जबलपुर। EOW द्वारा गिरफ्तार किए गए बिशप पीसी सिंह पर बड़ी कार्रवाई की गई है. दरअसल, द चर्च ऑफ नार्थ इंडिया के सिनड ने बिशप को "लीव ऑफ अबसेंसे " में भेजा है, अब बिशप की जगह अब डिप्टी मॉडरेटर, मॉडरेटर की जिम्मेदारी संभालेंगे. इसी के साथ बिशप पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच के लिए कमिटी का भी गठन किया गया है. द चर्च ऑफ नार्थ इंडिया के सिनड ने फैक्ट फाइंडिंग कमिटी गठित की है, अब यह तीन सदस्यी समिति पूरे मामले की जांच करेगी. इतना ही नहीं यह टीम 14 अक्टूबर को पूरे मामले की जांच रिपोर्ट जनरल मीटिंग में पेश करेगी. EOW Action on Bishop
कई एजेंसियां कर रहीं पूछताछ: नागपुर से गिरफ्तार हुए पीसी सिंह से ईओडब्ल्यू सहित अन्य एजेंसियां पूछताछ कर रहीं हैं. बिशप पीसी सिंह से संबंधित संपूर्ण कार्रवाई व पूछताछ डीजी ईओडब्ल्यू अजय शर्मा के निर्देशन पर एडीजी ईओडब्ल्यू मोहम्मद शाहिद अबसार एवं अन्य एजेंसियों द्वारा समन्वय बनाकर की जा रही है. ईओडब्ल्यू ने आरोपी बिशप पीसी सिंह, बीएस सोलंकी तत्कालीन असिस्टेंट रजिस्ट्रार फर्म्स एंड संस्था के खिलाफ मामला दर्ज कर विवेचना में लिया था. जानकारी के अनुसार बिशप पीसी सिंह ने मिशनरी की जमीन की बिक्री करते हुए कम कीमत में अपने नाम पर 2 प्लॉट खरीदे हैं. रजिस्ट्री दिनांक के समय जमीन की वाजिब कीमत से आधे रुपए जमा करने के बाद रजिस्ट्री कराने की बात सामने आई है. अधिकारियों द्वारा चल रही पूछताछ में पीसी सिंह ने 2 प्लॉट की रजिस्ट्री कराने की बात स्वीकार की है. पीसी सिंह ने इन दोनों प्लॉट को खरीदने के लिए मिशनरी की निर्धारित गाइड-लाइन का पालन नहीं किया है.
पीसी सिंह से जुड़ा पूरा मामला क्या है?: जबलपुर में EOW ने बिशप पीसी सिंह के घर छापा मारा था. ट्रस्ट संस्थाओं की लीज को रिन्यू करने में में धोखाधड़ी, 7 करोड़ से अधिक का टैक्स न चुकाने के मामले सामने आए हैं. पीसी सिंह ने स्कूल से आए बच्चों की फीस के ढाई करोड़ से ज्यादा रुपए धार्मिक संस्था और खुद पर खर्च कर दिए. छापे में 17 संपत्तियों से संबंधित दस्तावेज, 48 बैंक खाते, 1 करोड़ 65 लाख से अधिक नकद, 18 हजार 352 यूएस डॉलर, 118 पाउंड समेत 8 फोर व्हीलर गाड़ियां बरामद हुई.
एमपी के सीएम शिवराज सिंह खुद रख रहे मामले पर नजर: इस पूरे केस में CM शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि अब तक मिले दस्तावेजों में रुपयों का उपयोग धर्मांतरण या अन्य गैर कानूनी कार्यों में करने की आशंका है. शुक्रवार को सीएम ने EOW के अफसरों की मीटिंग बुलाई. इस दौरान मुख्यमंत्री ने 3 स्तर पर जांच करने के लिए कहा है. वहीं प्रदेश के सभी ट्रस्टों की जमीनों की जांच कराने की भी बात उन्होंने की है. बैठक में एडीजी आदर्श कटियार और ईओडब्ल्यू डीजी अजय शर्मा मौजूद थे. Raid in Bishop PC Singh house office
पीसी सिंह पर फीस घोटाले का आरोप: एमपी के EOW एसपी देवेंद्र सिंह ने बताया कि 'द बोर्ड ऑफ एजुकेशन चर्च ऑफ नार्थ इंडिया डायोसिस' के चेयरमैन बिशप पीसी सिंह और तत्कालीन असिस्टेंट रजिस्ट्रार बीएस सोलंकी के खिलाफ शिकायत मिली थी. इन दोनों पर 2.7 करोड़ रुपए के फीस घोटाले का आरोप है. दरअसल, संस्था को अलग अलग शैक्षणिक संस्थाओं में पढ़ रहे स्टूडेंट्स की फीस से करीब 2.7 करोड़ रुपए मिले थे. चेयरमैन बिशप पीसी सिंह ने इन पैसों को धार्मिक संस्थाओं को ट्रांसफर और खुद के निजी कामों में खर्च करके पद का दुरुपयोग किया. दोनों ने यह गड़बड़ी वित्तीय वर्ष 2004-05 से 2011-12 के बीच की है.
