भोपाल। जून 2022 में एक 50 साल के शख्स की मोमोज के चलते जान चली गई थी. इसके बाद से इस स्ट्रीट फूड पर सवाल उठने लगे कि आखिर, मोमोज सेहत के लिए हानिकारक है, और अगर है तो ये फूड कितना खतरनाक है. हिमालय के पारंपरिक कल्चर से निकला मोमोज फूड, आज देशभर के स्ट्रीट फूड कल्चर का अहम हिस्सा बन गया है. इसकी वजह है, इसका टेस्ट, जिसे लोग बड़े चाव से खाते हैं. साथ ही ये जल्दी से खाया जा सकता है.
इस फूड के कई प्रारूप हैं, जो लोगों के बीच खास युवाओं में काफी प्रचलित है. ये फूड वेज भी होता है, नॉनवेज भी होता है. फ्राइड भी होता है, और स्ट्रीम भी होता है. फूड लवर्स अपने-अपने हिसाब से इस फूड का आनंद लेते हैं. लेकिन सवाल वही है कि आखिर मोमोज खाने का मतलब मौत को दस्तक देना है? ये फूड क्यों हानिकारक है, आइए जानते हैं. लेकिन सबसे पहले समझेंगे कि मोमोज फूड आखिर क्या है?
हिमालय के इलाकों का पारंपरिक फूड है मोमोज: जयपुर में स्थित एक निजी कंपनी से जुड़ी सर्टिफाइड डायटिशियन प्रियंका शर्मा की मानें तो मोमोज असल में एक तरह का हिमालय के पहाड़ी इलाकों में पाया जाने वाला फूड है. खासकर इसे तिब्बत और नेपाल में बहुतायत मात्रा में खाया जाता है. भारत के हिमालय इलाकों से सटे होने की वजह से इस फूड का कल्चर हिन्दूस्तान में भी तेजी से फैला. इसे भांप में बनाया जाता है. यानि एक तरह से भांप में बनी हुई पकौड़ी है. इस एशियन व्यंजन को एशिया में इस्तेमाल होने वाले मसालों और जड़ी बूटियों से तैयार सॉस के साथ परोसा जाता है.
साथ ही इसे सूप के साथ खाने के कल्चर भी है. जिसे झोल मोमो कहा जाता है. इसे टमाटर, तिल, मिर्च, जीरा और धनिया मिक्स कर शोरबा तैयार किया जाता है. इनके अलावा कई तरह की जड़ी बूटियों और सब्जियों के साथ सूअर, भैंस की हड्डियों को भी उबालकर शोरबा तैयार किया जाता है. इनके अलावा स्ट्रीम मोमोज के अलावा लोग फ्राई मोमोज भी खाना काफी पसंद करते हैं.
मोमोज क्यों नहीं खाना चाहिए: एक्सपर्टस की मानें तो वेज और नॉनवेज स्टाफिंग से बनने वाला मोमोज गोल और नरम मैदे के आटे से तैयार किया जाता है. ये शरीर को लंबे समय तक नुकसान पहुंचाता है. मोमोज को रिफाइंड आटे से बनाते हैं, ऐसा आटा जिसमें खतरनाक कैमिकल होते हैं. उनमें एजोडिकार्बोनामाइड, क्लोरीनेगास, बेंजॉयल पेरोक्साइड और अन्य ब्लीच जैसे रसायन शामिल होते हैं. ये सभी रसायन शरीर के अग्नायाशय (Pancreas) और मधुमेह (Diabetes) को बढ़ावा देते हैं.
डेड एनिमल के मांस की स्टफिंग: कई रिसर्च और घटनाओं में पाया गया है कि अक्सर स्ट्रीट फूड में मिलने वाला मोमोज न सिर्फ खतरनाक होता है, बल्कि जानलेवा भी है. इसकी वजह से है, एक तो ये बेहद सस्ते होते हैं, दूसरा इनमें पाए जाने वाला मीट और चिकन स्टफिंग डेड एनिमल की होते हैं. जिन्हें मार्केट में बेहद सस्ते रेट में बेचा जाता है.
तीखी मिर्ची: अक्सर स्ट्रीट पर मिलने वाले मोमोज हेल्थ के लिए इसलिए भी खतरनाक माने जाते हैं, क्योंकि इसके साथ खाई जाने वाली चटनी बेहद तिखी होती है. इसकी अधिक मात्रा पाइल्स जैसी बीमारियों को जन्म दे सकती है. इनके अलावा मोमोज में मोनो सोडियम ग्लूटामेट की मात्रा भी अधिक पाई जाती है. इसकी वजह से मोटापे की समस्या, नर्व सिस्टम में खराबी, पसीना आना, सीने में जलन, मतली और घबराहट जैसी समस्या भी जन्म ले लेती है.
इनके अलावा वेज मोमोज में पत्तागोभी की स्टफिंग होती है. इसे अगर ढंग से नहीं पकाया जाए तो, ये टेपवर्म (Tape Warm) के बीजाणु पैदा करती है. जो ब्रेन में जाकर इकट्ठा हो जाते हैं, और बढ़ सकते हैं. इससे जीवन का भी खतरा पैदा हो जाता है.
बीमारी का घर मोमोज: अगर मोमोज से होने वाली बीमारियों की बात करें, जो जानलेवा हो सकती हैं, उनमें 6 तरह की ऐसी बीमारी हैं, जिसमें इंसान अपनी जिंदगी गंवा सकता है. ज्यादा मात्रा में मोमोज खाने से ये आपके डाइजेस्टिव सिस्टम पर असर डालता है. इससे शरीर की पाचन शक्ति कमजोर हो सकती है. मैदे के आटे से तैयार इस फूड से कब्ज, एसिडिटी और सूजन की समस्या हो सकती है. रोजाना और अधिक मात्रा में मोमोज खाने से फूड एलर्जी भी हो जाती है. दरअसल, मोमोज में पाये जाने वाल ग्लूटन ही फूड एलर्जी की सबसे बड़ी समस्या बनता है. इससे स्कीन इनफेक्शन, सांस लेने में दिक्कत और जठरांत्र संबंधी गड़बड़ी भी हो सकती है.
मोमोज खाने से हायपर टेंशन, ब्लड प्रेशर की समस्या बढ़ जाती है. इसमें सोडियम की मात्रा बेहद अधिक होती है, इस वजह से इस तरह की समस्या बढ़ जाती है, जो हार्ट अटैक के खतरे को बढ़ाता है. इनके अलावा फ्राइड मोमोज खाने से मोटापे की समस्या भी बढ़ जाती है. मोमोज में अजीनोमोटो होने से कैंसर का खतरा भी बढ़ जाता है.
(नोट: अगर मोमोज को पारंपरिक तरीके से पकाया जाए और उसकी बैलेंस डाइट ली जाए, तो फायदेमंद है. लेकिन ज्यादा मात्रा में खाने से ये समस्या बन सकता है. ऐसा एक्सपर्ट्स और डायटिशियन की राय है)