Shani Parivartan 2023: यह तो सभी जानते हैं कि, ढाई वर्ष बाद शनि राशि परिवर्तन करते हैं क्योंकि ज्योतिष विज्ञान के अनुसार शनि की चाल बहुत धीमी मानी जाती है. ज्योतिष पंचांग के अनुसार वर्ष 2023 में शनि राशि परिवर्तन करने वाले हैं और आने वाली 17 जनवरी की रात 8:02 बजे से शनि का गोचर राशियों में प्रारंभ होगा. इन राशियों में मेष, वृषभ, मिथुन, कर्क राशि जातकों के लिए यह फलदायी होगा तो वहीं कुम्भ, सिंह और मीन राशि पर शनि की टेडी नजर रहेगी.
अनुकूल रहेगा शनि का राशि परिवर्तन
मेष राशि: इस राशि के जातकों के लिए शनि का गोचर फलदायी होने वाला है. शनि मेष राशि के लाभ स्थान में संचरण करेंगे. उनकी दृष्टि पांचवें और आठवें भाव में पड़ेगी ऐसे में जातकों पर शनि की कृपा बरसेगी. भाग्य आपके पक्ष में रहेगा. पुराने रुके काम दोबारा शुरू हो सकते हैं. व्यापार के क्षेत्र में लाभ मिलेगा, मेष राशि के जातक आत्मनिर्भर होकर ख़ुद का व्यवसाय शुरू कर सकते हैं परिवार का भी सहयोग मिलेगा.
वृश्चिक राशि: शनि इस राशि के भाग्य एवं दसवें भाव में गोचर करेंगे. जिससे वृश्चिक राशि के जातकों का भाग्य परिवर्तन होगा. शनि की दृष्टि लग्न के चतुर्थ और सप्तम भाव में पड़ेगी. इस राशि बदलाव से जातकों को लाभ ही लाभ होगा, नया खरीदने का संयोग बन सकता है, रुके हुए परिणाम अनुकूलता के साथ सामने आएंगे. अपना खुद का व्यवसाय शुरू कर सकते हैं, कार्यक्षेत्र में भी आने वाले समय में तरक्की का संयोग है.
मिथुन राशि: इस राशि के भाग्य स्थल में पिछले ढाई साल से शनि की अढ़ैया चल रही थी जो अब राशि परिवर्तन के साथ खत्म होने जा रही है. ऐसे में अब शनि की दृश्य इस राशि के जातकों के तृतीय और छठवें भाव पर पड़ेगी ऐसे में मिथुन राशि में शनिदेव का आना सौभाग्य लाएगा. पारिवारिक समस्याएं दूर होंगी, यात्रा लाभ का भी संयोग बन रहा है, शनि के गोचर से पुरानी बीमारियों से भी छुटकारा मिलने वाला है. समाज में प्रतिष्ठा, लाभ और सम्मान बढ़ेगा.
इन राशियों के लिए मुश्किल रहेगा समय
कर्क राशि: ज्योतिष शास्त्रियों के अनुसार शनि का राशि परिवर्तन कर्क राशि जातकों के लिए परेशानियां लाने वाला है. क्यूंकि शनि देव आपकी राशि के आठवे घर में होंगे, जब भी इस राशि में शनि आठवें घर के स्वामी बनते हैं. तो जान के दुश्मन के सामान होते है. ऐसे में इस स्थिति को अढ़ैया कहा गया है. वहीं शनि की नजर इस राशि के लग्न में दूसरे, पांचवे और दसवें भाव में पड़ेगी जिसका असर आपके लिए प्रतिकूल रह सकता है आप दुर्घटना का शिकार बन सकते है . आपके साथ पारिवारिक कलह हो सकता है, ऐसे में ससुराल पक्ष से लेन देन भी सोच विचार कर ही करें. किसी को उधार दिया धन रुक सकता है. नये काम की शुरुआत से बचें, आपकी वाणी को सैयम में रखें .
कुम्भ राशि: कुम्भ राशि शनि की स्वराशि यानी स्वयं की राशि मानी जाती है और जब सनी अपनी ही राशि में गोचर करते हैं तो राशि जातकों को सबसे ज़्यादा प्रभावित करते हैं. 17 जनवरी को होने वाले राशि परिवर्तन में शनि कुम्भ राशि में रात 8:02 मिनट पर गोचर करेंगे और इसी समय से कुम्भ राशि पर शनि की साढ़ेसाती का सबसे कष्टदायक दौर दूसरा चरण भी प्रारंभ हो जाएगा. जो 2025 तक जारी रहेगा. इसके बाद फरवरी 2028 तक शनि की साढ़ेसाती का तीसरा चरण चलेगा.
सिंह राशि: शनि का गोचर सिंह राशि को भी प्रभावित करने वाला है, इस राशि की लग्न में शनि सर्वे घर में गोचर करेंगे और उनकी दृष्टि लग्न, भाग्य और चौथे भाव पर रहेगी ऐसे में आपके दांपत्य जीवन में समस्याएं आएंगी. पत्नी की सेहत पर भी बुरा असर पद सकता है, प्रेमसंबंधों में भी परेशानी का संयोग है, पारिवारिक कलह होने की संभावना रहेगी, मानसिक तनाव हो सकता है, काम में आलस नुकसानदायक साबित हो सकता है.
शनि और मंगल इन राशियों पर चल रहे हैं वक्री, ऐसे जातक रहें सावधान, करें ये उपाय
क्या करें उपाय: ज्योतिषियों का मानना है कि शनि के राशि परिवर्तन से होने वाले दुष्प्रभाव से बचने के लिए कुछ उपाय किए का सकते हैं. जिसमें शनिवार के दिन सुंदरकांड का पाठ कर हनुमानजी की पूजा अर्चना करें. चोला चढ़ाना भी कष्टनिवारक होगा. शनिवार के दिन किसी गरीब को भोजन कराएं खुद भोजन से पहले स्वान यानि कुत्ते को रोटी खिलायें, गरीबों को खिचड़ी, काली तिल,काली दाल, वस्त्र, कंबल आदि भी दान करने चाहिए.
डिस्क्लेमर: इस लेख में दी गई जानकारी पौराणिक मान्यताओं और ज्योतिषविदों की जानकारी के आधार पर है, ETV Bharat इसके पूर्ण सत्य होने का दावा नहीं करता.