राजगढ़। एक घटना से प्रेरित होकर राजगढ़ पुलिस अधीक्षक ने सराहनीय पहल की है, जिले में यदि किसी को खून की जरूरत है और उसे समय पर खून नहीं मिल रहा है तो अब पुलिस उस मरीज की मदद के लिए मौके पर खून उपलब्ध कराएगी. इसके लिए पुलिस अधीक्षक प्रदीप शर्मा ने नई योजना तैयार की है और आरआई को निर्देशित किया है कि जल्द से जल्द प्लान को अमल में लाया जाए. जिससे लोगों की जान बचाई जा सके.
इस घटना से एसपी को मिली प्रेरणा
पुलिस अधीक्षक प्रदीप शर्मा ने बताया कि 2 दिन पहले मुझे व्हाट्सएप ग्रुप से सूचना मिली थी कि किसी बुजुर्ग को ब्लड की जरूरत है, लेकिन ब्लड बैंक में उनके ब्लड ग्रुप का ब्लड उपलब्ध नहीं है. तभी वायरलेस पर AB पॉजिटिव ग्रुप ब्लड के लिए अनाउंसमेंट किया गया, जिसके बाद बुजुर्ग को पुलिस के जवान ने ब्लड दिया और उसकी जान बच गई. इसी घटना से प्ररित होकर एसपी प्रदीप शर्मा ने अपनी टीम से चर्चा कर प्लान बनाया है, जिससे अस्पताल में ब्लड की कमी को दूर कर लोगों की जान बताई जा सके.
मौके पर पहुंचेगा पुलिस का जवान
आए दिन एक्सीडेंट और बच्चे की डिलीवरी, ऑपरेशन, ट्रामा सेंटर में इलाज के अलावा कई अन्य बिमारियों में खून की कमी देखने को मिलती है, जिससे कई बार समय से ब्लड न मिल पाने के कारण मरीज की जान तक चली जाती है. ऐसे में शाजापुर पुलिस ने लोगों की जान बचाने की बीड़ा उठा लिया है. इस पहल में जिला अस्पताल में भर्ती मरीजों को इमरजेंसी में पुलिस के जवान अपना ब्लड देंगे, वहीं पुलिस को ऑन कॉल सूचना देने के बाद भी विभाग से जवान ब्लड डोनर बनकर आएगा.
रोजोना 14 से 15 यूनिट की मांग
राजगढ़ में होने वाले सड़क हादसों की बात करें तो देशभर में लगे लॉकडाउन के कारण यहां भी इस साल सड़क हादसों में कमी आई है. साल 2019 में जहां जिले में 942 सड़क हादसों में 180 लोग अपनी जान से हाथ धो बैठे, वहीं साल 2020 में अब तक 250 सड़क हदसों में 70 लोगों ने जान गवां दी है. इन हादसों के अलावा जिले में प्रसव के साथ-साथ कई तरह के ऑपरेशन में रोज 14 से 15 यूनिट ब्लड की जरूरत पड़ती है.
ऐसे काम करेगी योजना
राजगढ़ पुलिस की इस योजना के तहत अगर किसी व्यक्ति को जिला अस्पताल में ब्लड की इमरजेंसी है और उसको ब्लड नहीं मिल पा रहा है तो उसे तुरंत कंट्रोल रूम सूचना देगा होगी, जिसके बाद वायरलेस पर पूरे राजगढ़ पुलिस के लिए सूचना प्रसारित की जाएगी, जिसमें ब्लड की इस तात्कालिक जरूरत के बारे में बताया जाएगा. मैसेज मिलने के बाद संबंधित ब्लड ग्रुप वाला जवान तुरंत अस्पताल में पहुंचकर ब्लड डोनेट करेगा.