ETV Bharat / city

राजस्थान हाईकोर्ट: सामान्य वर्ग में चयन तो मंडल आवंटन में आरक्षण क्यों?

राजस्थान हाईकोर्ट ने द्वितीय श्रेणी भर्ती परीक्षा 2018 में आरक्षित वर्ग की महिलाओं का सामान्य वर्ग में चयन होने के बावजूद उन्हें मंडल आवंटन में आरक्षण का लाभ देने पर प्रमुख शिक्षा सचिव, शिक्षा निदेशक और अजमेर में पाली मंडल के संयुक्त शिक्षा निदेशकों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है.

rajasthan highcourt,  benefit of reservation in mandal allotment
सामान्य वर्ग में चयन तो मंडल आवंटन में आरक्षण क्यों
author img

By

Published : Sep 2, 2020, 6:41 PM IST

जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने द्वितीय श्रेणी शिक्षक भर्ती 2018 में आरक्षित वर्ग की महिलाओं का सामान्य वर्ग में चयन होने के बावजूद उन्हें मंडल आवंटन में आरक्षण का लाभ देने पर प्रमुख शिक्षा सचिव, शिक्षा निदेशक और अजमेर में पाली मंडल के संयुक्त शिक्षा निदेशकों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है.

पढ़ें: राज्य एससी आयोग में खाली पदों को लेकर हाईकोर्ट ने किया जवाब तलब

न्यायाधीश इंद्रजीत सिंह की एकलपीठ ने यह आदेश अदिति गोयल की याचिका पर दिए. याचिका में अधिवक्ता लक्ष्मीकांत मालपुरा ने अदालत को बताया कि RPSC की ओर से आयोजित भर्ती में याचिकाकर्ता को 192 नंबर पर मेरिट मिली. विभाग की ओर से मंडल आवंटन में मांगी वरीयता में याचिकाकर्ता ने गृह मंडल अजमेर को वरीयता दी, लेकिन विभाग ने उसे पाली मंडल आवंटित कर दिया. जबकि सामान्य वर्ग में चयनित होने वाली आरक्षित वर्ग की कम मेरिट वाले अभ्यर्थियों को उनके मूल आरक्षित वर्ग में उनके गृह जिले में पद स्थापित किया गया है.

याचिका में कहा गया की आरक्षित वर्ग की महिलाओं का चयन सामान्य वर्ग में हुआ है तो उन्हें पदस्थापन में आरक्षण का लाभ दिया जाना अवैध है. जिस पर सुनवाई करते हुए एकलपीठ ने संबंधित अधिकारियों को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है.

जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने द्वितीय श्रेणी शिक्षक भर्ती 2018 में आरक्षित वर्ग की महिलाओं का सामान्य वर्ग में चयन होने के बावजूद उन्हें मंडल आवंटन में आरक्षण का लाभ देने पर प्रमुख शिक्षा सचिव, शिक्षा निदेशक और अजमेर में पाली मंडल के संयुक्त शिक्षा निदेशकों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है.

पढ़ें: राज्य एससी आयोग में खाली पदों को लेकर हाईकोर्ट ने किया जवाब तलब

न्यायाधीश इंद्रजीत सिंह की एकलपीठ ने यह आदेश अदिति गोयल की याचिका पर दिए. याचिका में अधिवक्ता लक्ष्मीकांत मालपुरा ने अदालत को बताया कि RPSC की ओर से आयोजित भर्ती में याचिकाकर्ता को 192 नंबर पर मेरिट मिली. विभाग की ओर से मंडल आवंटन में मांगी वरीयता में याचिकाकर्ता ने गृह मंडल अजमेर को वरीयता दी, लेकिन विभाग ने उसे पाली मंडल आवंटित कर दिया. जबकि सामान्य वर्ग में चयनित होने वाली आरक्षित वर्ग की कम मेरिट वाले अभ्यर्थियों को उनके मूल आरक्षित वर्ग में उनके गृह जिले में पद स्थापित किया गया है.

याचिका में कहा गया की आरक्षित वर्ग की महिलाओं का चयन सामान्य वर्ग में हुआ है तो उन्हें पदस्थापन में आरक्षण का लाभ दिया जाना अवैध है. जिस पर सुनवाई करते हुए एकलपीठ ने संबंधित अधिकारियों को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.