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जरूरतमंदों के लिए देवदूत बनीं ये संस्था, घर-घर पहुंचा रही राशन

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Published : May 9, 2020, 2:02 PM IST

बड़वानी जिले में ऐसी संस्था जो आदिवासी दूरस्थ ग्रामीण अंचलों में जरूरतमंदों को घर-घर राशन पहुंचा रहीं हैं. हालांकि इसके लिए पहले विभिन्न स्तर पर सर्वे कराया गया, उसके आधार पर 750 परिवारों को राशन घर तक पहुंचाया गया है.

ration are being providing to needy
जरूरतमंदों के घर-घर पहुंचा रहे राशन

बड़वानी। कोरोना वायरस जैसी वैश्विक महामारी का ज्यादा असर गरीब व असहाय मजदूरों पर पड़ रहा है. ऐसी परिस्थिति में उनके सामने आर्थिक संकट खड़ा हो गया है. अब वह पलायन कर अपने घरों की ओर रवाना हो रहे हैं. ऐसे समय में इन क्षेत्रों में काम करने वाली सामाजिक संस्थाएं उन लोगों के लिए किसी देवदूत से कम नहीं हैं, जो घर-घर जाकर राशन उपलब्ध करा रहीं हैं. ऐसे ही सामाजिक संस्था बड़वानी जिले के सेंधवा विकासखण्ड के वरला तहसील की है, जहां सुदूर पहाड़ी अंचलों में कुल 25 गांवों में 750 पैकेट राशन सामग्री का वितरण किया गया. साथ ही फ्री में मास्क और साबुन भी बांटे गए, ताकि वह सुरक्षित रह सकें.

इससे पहले क्षेत्र में सरपंच सचिव, रोजगार सहायक, समूह की महिलाओं, संस्था के सदस्यों द्वारा घर-घर जाकर ऐसे परिवारों का चयन किया गया, जिनके पास जमीन नहीं है. इसके अलावा विधवा महिलाएं और निशक्त परिवारों को राशन किट उपलब्ध करवाई जा रही है. राशन किट में इतनी मात्रा में सामग्री दी गई है कि 4-5 लोगों का परिवार डेढ़ माह तक चल जायेगा.

कई ऐसे परिवार पलायन कर अपने घर लौटे हैं, जिनके पास खेती के लिए जमीन नहीं है, जिनके पास अब गांव में मजदूरी के लिए कोई काम नहीं है. ऐसे परिवारों को चिन्हित कर राशन-पानी का इंतजाम किया जा रहा है. रोजानिमाल गांव, भलाभेडी गांव, गुराड्पानी गांव, पलाश्पानी गांव, टाकियापानी गांव, चिलारिया गांव, बखरली गांव, पेंदारनिया गांव, खुटवादी गांव, मेंद्लियापानी गांव, कुंडिया आश्रीयापनी गांव में 750 राशन किट सहित 4500-4500 मास्क और डिटॉल साबुन का निशुल्क वितरण किया.

लॉकडाउन के चलते आगा खान ग्राम समर्थन कार्यक्रम के तहत आदिवासी गांवों में एक परिवार को करीब डेढ़ माह तक का राशन उपलब्ध कराया जा रहा है. वहीं आगा खान सामाजिक संस्था के फिरोज खान ने बताया कि दूरस्थ ऐसे ग्रामीण क्षेत्र जहां आना- जाना कठिन होता है, वहां जरूरतमंदों सहित अन्य प्रदेशों से लौटे मजदूरों को राशन उपलब्ध कराया जा रहा है.

बड़वानी। कोरोना वायरस जैसी वैश्विक महामारी का ज्यादा असर गरीब व असहाय मजदूरों पर पड़ रहा है. ऐसी परिस्थिति में उनके सामने आर्थिक संकट खड़ा हो गया है. अब वह पलायन कर अपने घरों की ओर रवाना हो रहे हैं. ऐसे समय में इन क्षेत्रों में काम करने वाली सामाजिक संस्थाएं उन लोगों के लिए किसी देवदूत से कम नहीं हैं, जो घर-घर जाकर राशन उपलब्ध करा रहीं हैं. ऐसे ही सामाजिक संस्था बड़वानी जिले के सेंधवा विकासखण्ड के वरला तहसील की है, जहां सुदूर पहाड़ी अंचलों में कुल 25 गांवों में 750 पैकेट राशन सामग्री का वितरण किया गया. साथ ही फ्री में मास्क और साबुन भी बांटे गए, ताकि वह सुरक्षित रह सकें.

इससे पहले क्षेत्र में सरपंच सचिव, रोजगार सहायक, समूह की महिलाओं, संस्था के सदस्यों द्वारा घर-घर जाकर ऐसे परिवारों का चयन किया गया, जिनके पास जमीन नहीं है. इसके अलावा विधवा महिलाएं और निशक्त परिवारों को राशन किट उपलब्ध करवाई जा रही है. राशन किट में इतनी मात्रा में सामग्री दी गई है कि 4-5 लोगों का परिवार डेढ़ माह तक चल जायेगा.

कई ऐसे परिवार पलायन कर अपने घर लौटे हैं, जिनके पास खेती के लिए जमीन नहीं है, जिनके पास अब गांव में मजदूरी के लिए कोई काम नहीं है. ऐसे परिवारों को चिन्हित कर राशन-पानी का इंतजाम किया जा रहा है. रोजानिमाल गांव, भलाभेडी गांव, गुराड्पानी गांव, पलाश्पानी गांव, टाकियापानी गांव, चिलारिया गांव, बखरली गांव, पेंदारनिया गांव, खुटवादी गांव, मेंद्लियापानी गांव, कुंडिया आश्रीयापनी गांव में 750 राशन किट सहित 4500-4500 मास्क और डिटॉल साबुन का निशुल्क वितरण किया.

लॉकडाउन के चलते आगा खान ग्राम समर्थन कार्यक्रम के तहत आदिवासी गांवों में एक परिवार को करीब डेढ़ माह तक का राशन उपलब्ध कराया जा रहा है. वहीं आगा खान सामाजिक संस्था के फिरोज खान ने बताया कि दूरस्थ ऐसे ग्रामीण क्षेत्र जहां आना- जाना कठिन होता है, वहां जरूरतमंदों सहित अन्य प्रदेशों से लौटे मजदूरों को राशन उपलब्ध कराया जा रहा है.

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