बिहार का मूल निवासी है पीसी सिंह: बिशप का जन्म 12 दिसंबर 1962 को बिहार के समस्तीपुर में हुआ था. 1986 में वह जबलपुर आ गया. यहां जबलपुर डायोसिस में बतौर वर्कर के रूप में उसने ज्वाइन किया. उसके बाद वह यहां से छ्तीसगढ़ के भाटपारा भेजा गया. फिर उसने जबलपुर की रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय से ग्रेजुएशन, पीजी किया. यूएसए से क्रिश्चियन आध्यात्मिकता में डॉक्टरेट किया. 29 अक्टूबर 1987 में नोरा सिंह से शादी हुई. पहली बार 1988 में जबलपुर के क्राइस्ट चर्च का पादरी बनाया गया. इसके बाद, बिलासपुर में भी पादरी रहा. 1995 से 1999 तक CNI जबलपुर का प्रेसबिटर का चार्ज उसने लिया. 13 अप्रैल 2004 में पीसी सिंह को जबलपुर डायोसिस का चौथा बिशप बनाया गया. पीसी सिंह के नेतृत्व में जबलपुर, कटनी और सिवनी में 6 स्कूल चल रहे हैं. पीसी सिंह को 3 अक्टूबर 2014 में CNI का डिप्टी मॉडरेटर बनाया गया. 2017 में द बोर्ड ऑफ एजुकेशन चर्च ऑफ नॉर्थ इंडिया जबलपुर डायोसिस का मॉडरेटर बनाया गया.
Jabalpur Bishop Raid EOW ने जबलपुर में बिशप पर कार्रवाई व अवैध संपत्ति की डिटेल्स CM शिवराज को दी
मुंबई पुलिस ने भी कसा शिकंजा: सूत्रों की माने तो बिशप पीसी सिंह चार्टर्ड प्लेन से देश विदेश की सैर किया करता था. हैरानी की बात तो यह है की धनकुबेर बिशप पीसी सिंह का अब एक और नया कनेक्शन सामने आया है. अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के खास गुर्गे रियाज भाटी से बिशप का कनेक्शन बताया जा रहा है. बिशप ने रियाज भाटी से मिशनरी के मुंबई स्थित जिमखाना का सौदा 3 करोड़ रुपये में किया था, जिसका एग्रीमेंट मुंबई पुलिस ने रियाज भाटी से पूर्व में ही जब्त कर लिया है. इसको लेकर मुंबई पुलिस बिशब पीसी सिंह से पूछताछ भी कर चुकी है. सीएनआई (चर्च ऑफ नार्थ इंडिया) के सीनेट में बिशप मेंबर थे. 2017 में उन्हें सीनेट का मॉडरेटर चुन लिए गया. इसी दौरान मॉडरेटर की हैसियत से उन्होंने अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के राइट हैंड रियाज भाटी से जिमखाना का सौदा किया था. जिमखाना को लीज पर देने के बदले बिशप ने रियाज से करीब 3 करोड़ रुपए बतौर एडवांस भी लिए थे. इस बीच, मुंबई पुलिस ने एक मामले में रियाज भाटी को गिरफ्तार कर लिया. पूछताछ और तलाशी में पुलिस को सौदे का एग्रीमेंट मिला था. जिसे बिशप ने फर्जी करार दिया था. सीनेट की मंजूरी के बिना जिमखाने को लीज पर दिए जाने का और जमीन सरकारी होने का खुलासा हुआ, इसके बाद महाराष्ट्र सरकार ने संबंधित एग्रीमेंट को निरस्त घोषित करते हुए शून्य कर दिया था.
बिशप पीसी सिंह के अंडरवर्ल्ड कनेक्शन का खुलासा, दाऊद के गुर्गे रियाज भाटी से डील का आरोप
छापे में अकूत संपत्ति का खुलासा: मध्यप्रदेश ईओडब्ल्यू की टीम को सर्च कार्रवाई के दौरान 1 करोड़ 65 लाख रूपए नगद, 18 हजार 552 डॉलर, 118 पाउंड, 8 लग्जरी कार, 90 लाख रुपये की डिस्कवरी कार, 48 बैंक खाते, 17 प्रॉपर्टी के दस्तावेज सहित अन्य दस्तावेज मिले. जिसके आधार पर ईओडब्ल्यू ने बिशप पीसी सिंह, बीएस सोलंकी तत्कालीन असिस्टेंट रजिस्ट्रार फर्म्स एंड संस्थाएं के विरुद्ध धारा 406, 420, 668, 47, 120 बी के तहत मामला दर्ज किया गया था. इसके साथ ही उत्तरप्रदेश, पंजाब, राजस्थान, छत्तीसगढ और मध्यप्रदेश में ऐसे ही मामलों में बिशप पीसी सिंह और उसके साथियों पर करीब 100 से ज्यादा मामले दर्ज हैं. जिसमे करीब 35 मामलों में बिशप पीसी सिंह नामजद आरोपी बनाया गया है.(pc singh registry of expensive plot on his name) (PC Singh many revelations in interrogation of EOW) (jabalpur eow arrest bishop pc singh)