर में ब्रह्मचारिणी की पूजा

तीसरे नवरात्र को चंद्रघंटा माता की पूजा अर्चना की जाएगी. चौथे नवरात्र को कुषमांडा माता, पांचवे नवरात्रा को स्कंधमाता, छठे नवरात्र को कात्यायनी माता, सातवें नवरात्र को कालरात्रि माता, आठवे नवरात्र को महागौरी माता और नवे और आखिरी नवरात्र को सिद्धिदात्री माता की पूजा की जाएगी.

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शिला माता मंदिर में आने वाले भक्तों से अपील की गई है कि अपने घर से मां की आराधना करें मंदिर में कोरोना की वजह से प्रवेश बंद रखा गया है. बिना जानकारी के कई भक्त माता के दर्शन के लिए पहुंचे, लेकिन मंदिर में भक्तों का प्रवेश बंद होने की वजह से एक बाहर से ही धोक लगाकर मनोकामनाएं.

शिला माता मंदिर में पुजारियों की ओर से घट स्थापना के बाद पूरे 9 दिन विधिवत पूजा अर्चना की जाएगी. आमेर शिला माता मंदिर में भक्तों का प्रवेश बंद होने से नवरात्र मेला नहीं भरेगा. रोजाना पुजारी ही शिला माता के दरबार में पूजा अर्चना करेंगे. कोरोना गाइडलाइन की पालना में 13 अप्रैल से 22 अप्रैल तक शिला माता मंदिर में भक्तों का प्रवेश बंद रखा गया है. 10 महाविद्याओं की पूजा के सारे मंत्र जाप के पाठ किए जा रहे हैं.

नवरात्रों में प्रतिदिन दुर्गा सप्तमी का पाठ और हवन किया जाएगा. माता रानी का विशेष श्रंगार कर झांकी भी सजाई जाएगी. नवरात्रों में पूर्व राज परिवार की ओर से माता रानी की पोशाक चढ़ाई जाती है और रोजाना आभूषणों का विशेष श्रृंगार किया जाता है. शिला माता मंदिर में नवरात्रों के दौरान 10 महाविद्याओं और 9 दुर्गाओं की प्रतिदिन पूजा अर्चना की जाएगी.

शिला माता मंदिर के पुजारी बनवारी लाल शर्मा ने बताया कि शिला माता मंदिर में नवरात्र के दौरान दर्शनार्थियों के लिए मंदिर बंद रखा गया है. 21 अप्रैल तक नवरात्र में भरने वाला मेला और दर्शनार्थियों के लिए दर्शन बंद रहेगा. मंदिर में केवल पूजा पाठ आरती और आराधना पहले की तरह सुचारू रूप से संचालित रहेगी.

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कोरोना को रोकने के लिए सरकार की गाइडलाइन की पालना में निर्णय लिया गया है. शिला माता मंदिर निशा पूजन 19 अप्रैल सोमवार को रात्रि 10:00 बजे होगी. 20 अप्रैल अष्टमी को शाम 4:30 बजे पूर्णाहुति होगी. 22 अप्रैल दशमी के दिन नवरात्रा उत्थापना सुबह 10:30 बजे किया जाएगा. दर्शनार्थियों के लिए 13 अप्रैल से 22 अप्रैल तक शिला माता मंदिर में दर्शन बंद रहेंगे.

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