जयपुर. राजस्थान विधानसभा में बनी सदाचार कमेटी के सदस्यों में विधानसभा अध्यक्ष डॉक्टर सीपी जोशी ने बदलाव करते हुए 3 कांग्रेस विधायकों को शामिल किया है. वहीं, इस कमेटी से 3 मौजूदा सदस्य को भी हटाया गया है. अब सदाचार कमेटी में कांग्रेस विधायक और पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट, पूर्व मंत्री विश्वेंद्र सिंह और रमेश मीणा भी बतौर सदस्य शामिल रहेंगे. 9 सदस्यों वाली इस कमेटी में पूर्व विधानसभा अध्यक्ष दीपेंद्र सिंह को सभापति बनाया गया था. दीपेंद्र सिंह पायलट खेमे के ही माने जाते हैं.
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वहीं, पूर्व में इस कमेटी में शामिल विधायक हरीश मीणा, रोहित बोहरा और कृष्णा पूनिया को भी हटाया गया है, जिनके स्थान पर अब इन तीनों विधायकों को लिया गया है. चर्चा इस बात की भी है के आखिरी बदलाव क्यों किया गया. जिन विधायकों को पार्टी के खिलाफ गतिविधियों के मामले में विधानसभा अध्यक्ष ने नोटिस दिए थे, अब उन्हीं को सदाचार कमेटी में शामिल करने और विधायकों के आने से व्यवहार की शिकायतों की जांच की जिम्मेदारी भी सौंपी है, जो चर्चा का विषय है.
विधानसभा की वेबसाइट पर नहीं कोई अपडेट
इन नियुक्तियों को लेकर राजस्थान विधानसभा की अधिकारिक वेबसाइट (rajassembly.nic.in) पर इस संबंध में कोई जानकारी अपडेट नहीं की गई है. वेबसाइट के अनुसार Ethics कमेटी में अभी भी पुराने सदस्यों की जानकारी दी जा रही है. खबर को पुख्ता करने के लिए ईटीवी भारत ने पूर्व मंत्री रमेश मीणा से बात की तो उन्होंने बताया कि उन्हें विधानसभा कार्यालय की तरफ से बुधवार के दिन फोन आया था.
सदाचार कमेटी करेगी यह काम
- किसी विधायक के खिलाफ शिकायत सदन के अंदर या बाहर अनैतिक व्यवहार से जुड़ जाती है, तो उसकी जांच करना.
- किसी भी विधायक के आचरण की शिकायत यदि कोई बाहरी व्यक्ति भी लिखित में करता है, तो विधानसभा अध्यक्ष इस शिकायत को इस सदाचार कमेटी को सौंप सकता है.
- सदाचार समिति के पास यह भी अधिकार है कि समिति अपने स्तर पर किसी भी विधायक के खिलाफ जांच कर सकती हैं.
- किसी भी विधायक के खिलाफ आने वाली शिकायत यदि जांच में जुटी पाई जाए तो सदाचार कमेटी शिकायतकर्ता के खिलाफ कार्रवाई की भी सिफारिश कर सकती है.