जयपुर. राजस्थान में सरकार और पायलट कैम्प के बीच हर दिन कोई न कोई जुबानी हमला सुनाई दे रहा है. इस बीच पायलट कैंप के सीनियर विधायक दीपेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि हमारी लड़ाई मंत्री पद और राजनीतिक नियुक्तियों में सौदेबाजी के लिए नहीं है. हमारी लड़ाई उस कार्यकर्ता के लिए है जिसने 2013 से 2018 तक संघर्ष कर कांग्रेस को सत्ता दिलाई.
उन्होंने कैबिनेट, बोर्ड और निगम में कई पदों के लिए सौदेबाजी की खबरों को झूठ करार दिया. उन्होंने कहा कि पायलट और उनके साथी विधायक राजस्थान में जमीनी स्तर के उस कांग्रेस कार्यकर्ताओं के लिए सम्मान और स्वाभिमान पाने का प्रयास कर रहे हैं, जिन लोगों ने 2014 के बाद से वसुंधरा राजे और मोदी की भाजपा सरकारों के कोप का डटकर मुकाबला किया.
उन्होंने कहा कि 2013 में अपनी अब तक की सबसे बुरी हार के बाद कांग्रेस को पुनर्जीवित करने के लिए अपना पसीना और खून बहाया. अब क्योंकि राजस्थान में कांग्रेस की सरकार है तो ऐसे में कांग्रेस के उस कार्यकर्ता को मान सम्मान देना जरूरी है. शेखावत ने कहा कि राजनीतिक नियुक्तियां उन लोगों को दी जानी चाहिएं जिन्होंने मतदान केंद्रों पर कांग्रेस को जीत दिलाने का बोझ उठाया है. न कि सेवानिवृत्त नौकरशाहों और अधिकारियों को, जिनकी वफादारी अस्थायी है.
शेखावत ने कहा कि हमने जो मुद्दे उठाए हैं उनके समाधान के लिए आलाकमान में हमारी पूरी प्रतिबद्धता और भरोसा है.