ETV Bharat / state

समर्थन मूल्य पर नहीं बेच रहे किसान अपनी फसल, मंडियों की तरफ किया रुख

गेहूं खरीदी केंद्रों पर खरीदी 25 मार्च से शुरू हो गई है. लेकिन अधिकांश किसानों ने खरीदी केंद्र पर पहुंचकर अपनी फसल बेचने में रुचि नहीं दिखाई है.

गेहूं खरीदी केंद्रों पर नहीं पहुंचे किसान
author img

By

Published : Apr 7, 2019, 6:55 AM IST

अशोकनगर। गेहूं खरीदी केंद्रों पर खरीदी 25 मार्च से शुरू हो गई है. जिले में 10 दिन बाद किसानों के मोबाइल पर एसएमएस भी पहुंच गए हैं, लेकिन अधिकांश किसानों ने खरीदी केंद्र पर पहुंचकर अपनी फसल बेचने में रुचि नहीं दिखाई है. किसानों को पंजीयन में बेचने वाले गेहूं की कीमत मंडी में अधिक मिल रही है.

गेहूं खरीदी केंद्रों पर नहीं पहुंचे किसान


पिछले साल की तुलना में इस वर्ष फसल बेचने के लिए केंद्रों पर अधिक रजिस्ट्रेशन दर्ज हुए हैं. किसान अपनी फसल को खरीदी केंद्र पर न बेचते हुए कृषि उपज मंडी में अपनी फसल को बेच रहे हैं. इसके बदले में उन्हें 160 रूपए बोनस भी मिल रहा है. साथ ही फसल की राशि का भी जल्द भुगतान हो रहा है.


इस वर्ष समर्थन मूल्य की खरीदी के लिए जस्ट इन टाइम पेमेंट सिस्टम शुरू किया गया है. इसकी जानकारी देते हुए नागरिक आपूर्ति के अधिकारी एमएस राठौर ने बताया कि अब यह पैसा सोसायटी के पास ना आते हुए किसानों का माल वेयरहाउस में रखने के दौरान उनके खाते में सीधे तौर पर पहुंचेगा. ऑनलाइन व्यवस्था की वजह से विभाग के अधिकारी लगातार मॉनिटरिंग कर रहे हैं.


यदि खरीदी केंद्र संचालकों की बात मानें तो उनके अनुसार 25 मार्च से ही खरीदी केंद्रों पर पर्याप्त व्यवस्था शुरू कर दी गई थी. केंद्रों पर बैठने वाले ऑपरेटर ने बताया कि इस बार किसानों को एसएमएस सीधे तौर पर भोपाल से भेजे गए हैं. लेकिन इसके बावजूद भी किसानों का खरीदी केंद्रों पर ना पहुंचना एक बड़ी बात है.

अशोकनगर। गेहूं खरीदी केंद्रों पर खरीदी 25 मार्च से शुरू हो गई है. जिले में 10 दिन बाद किसानों के मोबाइल पर एसएमएस भी पहुंच गए हैं, लेकिन अधिकांश किसानों ने खरीदी केंद्र पर पहुंचकर अपनी फसल बेचने में रुचि नहीं दिखाई है. किसानों को पंजीयन में बेचने वाले गेहूं की कीमत मंडी में अधिक मिल रही है.

गेहूं खरीदी केंद्रों पर नहीं पहुंचे किसान


पिछले साल की तुलना में इस वर्ष फसल बेचने के लिए केंद्रों पर अधिक रजिस्ट्रेशन दर्ज हुए हैं. किसान अपनी फसल को खरीदी केंद्र पर न बेचते हुए कृषि उपज मंडी में अपनी फसल को बेच रहे हैं. इसके बदले में उन्हें 160 रूपए बोनस भी मिल रहा है. साथ ही फसल की राशि का भी जल्द भुगतान हो रहा है.


