सतना। मैहर के भटिगवा गांव में अदालत के आदेश पर प्रशासन ने चरनोई भूमि को अतिक्रमण मुक्त कराया. इस भूमि पर कई आदिवासियों ने अपने घर बना लिए थे. जिसमें प्रधानमंत्री आवास योजना में बने मकान भी शामिल थे. जिस पर पुलिस ने बुलडोजर चला दिया. जिसका आदिवासियों ने कड़ा विरोध किया लेकिन भारी मात्रा में पुलिस बल तैनात होने से स्थिति को नियंत्रित कर लिया गया. आदिवासियों का आरोप है कि गांव के कई दबंगों ने भी इस जमीन पर अतिक्रमण कर रखा है. लेकिन प्रशासन उन पर कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है.
दरअसल गांव के ही एक व्यक्ति रघुनाथ पटेल ने जमीन को अतिक्रमण मुक्त कराने के लिए हाईकोर्ट में अर्जी लगाई थी. जिस पर अदालत ने प्रशासन को इस जमीन को अतिक्रमण मुक्त कराने का आदेश दिया था. आदेश के बाद भी प्रशासन ने कोई कदम नहीं उठाया, जिसके बाद फरियादी की अर्जी पर अदालत ने कोर्ट ऑफ कंडक्ट की नोटिस जारी किया. जिस पर प्रशासन पूरे दल- बल के साथ गांव पहुंच कर इस जमीन को अतिक्रमण मुक्त करा दिया.
आदिवासियों का आरोप है कि बरसात के मौसम में विना पुनर्वास की व्यवस्था किए उन्हें बेघर कर दिया गया. इस दौरान उन्हें समान निकालने तक का मौका नहीं दिया गया. आदिवासी परिवार ने प्रशासन पर भेदभाव करने का आरोप भी लगाया है. वहीं तहसीलदार का कहना है कि इन आदिवासियों के पास गांव की बस्ती में पहले से मकान हैं, इन्होंने यहां पर अवैध कब्जा कर रखा था, इस लिए यह कार्रवाई की गई.