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जबलपुर में 15 लोगों के नाम फर्जी दस्तावेज से लोन जारी कर बंदरबांट, बैंक मैनेजर समेत 2 गिरफ्तार

जबलपुर से एक मामला सामने आया है, जिसमें एक सेंट्रल बैंक के मैनेजर ने 15 लोगों के नाम फर्जी दस्तावेजों का इस्तेमाल कर के लोन जारी किए थे. इन लोगों के नाम पर लगभग 3 करोड़ का लोन जारी किया था. इस मामले में जबलपुर क्राइम ब्रांच और पुलिस ने कार्रवाई करते हुए बैंक मैनेजर समेत 2 और आरोपियों को गिरफ्तार किया है.

jabalpur loan issue on 15 people by fake documents
जबलपुर 15 लोगों के नाम फर्जी दस्तावेज से लोन जारी
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Published : Jun 4, 2023, 12:20 PM IST

जबलपुर। कोरोना काल में जब सभी तरह के काम लगभग बंद थे, तब सेंट्रल बैंक के मैनेजर ने व्यापार के नाम पर 15 लोगों के नाम लगभग 3 करोड़ के लोन जारी किए थे. इस वारदात का अब जबलपुर क्राइम ब्रांच की टीम ने खुलासा कर दिया है. क्राइम ब्रांच पुलिस ने विजयनगर सेंट्रल बैंक के मैनेजर कमल मिश्रा के साथ सुरेश मंचनी और महेश मंचनी को गिरफ्तार किया है. बता दें कि फर्जी कागजातों के आधार पर ये काम बैंक मैनेजर ने किया था.

15 लोगों के नाम लोन जारी किए: क्राइम ब्रांच के डीएसपी सुशील कुमार चौहान ने इन तीनों की गिरफ्तारी के मामले में जानकारी देते हुए बताया कि "विजय नगर ब्रांच के सेंट्रल बैंक के मैनेजर कमल मिश्रा ने 15 लोगों के नाम पर लगभग 3 करोड़ रुपए की राशि का बैंक लोन निकाला है. 2 दलाल सुरेश मंचनी और महेश मंचनी के माध्यम से इस पैसे का बंदरबांट किया गया है. इस भ्रष्टाचार में मैनेजर ने कुछ पैसा अपने साले के नाम पर भी ट्रांसफर किये हैं."

लोगों के घर गए नोटिस तब हुआ खुलासा: घटना कोरोना के दौरान की है, जब ज्यादातर लोग अपने घरों में थे और किसी को आने-जाने की छूट नहीं थी. इसी दौरान कमल मिश्रा इन दोनों दलालों के संपर्क में आया और उन्होंने 15 लोगों के फर्जी दस्तावेजों के आधार पर लोन स्वीकृत कर दिए. इन 15 लोगों को जानकारी ही नहीं थी कि उनके नाम से बैंक में लोन चल रहा है. इन्हें पता तब लगा जब इनके घरों पर लोन न चुकाने के नोटिस पहुंचे. इनमें से कुछ लोगों ने पहले बैंक में पूछताछ की तो बैंक ने इनसे लोन चुकाने के लिए कहा, लेकिन इन लोगों ने बताया कि जब उन्हें कोई लोन लिया ही नहीं तो वे उसको वापस क्यों करेंगे. इसके बाद कुछ लोगों ने इस मामले की शिकायत क्राइम ब्रांच को दी. क्राइम ब्रांच ने शुक्रवार को इस मामले में जांच करने के बाद सेंट्रल बैंक के मैनेजर कमल मिश्रा और सुरेश और महेश को गिरफ्तार किया है. इस मामले में आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो में भी मुकदमा दर्ज हुआ है. इसकी जांच में आरोपी बैंक मैनेजर के कई परिवार जनों के अलावा 2 अन्य लोग भी शामिल हैं जिनके नाम पर पैसा ट्रांसफर किया गया था.

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लोन का पैसा तलाश रही पुलिस: अभी तक पुलिस को बैंक से निकाली गई 3 करोड़ की राशि बरामद नहीं हुई है. हालांकि आरोपी पुलिस के कब्जे में है और पुलिस सभी से पूछताछ कर रही है. इसमें एक गंभीर मामला यह भी है कि आम आदमी जब बैंक से लोन लेने के लिए जाता है तो बैंक उसे नियम कानूनों की लिस्ट पकड़ा देती है. वहीं जब दलाल बैंक में पहुंचते हैं तो उन्हें सुविधा दी जाती है. बहरहाल जब तक लोन की राशि बरामद नहीं होती तब तक यह कार्रवाई अंजाम तक नहीं पहुंचेगी.

जबलपुर। कोरोना काल में जब सभी तरह के काम लगभग बंद थे, तब सेंट्रल बैंक के मैनेजर ने व्यापार के नाम पर 15 लोगों के नाम लगभग 3 करोड़ के लोन जारी किए थे. इस वारदात का अब जबलपुर क्राइम ब्रांच की टीम ने खुलासा कर दिया है. क्राइम ब्रांच पुलिस ने विजयनगर सेंट्रल बैंक के मैनेजर कमल मिश्रा के साथ सुरेश मंचनी और महेश मंचनी को गिरफ्तार किया है. बता दें कि फर्जी कागजातों के आधार पर ये काम बैंक मैनेजर ने किया था.

15 लोगों के नाम लोन जारी किए: क्राइम ब्रांच के डीएसपी सुशील कुमार चौहान ने इन तीनों की गिरफ्तारी के मामले में जानकारी देते हुए बताया कि "विजय नगर ब्रांच के सेंट्रल बैंक के मैनेजर कमल मिश्रा ने 15 लोगों के नाम पर लगभग 3 करोड़ रुपए की राशि का बैंक लोन निकाला है. 2 दलाल सुरेश मंचनी और महेश मंचनी के माध्यम से इस पैसे का बंदरबांट किया गया है. इस भ्रष्टाचार में मैनेजर ने कुछ पैसा अपने साले के नाम पर भी ट्रांसफर किये हैं."

लोगों के घर गए नोटिस तब हुआ खुलासा: घटना कोरोना के दौरान की है, जब ज्यादातर लोग अपने घरों में थे और किसी को आने-जाने की छूट नहीं थी. इसी दौरान कमल मिश्रा इन दोनों दलालों के संपर्क में आया और उन्होंने 15 लोगों के फर्जी दस्तावेजों के आधार पर लोन स्वीकृत कर दिए. इन 15 लोगों को जानकारी ही नहीं थी कि उनके नाम से बैंक में लोन चल रहा है. इन्हें पता तब लगा जब इनके घरों पर लोन न चुकाने के नोटिस पहुंचे. इनमें से कुछ लोगों ने पहले बैंक में पूछताछ की तो बैंक ने इनसे लोन चुकाने के लिए कहा, लेकिन इन लोगों ने बताया कि जब उन्हें कोई लोन लिया ही नहीं तो वे उसको वापस क्यों करेंगे. इसके बाद कुछ लोगों ने इस मामले की शिकायत क्राइम ब्रांच को दी. क्राइम ब्रांच ने शुक्रवार को इस मामले में जांच करने के बाद सेंट्रल बैंक के मैनेजर कमल मिश्रा और सुरेश और महेश को गिरफ्तार किया है. इस मामले में आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो में भी मुकदमा दर्ज हुआ है. इसकी जांच में आरोपी बैंक मैनेजर के कई परिवार जनों के अलावा 2 अन्य लोग भी शामिल हैं जिनके नाम पर पैसा ट्रांसफर किया गया था.

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