इस वर्ष समर्थन मूल्य की खरीदी के लिए जस्ट इन टाइम पेमेंट सिस्टम शुरू किया गया है. इसकी जानकारी देते हुए नागरिक आपूर्ति के अधिकारी एमएस राठौर ने बताया कि अब यह पैसा सोसायटी के पास ना आते हुए किसानों का माल वेयरहाउस में रखने के दौरान उनके खाते में सीधे तौर पर पहुंचेगा. ऑनलाइन व्यवस्था की वजह से विभाग के अधिकारी लगातार मॉनिटरिंग कर रहे हैं.


यदि खरीदी केंद्र संचालकों की बात मानें तो उनके अनुसार 25 मार्च से ही खरीदी केंद्रों पर पर्याप्त व्यवस्था शुरू कर दी गई थी. केंद्रों पर बैठने वाले ऑपरेटर ने बताया कि इस बार किसानों को एसएमएस सीधे तौर पर भोपाल से भेजे गए हैं. लेकिन इसके बावजूद भी किसानों का खरीदी केंद्रों पर ना पहुंचना एक बड़ी बात है.

Intro:अशोकनगर। समर्थन मूल्य केंद्रों पर गेहूं खरीदी 25 मार्च से शुरू हुई है. जिले में 10 दिन बाद किसानों के मोबाइल पर एसएमएस तो पहुंचे लेकिन अधिकांश किसानों ने खरीदी केंद्र पर पहुंचकर अपनी फसल बेचने में रुचि नहीं दिखाई. जबकि पिछले साल की तुलना में इस वर्ष फसल बेचने के लिए केंद्रों पर अधिक रजिस्ट्रेशन दर्ज हुए हैं. वहीं दूसरी तरफ किसान अपनी फसल को खरीदी केंद्र पर ना बेचते हुए कृषि उपज मंडी में अपनी फसल को बेचा है. इसके बदले में उन्हें ₹160 बोनस भी मिल रहा है इसके अलावा फसल बेचने के बाद दाम का भी जल्द भुगतान हो रहा है. जिले के 48 केंद्रों में से मोहरी स्थित कचनार खरीदी केंद्र पर ऑफलाइन 66 कुंटल गेहूं की खरीदी हो सकी.


Body:खरीदी केंद्रों पर किसानों के ना पहुंचने का एक कारण यह भी है, कि पिछले सालों के खराब अनुभव के बाद इस बार खरीदी केंद्रों पर किसान नहीं पहुंच रहे.जबकि मंडी में गेहूं की बंपर आवक हो रही है समर्थन मूल्य के पंजीयन वाले किसानों को लगातार एस एम एस भेजने के बाद भी केंद्र सूने पड़े हुए हैं. खरीदी केंद्र शुरू होने के 12 दिन बाद भी कोई भी किसान केंद्रों पर नहीं पहुंचा.जबकि इस वर्ष समर्थन मूल्य की खरीदी के लिए जस्ट इन टाइम पेमेंट सिस्टम शुरू किया गया है इसकी जानकारी देते हुए नागरिक आपूर्ति के अधिकारी एमएस राठौर ने बताया अब यह पैसा सोसायटी के पास ना आते हुए किसानों का माल वेयरहाउस में रखने के दौरान उनके खाते में सीधे तौर पर पहुंचेगा.ऑनलाइन व्यवस्था की वजह से विभाग के अधिकारी लगातार मॉनिटरिंग कर रहे हैं


Conclusion:यदि खरीदी केंद्र संचालकों की बात माने तो उनके अनुसार 25 मार्च से ही खरीदी केंद्रों पर पर्याप्त व्यवस्था शुरू कर दी गई थी. केंद्रों पर बैठने वाले ऑपरेटर ने बताया कि इस बार किसानों को एस एम एस सीधे तौर पर भोपाल द्वारा भेजे गए हैं. लेकिन इसके बावजूद भी किसानों का खरीदी केंद्रों पर ना पहुंचना एक बड़ी बात है. जबकि कृषि उपज मंडी में गेहूं की बंपर आवक होने के कारण किसानों को पंजीयन में बेचने वाले गेहूं की कीमत मंडी में अधिक मिल रही है.
बाइट-एमएस राठौर, कनिष्ठ नागरिक आपूर्ति अधिकारी.
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.