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बीजेपी का एजेंट बता सरकार ने कर्मचारी को किया बर्खास्त, अधिकारियों ने भी नहीं सुनी फरियाद

लोकसभा चुनाव में बिजली कटौती की समस्या से निपटने के लिए बिजली विभाग के स्थाई कर्मचारियों को सस्पेंड एवं आउटसोर्स कर्मचारियों को नौकरी से बर्खास्त किया गया था. खंडवा के आउटसोर्स कर्मचारी सोनू मालवीय को भी बीजेपी का एजेंट बताकर नौकरी से हटा दिया गया था. इंसाफ के लिये वह जनसुनवाई में पहुंचा, लेकिन अधिकारियों ने मदद करने से मना कर दिया.

SONU MALVIYA
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Published : Jun 19, 2019, 12:04 AM IST

खंडवा। कमलनाथ सरकार ने लोकसभा चुनाव में बिजली कटौती की समस्या से तंग आकर बिजली विभाग के स्थाई कर्मचारियों को सस्पेंड एवं आउटसोर्स कर्मचारियों को नौकरी से बर्खास्त कर दिया था. जिले में भी आउटसोर्स कर्मचारी सोनू मालवीय को बीजेपी का एजेंट होने के आरोप में नौकरी से हटा दिया गया था. नौकरी जाने से परेशान कर्मचारी सोनू जनसुनवाई में पहुंचा, लेकिन अधिकारियों ने उसकी मदद करने से मना कर दिया.

सस्पेंड बिजली कर्मचारी पहुंचा जनसुनवाई में

⦁ बिजली कटौती की समस्या से निपटने के लिये कमलनाथ सरकार ने स्थाई कर्मचारियों को सस्पेंड एवं आउटसोर्स कर्मचारियों को नौकरी से बर्खास्त कर दिया था.

⦁ आउटसोर्स कर्मचारी सोनू मालवीय को बीजेपी का एजेंट बताकर नौकरी से हटा दिया गया था.

⦁ जनसुनवाई में पहुंचे कर्मचारी सोनू की मदद करने से अधिकारियों ने किया इनकार.

⦁ सोनू मालवीय के बेटे के दिल की बीमारी का चल रहा है इलाज.

⦁ नौकरी जाने से उसकी आर्थिक स्थिति खराब हो गयी है.

⦁ सोनू मालवीय का कहना है कि चुनाव आयोग और विद्युत विभाग बीजेपी एजेंट होने के आरोप की जांच करे.

खंडवा। कमलनाथ सरकार ने लोकसभा चुनाव में बिजली कटौती की समस्या से तंग आकर बिजली विभाग के स्थाई कर्मचारियों को सस्पेंड एवं आउटसोर्स कर्मचारियों को नौकरी से बर्खास्त कर दिया था. जिले में भी आउटसोर्स कर्मचारी सोनू मालवीय को बीजेपी का एजेंट होने के आरोप में नौकरी से हटा दिया गया था. नौकरी जाने से परेशान कर्मचारी सोनू जनसुनवाई में पहुंचा, लेकिन अधिकारियों ने उसकी मदद करने से मना कर दिया.

सस्पेंड बिजली कर्मचारी पहुंचा जनसुनवाई में

⦁ बिजली कटौती की समस्या से निपटने के लिये कमलनाथ सरकार ने स्थाई कर्मचारियों को सस्पेंड एवं आउटसोर्स कर्मचारियों को नौकरी से बर्खास्त कर दिया था.

⦁ आउटसोर्स कर्मचारी सोनू मालवीय को बीजेपी का एजेंट बताकर नौकरी से हटा दिया गया था.

⦁ जनसुनवाई में पहुंचे कर्मचारी सोनू की मदद करने से अधिकारियों ने किया इनकार.

⦁ सोनू मालवीय के बेटे के दिल की बीमारी का चल रहा है इलाज.

⦁ नौकरी जाने से उसकी आर्थिक स्थिति खराब हो गयी है.

⦁ सोनू मालवीय का कहना है कि चुनाव आयोग और विद्युत विभाग बीजेपी एजेंट होने के आरोप की जांच करे.

Intro:खंडवा - लोकसभा चुनाव में बिजली कटौती की समस्या से तंग आकर प्रदेश की कमलनाथ सरकार ने बिजली विभाग के स्थाई कर्मचारियों को सस्पेंड एवं आउटसोर्स कर्मचारियों को नौकरी से बर्खास्त कर दिया था. वहीं खंडवा में भी आउटसोर्स कर्मचारी सोनू मालवीय को भाजपा के एजेंट होने के आरोप में नौकरी से हटा दिया था. वो खंडवा के जावर ग्रिड पर ग्रिड ऑपरेटर के रूप में कार्य करता था. नौकरी जाने से परिवार की माली हालत बदत्तर हो गई बमुश्किल अपने बेटे के दिल की बीमारी का ऑपरेशन कराया हैं. जनसुनवाई में पहुंचे सोनू को अधिकारियों ने साफ कह दिया हम कुछ नही कर सकते हैं.


Body:दरअसल जिले के जावर ग्रिड पर ग्रिड ऑपरेटर के रूप में कार्य करने वाले सोनू मालवीय को भाजपा एजेंट बताकर कार्य से हटा दिया था. नौकरी जाने के बाद से परिवार का पेट पालने वाले सोनू का घर चलाना मुश्किल हो गया हैं. कुछ पहले ही जैसे तैसे सोनू ने अपने बेटे के दिल मे छेद की बीमारी का ऑपरेशन कराया. मंगलवार जनसुनवाई में पहुंचे सोनू ने जब अधिकारियों से अपनी दुर्दशा बताई तो उन्होंने साफ लफ़्ज़ों में कह दिया हम कुछ नहीं कर सकते. उसका कहना हैं अगर मैं किसी पार्टी का एजेंट होता तो मैं चुनाव के समय पार्टी के लिए मतदान केंद्र पर बैठकर पार्टी के लिए कार्य करता लेकिन मैंने ऐसा कुछ नही किया 5 साल मैंने पूरी ईमानदारी से कार्य किया हैं.


Conclusion:सोनू मालवीय का कहना हैं चुनाव आयोग और विद्युत विभाग उसके भाजपा एजेंट होने के आरोप की जांच करें।

byte - सोनू मालवीय,
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