ग्वालियर। मध्य प्रदेश सहित तीन राज्यों को स्वास्थ्य सुविधाएं देने वाला ग्वालियर चंबल संभाग का सबसे बड़ा सरकारी अस्पताल इन दिनों अस्पताल प्रबंधन की लापरवाही से बीमार पड़ा हुआ है. गजरा राजा मेडिकल कॉलेज समूह के नवीन 1000 बिस्तर वाले अस्पताल में अव्यवस्थाओं का आए दिन खुलासा हो रहा है. ताजा मामला पानी के लीकेज को लेकर है, जहां पर अस्पताल पानी के लीकेज के चलते मरीज, परिजन और जूनियर डॉक्टर भी परेशान हैं. इसका सबसे बड़ा कारण यह है कि 1000 बिस्तर की बिल्डिंग में ठेकेदार को लाभ पहुंचाते हुए मानक के अनुरूप पाइप लाइन नहीं बिछाई गई. जिसके चलते हर सप्ताह में किसी न किसी अस्पताल के ब्लॉक में पानी पानी लीकेज हो रहा है.
अस्पताल में फैला संक्रमण का खतरा: अस्पताल में बीती रात यह लीकेज का पानी टॉयलेट से बाहर मरीजों के वार्डो तक पहुंच रहा है. जिसके कारण अस्पताल में संक्रमण फैलने का खतरा बढ़ गया है. साथ ही मरीज और उनके परिजन बाजार से पानी खरीद कर प्यास बुझाने को मजबूर हैं. साथ ही अस्पताल में पदस्थ जूनियर डॉक्टर और नर्स स्टाफ भी पानी के लिए तरस रहे हैं. बता दें कि हाल में ही ग्वालियर चंबल संभाग का सबसे बड़ा 1000 बिस्तर वाला अस्पताल बनकर तैयार हो गया है. राजनीति के चलते इस अस्पताल का न तो उद्घाटन हुआ है और न ही नामकरण.
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डीन ने दी सफाई: इस मामले मे मेडिकल कालेज के डीन डॉ. एके निगम का कहना है कि पानी की सप्लाई बहाल हो गई है. लेकिन अस्पताल में पानी भरा होने के मामले में उनका कहना है कि वो लगातार अस्पताल मे निर्माण करने वाली कंपनी से पत्र व्यवहार कर रहे हैं कि जो खामिया हैं उन्हें ठीक करें, लेकिन उनकी सुनवाई नहीं हो रही है. लिहाजा एक बार फिर पत्र व्यवहार किया गया है. खास बात यह है कि नए अस्पताल को शुरु हुए अभी तीन महीने ही हो पाए हैं. उसके बाद भी अस्पताल की बिल्डिंग से लेकर अन्य संसाधनों में तमाम खामिया निकलकर सामने आ रही हैं जिससे मरीजों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.