जयपुर. राजस्थान विधानसभा में शुक्रवार को शून्यकाल में स्थगन प्रस्ताव पर बोलने के लिए खड़े हुए भाजपा विधायक प्रताप सिंह सिंघवी ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष और उपनेता प्रतिपक्ष ने मेरा स्थगन प्रस्ताव मंजूर किया, इसके लिए धन्यवाद. इस पर स्पीकर सीपी जोशी ने कहा कि स्थगन प्रस्ताव मैं मंजूर करता हूं कोई गलतफहमी हो तो मन से निकाल दें. जोशी ने यह भी कहा कि अगर उन्होंने ही स्थगन मंजूर किया है तो उन्हें ही सुना देना.
दरअसल, प्रताप सिंह सिंघवी ने शून्यकाल में सहरिया जाति को मिल रही सुविधाएं भील जाति को दिए जाने की मांग उठाई. सिंघवी ने कहा कि राजस्थान में भील जाति बहुत संख्या में है और इनका रहन सहन सहरिया जाति की तरह है. उन्होंने कहा कि डूंगरपुर, बांसवाड़ा, प्रतापगढ़ और सिरोही के साथ बारां, झालावाड़, कोटा और बूंदी में भी भील बहुतायत में हैं. सिंघवी के अनुसार सहरिया की तरह ही ये लोग भी जंगल में रहते हैं और शिकार का काम करते हैं.
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सिंघवी ने कहा कि मेरे क्षेत्र में भील जाति बहुतायत में हैं, इसलिए सहरिया समाज को जो सुविधाएं मिल रही हैं, वही सुविधाएं पूरे राजस्थान के भील समाज को भी मिलनी चाहिए. इस दौरान सदन में मौजूद उप नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने सिंघवी को लेकर व्यंगात्मक कटाक्ष किया तो सिंघवी ने सदन में कहा कि हमारे पूर्वज परमार राजपूत थे, उन्होंने ज्यादा मास खाया और शराब पी की हमें जैन बनना पड़ा, अब मैं परमार बनने की कोशिश कर रहा हूं.
रामलाल शर्मा ने उठाई पुलिसकर्मियों को गेलेंट्री प्रमोशन दिए जाने की मांग
चौमूं से भाजपा विधायक रामलाल शर्मा ने शून्य काल में स्थगन प्रस्ताव के दौरान कहा कि 25 अक्टूबर, 2020 को केशव गुर्जर गैंग के साथ मुठभेड़ में एक कांस्टेबल अवधेश को गोली लगी, इसे जयपुर लाया गया, जहां डेढ़ महीने तक वह जन्म-मृत्यु से लड़ा और तीन महीने से बेड रेस्ट पर है. रामलाल शर्मा ने कहा कि इस कांस्टेबल ने जान जोखिम में डाली, इसलिए उसे गैलेंट्री प्रमोशन दें, इस टीम में शामिल सभी पुलिसकर्मियों को भी गैलेंट्री प्रमोशन दें.
वाजिद अली ने उठाया मेव जाति को एमबीसी और एसबीसी में शामिल करने का मुद्दा
बहुजन समाज पार्टी से कांग्रेस में शामिल हुए विधायक वाजिब अली ने शून्यकाल में मेव जाति को एमबीसी और एसबीसी में शामिल करे की मांग की. उन्होंने कहा कि अलवर और भरतपुर में ये जाति निवास करती है, खेती और पशुपालन ही इनका मुख्य व्यवसाय है, लेकिन इनका व्यवसाय कम होता जा रहा है, इसलिए सरकार इनका सर्वे कराकर इन्हें एमबीसी और एसबीसी में शामिल करे.
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4 जिलों के रावत समाज को मिले एसटी का आरक्षण
पुष्कर से भाजपा विधायक सुरेश रावत ने रावत समाज के लोगों को पूरे प्रदेश में एक समान अनुसूचित जनजाति का आरक्षण दिए जाने की मांग की. सुरेश रावत ने कहा कि प्रदेश में अजमेर, राजसमंद, पाली और भीलवाड़ा में रहने वाले रावत समाज के लोगों को अनुसूचित जनजाति के आरक्षण का लाभ नहीं मिल पा रहा, जबकि पूरे प्रदेश में रहने वाले समाज के लोगों के देवी देवता और धर्म गुरु और धार्मिक मान्यताएं एक हैं. ऐसे में आरक्षण का लाभ इन 4 जिलों के रावत समाज के लोगों को भी मिलना चाहिए, साथ ही इन चार जिलों के कलेक्टर को यह भी निर्देशित किया जाए कि रावत समाज के जो लोग अनुसूचित जनजाति का प्रमाण पत्र बनवाने आए उन्हें बना दिया जाए.