रांचीः राजधानी के अरगोड़ा इलाके में 25 लाख के जेवरात लूट को कुख्यात अपराधी तौकीर आलम गैंग ने अंजाम दिया था. पूरे मामले का खुलासा करते हुए पुलिस ने लूटकांड में शामिल 7 अपराधियों को गिरफ्तार करते हुए पूरे के पूरे 25 लाख के जेवरात भी बरामद कर लिए है.
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कर्मचारी ने दोस्त को बताई थी कोलकाता जाने के बात
दिनदहाड़े कोई इस लूट की घटना के बाद रांची पुलिस की कार्यशैली पर लगातार सवाल उठ रहे थे. वहीं पुलिस इसे चुनौती के रूप में देखते हुए जल्द से जल्द लूट में शामिल अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए प्रयास कर रही थी.
जेवर कारोबारी के कर्मचारी ईश्वर भगत से जब पुलिस ने पूछताछ की तो ईश्वर ने बताया कि उसने कोलकाता जाकर गहने लाने की बात सिर्फ और सिर्फ अपने दोस्त जतिश महतो से बताई थी.
पुलिस को जतिश पर शक हुआ, जिसके बाद जतिश को रांची के इटकी इलाके से पुलिस ने पूछताछ के लिए हिरासत में ले लिया. पुलिस की कड़ाई के आगे जतिश टूट गया और उसने लूटकांड की पूरी कहानी सामने ला दी.
हरि गोप ने डायमंड से किया सम्पर्क
अपने दोस्त की मुंह से यह बात सुनकर कि वह 25 लाख से अधिक के गहने कोलकाता से लेकर रांची आने वाला है, यह बात जतिश ने अपने दोस्त हरि गोप को बताई.
हरि गोप ने मामले की जानकारी दानिश उर्फ डायमंड को दी जिसके बाद डायमंड ने अपने रिश्तेदार व कुख्यात अपराधी तौकीर आलम को पूरे मामले की जानकारी दी.
हरमू में बनी लूट की प्लानिंग
तौकीर आलम ने जेवरात लूटने की प्लानिंग की. इसके लिए तौकीर, असलम अंसारी, करण सिंह , हरि गोप, दानिश मजहर और जतिश ने हरमू चौक के पास स्थित एक होटल में बकायदा मीटिंग भी की.
लूट की प्लानिंग करने के बाद अपराधियों ने उसी दिन स्टेशन से लेकर लूट वाली जगह का मुआयना किया साथ ही यह भी तय कर लिया कि लूट कहां पर करनी है और फिर किस रास्ते से भागना है. इसके लिए सबसे पहले एक चोरी की बाइक का इंतजाम किया गया और उसमें एक दूसरे जिले के बाइक का नंबर लगा दिया गया.
जेवर कारोबारी की रेकी
लूट की योजना बनाने के बाद शुक्रवार की सुबह सातों अपराधी रांची के चुटिया रेलवे स्टेशन से ही जेवर कारोबारी की रेकी करने लगे. इस दौरान सभी एक दूसरे के साथ फोन से संपर्क में थे, जबकि चोरी की बाइक पर असलम, तौकीर और करण जेवर कारोबारी के पीछे स्टेशन से ही लग गए.
इसी दौरान अरगोड़ा थाना क्षेत्र के सहजानंद चौक के पास स्थित बिजली कार्यालय वाली गली में सुनसान जगह देख कर तीनों ने जेवर कारोबारी से हथियार के बल पर 25 लाख के गहने लूट लिए और फरार हो गए.
तौकीर फरार होने के चक्कर में हुआ घायल
तौकीर आलम पिछले 14 सालों से फरार चल रहा है. तौकीर ने राजधानी रांची में कई बड़े हत्याकांड को अंजाम दिया था. साल 2009 में रांची के जाने-माने कोयला कारोबारी धानुका की हत्या, नामकुम थाना क्षेत्र में दो भाइयों की हत्या सहित कई हत्याकांड में वह शामिल था.
लूटकांड में उसका नाम आने के बाद जब पुलिस उसे गिरफ्तार करने के लिए उसके घर पहुंची, तब वह छत से कूदकर फरार होने की कोशिश करने लगा लेकिन इसी बीच हटिया एएसपी विनीत की उस पर नजर पड़ गई.
जिसके बाद विनीत ने उसे खदेड़ कर दबोच लिया लेकिन एक बार फिर वह विनीत के चुंगल से छूटकर फरार होने की कोशिश करने लगा. भागने के क्रम में तौकीर सीढ़ियों से गिर पड़ा, जिसमें उसे चोट भी आई है. प्रेस कांफ्रेंस के दौरान भी उसे नहीं लाया था फिलहाल उसका अस्पताल में इलाज चल रहा है.
25 लाख का माल बरामद
जब जेवरात की लूट हुई थी उस दौरान जेवर कारोबारी द्वारा 21 लाख की लूट की प्राथमिकी दर्ज करवाई गई थी, लेकिन अपराधियों की गिरफ्तारी के बाद उनसे 25 लाख के गहने बरामद किए गए.
इस मामले को लेकर रांची के सीनियर एसपी सुरेंद्र कुमार झा ने बताया कि दरअसल लूट की वजह से जेवर कारोबारी बेहद डर गए थे, ऐसे में उन्हें यह याद नहीं था उसमें 25 लाख के गहने थे.
महज 4 दिन में मामले का खुलासा
शहर के वीआईपी इलाके से 25 लाख के गहने लूट मामले को पुलिस ने टेक्निकल टीम और सीसीटीवी फुटेज के माध्यम से 5 दिनों के अंदर सुलझा लिया.
मामले में अपराधियों की गिरफ्तारी से लेकर गहनों की बरामदगी में रांची के सिटी एसपी सौरभ, हटिया एएसपी विनीत, अरगोड़ा थानेदार विनोद और उनकी टीम के साथ साथ एसएसपी की क्यूआरटी का अहम योगदान रहा.