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'चमकी' को लेकर भरतपुर में अलर्ट

बिहार में जानलेवा चमकी बुखार (एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम) की भेंट अब तक 140 मासूम चढ़ चुके हैं. ऐसे में इस बुखार की दहशत और राज्यों में भी है. देश के बाकी हिस्सों में भी चमकी बुखार का डर राज्य सरकारों को सता रहा है. ऐसे में बच्चों को होने वाली इस बीमारी को देखते हुए राजस्थान में भी अलर्ट है.

चमकी बुखार को लेकर भरतपुर काफी सतर्क
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Published : Jun 20, 2019, 4:43 PM IST

भरतपुर. चमकी बुखार से पूरे बिहार में हाहाकार मचा है. इस जानलेवा बीमारी से अब तक सूबे में 140 से ज्यादा मासूम बच्चों ने दम तोड़ दिया है. ऐसे में पूर्वी राजस्थान में स्वास्थ्य विभाग ने अलर्ट जारी कर दिया है. जिससे यदि बिहार से यह बीमारी यहां आए तो उस पर काबू पाया जा सके. साथ ही स्वास्थ्य विभाग ने लोगों को जागरूक बनाने के लिए एडवाइजरी भी जारी कर दी है.

बता दें कि प्रदेश के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने स्वास्थ्य विभाग सहित सभी सरकारी और निजी अस्पतालों को अलर्ट रहने के निर्देश दिए हैं. इसके साथ ही इस बीमारी से संबंधित सभी व्यवस्थाएं पहले से ही सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं.

भरतपुर स्वास्थ्य विभाग चमकी बीमारी को लेकर सतर्क

भरतपुर में डॉक्टरों को विशेष हिदायत
पूर्वी राजस्थान का द्वार कहा जाने वाले भरतपुर संभाग मुख्यालय पर स्वास्थ्य विभाग चमकी बीमारी को लेकर काफी सतर्क दिखाई दे रहा है. बच्चों के डॉक्टरों को विशेष हिदायत देते हुए इस तरह की बीमारी के लक्षण देखते ही उसी के मुताबिक तुरंत बीमार बच्चों का इलाज शुरू करें. जिससे यदि चमकी बीमारी किसी बच्चे में पाई जाती है तो उसे बचा जा सके. मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी गोपाल राम शर्मा ने बताया की चमकी एक बुखार है जो इंफेक्शन है और एक से दूसरे बच्चे को हो जाता है. इसलिए एडवाइजरी जारी कर रखी है कि लोग अपने बच्चों को घर में रखें, ज्यादा धूप में नहीं खेलने दे, गंदगी के पास नहीं जाने दे, पौष्टिक भोजन दें और यदि उसे बुखार आता है तो उसे तुरंत अस्पताल में लेकर आए. चिकित्सकों को दिखाएं जिससे इस बीमारी पर काबू पाया जा सकें.

बता दें कि भरतपुर संभाग का सबसे बड़ा अस्पताल आरबीएम और जनाना अस्पताल है. जहां रोजाना हजारों की संख्या में लोग और बच्चे दूर दराज के इलाकों से बीमारियों का इलाज कराने के लिए आते हैं. हालांकि अभी तक यहां चमकी बीमारी का एक भी केस नहीं आया है और ना ही इस तरह की बीमारी के लक्षण किसी भी बच्चे में अभी तक देने को मिले हैं.

जानिए...क्या है चमकी बुखार
चमकी बुखार एक संक्रामक बीमारी है. इस बीमारी के वायरस शरीर में पहुंचते ही खून में शामिल होकर अपना प्रजनन शुरू कर देते हैं. शरीर में इस वायरस की संख्या बढ़ने पर ये खून के साथ मिलकर व्यक्ति के मस्तिष्क तक पहुंच जाते हैं. मस्तिष्क में पहुंचने पर ये वायरस कोशिकाओं में सूजन पैदा कर देते हैं, जिसकी वजह से शरीर का 'सेंट्रल नर्वस सिस्टम' खराब हो जाता है.

चमकी बुखार के ये हैं लक्षण

  • चमकी बुखार में बच्चे को लगातार तेज बुखार चढ़ा रहता है.
  • बदन में ऐंठन के साथ बच्चा अपने दांत पर दांत चढ़ाए रहता हैं.
  • सिर में लगातार हल्का या तेज दर्द होता है.
  • जी मिचलाना और उल्टी होना.
  • बहुत ज्यादा थका हुआ महसूस होना और नींद का आना.
  • शरीर में कमजोरी की वजह से बच्चा बार-बार बेहोश होता रहता है.
  • शरीर में कंपन के साथ बार-बार झटके लगते रहते हैं.
  • यहां तक कि शरीर भी सुन्न हो जाता है.

भरतपुर. चमकी बुखार से पूरे बिहार में हाहाकार मचा है. इस जानलेवा बीमारी से अब तक सूबे में 140 से ज्यादा मासूम बच्चों ने दम तोड़ दिया है. ऐसे में पूर्वी राजस्थान में स्वास्थ्य विभाग ने अलर्ट जारी कर दिया है. जिससे यदि बिहार से यह बीमारी यहां आए तो उस पर काबू पाया जा सके. साथ ही स्वास्थ्य विभाग ने लोगों को जागरूक बनाने के लिए एडवाइजरी भी जारी कर दी है.

बता दें कि प्रदेश के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने स्वास्थ्य विभाग सहित सभी सरकारी और निजी अस्पतालों को अलर्ट रहने के निर्देश दिए हैं. इसके साथ ही इस बीमारी से संबंधित सभी व्यवस्थाएं पहले से ही सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं.

