नई दिल्ली: यूक्रेन में संघर्ष के दौरान एक और भारतीय नागरिक की मौत हो गई है. मृतक केरल का निवासी है. वहीं, राज्य का एक और नागरिक घायल हो गया है. दोनों देशों के बीच चल रहे युद्ध में मारे गए भारतीयों की संख्या 10 हो गई है. इस बीच भारत ने मंगलवार को रूस से मांग की कि वह अपनी सेना में सर्विस कर रहे सभी भारतीय नागरिकों को रिहा करे.
इस संबंध में विदेश मंत्रालय ने कहा, "हमें केरल के एक भारतीय नागरिक की दुर्भाग्यपूर्ण मौत के बारे में पता चला है, जिसे रूसी सेना में सर्विस देने के लिए भर्ती किया गया था. केरल का एक अन्य भारतीय नागरिक, जिसे इसी तरह भर्ती किया गया था, घायल हो गया है और उसका मॉस्को के एक अस्पताल में इलाज चल रहा है. हम मृतक के परिवार के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करते हैं. मॉस्को में हमारा दूतावास परिवारों के संपर्क में है और हर संभव सहायता प्रदान की जा रही है."
MEA says, " we have learnt of the unfortunate death of an indian national from kerala who had apparently been recruited to serve in the russian army. another indian national from kerala, who was similarly recruited, has been injured and is receiving treatment in a hospital in… pic.twitter.com/rMO5TAvJGq
— ANI (@ANI) January 14, 2025
पार्थिव शरीर भारत लाने के लिए रूसी अधिकारियों के साथ काम जारी
मंत्रालय ने आगे कहा, "हम मृतक के पार्थिव शरीर को जल्द से जल्द भारत लाने के लिए रूसी अधिकारियों के साथ काम कर रहे हैं. हमने घायल व्यक्ति को जल्द से जल्द छुट्टी देने और भारत वापस भेजने की भी मांग की है. इस मामले को मॉस्को में रूसी अधिकारियों के साथ-साथ आज नई दिल्ली में रूसी दूतावास के समक्ष भी जोरदार तरीके से उठाया गया. हमने शेष भारतीय नागरिकों की जल्द से जल्द छुट्टी की अपनी मांग भी दोहराई."
मृत व्यक्ति के परिवार के प्रति अपनी संवेदना
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि मंत्रालय ने मृत व्यक्ति के परिवार के प्रति अपनी संवेदना जताई और कहा कि मॉस्को में भारतीय दूतावास रूसी सेना में सेवारत नागरिकों के परिवारों के संपर्क में है और उन्हें हर संभव सहायता दे रहा है. बता दें कि भारतीय अधिकारियों ने पिछले अक्टूबर में कहा था कि रूसी सेना की ओर से भर्ती किये गए कुल 85 भारतीय नागरिकों को रिहा कर दिया गया है और अधिकारी अन्य 20 नागरिकों की रिहाई के लिए काम कर रहे हैं.
गौरतलब है कि भारत ने बार-बार रूस की मिलिट्री यूनिट में हेल्पर्स और सपोर्ट स्टाफ में काम करने वाले भारतीय नागरिकों की रिहाई की मांग की है.भारतीयों की मौत के बाद नई दिल्ली के लिए यह एक अहम मुद्दा बन गया. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी पिछले साल रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ हुई मीटिंग्स में भी इस मामले को उठाया था.