भरतपुर स्वास्थ्य विभाग चमकी बीमारी को लेकर सतर्क

भरतपुर में डॉक्टरों को विशेष हिदायत
पूर्वी राजस्थान का द्वार कहा जाने वाले भरतपुर संभाग मुख्यालय पर स्वास्थ्य विभाग चमकी बीमारी को लेकर काफी सतर्क दिखाई दे रहा है. बच्चों के डॉक्टरों को विशेष हिदायत देते हुए इस तरह की बीमारी के लक्षण देखते ही उसी के मुताबिक तुरंत बीमार बच्चों का इलाज शुरू करें. जिससे यदि चमकी बीमारी किसी बच्चे में पाई जाती है तो उसे बचा जा सके. मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी गोपाल राम शर्मा ने बताया की चमकी एक बुखार है जो इंफेक्शन है और एक से दूसरे बच्चे को हो जाता है. इसलिए एडवाइजरी जारी कर रखी है कि लोग अपने बच्चों को घर में रखें, ज्यादा धूप में नहीं खेलने दे, गंदगी के पास नहीं जाने दे, पौष्टिक भोजन दें और यदि उसे बुखार आता है तो उसे तुरंत अस्पताल में लेकर आए. चिकित्सकों को दिखाएं जिससे इस बीमारी पर काबू पाया जा सकें.

बता दें कि भरतपुर संभाग का सबसे बड़ा अस्पताल आरबीएम और जनाना अस्पताल है. जहां रोजाना हजारों की संख्या में लोग और बच्चे दूर दराज के इलाकों से बीमारियों का इलाज कराने के लिए आते हैं. हालांकि अभी तक यहां चमकी बीमारी का एक भी केस नहीं आया है और ना ही इस तरह की बीमारी के लक्षण किसी भी बच्चे में अभी तक देने को मिले हैं.

जानिए...क्या है चमकी बुखार
चमकी बुखार एक संक्रामक बीमारी है. इस बीमारी के वायरस शरीर में पहुंचते ही खून में शामिल होकर अपना प्रजनन शुरू कर देते हैं. शरीर में इस वायरस की संख्या बढ़ने पर ये खून के साथ मिलकर व्यक्ति के मस्तिष्क तक पहुंच जाते हैं. मस्तिष्क में पहुंचने पर ये वायरस कोशिकाओं में सूजन पैदा कर देते हैं, जिसकी वजह से शरीर का 'सेंट्रल नर्वस सिस्टम' खराब हो जाता है.

चमकी बुखार के ये हैं लक्षण

  • चमकी बुखार में बच्चे को लगातार तेज बुखार चढ़ा रहता है.
  • बदन में ऐंठन के साथ बच्चा अपने दांत पर दांत चढ़ाए रहता हैं.
  • सिर में लगातार हल्का या तेज दर्द होता है.
  • जी मिचलाना और उल्टी होना.
  • बहुत ज्यादा थका हुआ महसूस होना और नींद का आना.
  • शरीर में कमजोरी की वजह से बच्चा बार-बार बेहोश होता रहता है.
  • शरीर में कंपन के साथ बार-बार झटके लगते रहते हैं.
  • यहां तक कि शरीर भी सुन्न हो जाता है.
Intro:हैडलाइन--- बिहार में चमकी बीमारी को देखते हुए पूर्वी राजस्थान में अलर्ट

भरतपुर--- बिहार में चमकी बुखार नामक बीमारी से हुई अनेक बच्चों की मौत के बाद पूर्वी राजस्थान में स्वास्थ्य विभाग ने अलर्ट जारी कर दिया है जिससे यदि बिहार से यह बीमारी यहां आए तो उस पर काबू पाया जा सके साथ ही स्वास्थ्य विभाग ने लोगों को जागरूक बनाने के लिए एडवाइजरी भी जारी कर दी है ।
पूर्वी राजस्थान का द्वार कहा जाने वाले भरतपुर संभाग मुख्यालय पर स्वास्थ्य विभाग चमकी बीमारी को लेकर काफी सतर्क दिखाई दे रहा है और बच्चों के चिकित्सकों को विशेष हिदायत देते हुए इस तरह की बीमारी के लक्षण देखते ही उसी के मुताबिक तुरंत बीमार बच्चों का इलाज शुरू करें जिससे यदि चमकी बीमारी किसी बच्चे में पाई जाती है तो उसे बचा जा सके । मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी गोपालराम शर्मा ने बताया की चमकी एक बुखार है जो इंफेक्शन है और एक से दूसरे बच्चे को हो जाता है इसलिए एडवाइजरी जारी कर रखी है कि लोग अपने बच्चों को घर में रखें ज्यादा धूप में नहीं खेलने गंदगी के पास नहीं जाने दे पोस्टिक भोजन दें और यदि उसे बुखार आता है तो उसे तुरंत अस्पताल में लेकर आए चिकित्सकों को दिखाएं जिससे इस बीमारी पर काबू पाया जा सके ।
भरतपुर संभाग का सबसे बड़ा अस्पताल आरबीएम और जनाना अस्पताल है जहां रोजाना हजारों की संख्या में लोग व बच्चे दूरदराज के इलाकों से बीमारियों का इलाज कराने के लिए यहां आते हैं हालांकि अभी तक यहां चमकी बीमारी का एक भी केस नहीं आया है और ना ही इस तरह की बीमारी के लक्षण किसी भी बच्चे में अभी तक देने को मिले हैं ।

वाइट-- गोपालराम शर्मा ,मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी भरतपुर


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