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Ranchi News: रांची में पुलिस प्रताड़ना का शिकार विनोद कुमार का मामला पहुंचा राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग, बाबूलाल मरांडी ने पत्र लिख कार्रवाई की मांग की

झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को पत्र लिख कर रांची में पुलिस प्रताड़ना के एक मामले से अवगत कराया है. साथ ही बाबूलाल ने मामले में आयोग से त्वरित कार्रवाई की मांग की है.

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Police Harassment Case In Ranchi
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Published : Jun 17, 2023, 8:53 PM IST

रांची: पुलिस की प्रताड़ना का शिकार युवक विनोद कुमार सिन्हा का मामला अब तूल पकड़ने लगा है. झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को पत्र लिखकर घटना से अवगत कराया है. राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग दिल्ली के अध्यक्ष को भेजे गए पत्र में बाबूलाल मरांडी ने उल्लेख किया है कि 15 जून 2023 को रांची के अरगोड़ा थाना में विनोद कुमार सिन्हा नामक एक व्यक्ति की थाने के अंदर बर्बरतापूर्वक पिटाई की गई है. उन्होंने मामले को गंभीर बताते हुए थाना प्रभारी संजय कुमार सहित अन्य पुलिसकर्मियों को तत्काल सेवा से बर्खास्त करने की मांग की है.

ये भी पढे़ं-Jharkhand Politics: बाबूलाल मरांडी ने किया हेमंत सरकार पर हमला, कहा- 'अवैध कारोबार का सरदार, अवैध कारोबार रोकने की कर रहा बात'

झारखंड के पुलिस पदाधिकारी उड़ा रहे विधि-व्यवस्था की धज्जियांः बाबूलाल मरांडी ने पत्र के माध्यम से राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को घटना से अवगत कराते हुए कहा गया है कि पीड़ित ना तो कोई अपराधी है और ना ही आपराधिक रिकॉर्ड का व्यक्ति है, वह एक आम इंसान है जो थाने में न्याय की गुहार लगाने के लिए गया था. कहा जाता है कि कोई भी पुलिस थाना आपराधिक न्याय प्रणाली की पहली सीढ़ी है जहां से न्याय के बीज का जन्म होता है, लेकिन अत्यंत अफसोस की बात है कि एक थाने में एक इंसान द्वारा महज कुछ सवाल पूछे जाने पर उसे बुरी तरह से पीट-पीटकर लहूलुहान कर दिया जाता है. खून से लथपथ पीड़ित के चेहरे पर जो खून के धब्बे हैं वह यह बयान कर रहे हैं कि किस तरह से झारखंड में विधि व्यवस्था की खुलेआम धज्जियां उड़ाई जा रही हैं.

Police Harassment Case In Ranchi
बाबूलाल मरांडी का पत्र

बाबूलाल ने मामले में तत्काल कार्रवाई की मांग कीः एक तरफ देश में आजादी के अमृत काल का महोत्सव मनाया जा रहा है, वहीं दूसरी तरफ कुछ पुलिस पदाधिकारी जनता का दमन करने में ब्रिटिश राज को भी पीछे छोड़ रहे हैं. ऐसे में झारखंड सरकार को तत्काल एफआईआर दर्ज करने का निर्देश दिया जाए, ताकि पीड़ित व्यक्ति को न्याय दिलाने की प्रक्रिया शुरू हो सके. साथ ही सरकार द्वारा पूरे मामले को रफा-दफा करने की कोशिश की गई है इसे ध्यान में रखकर झारखंड सरकार को भी इस मामले में पार्टी बनाया जाए. बाबूलाल मरांडी ने अपनी लिखित शिकायत पत्र के साथ पीड़ित का खून से लथपथ वीडियो और बयान, पीड़ित का एनएचआरसी के नाम लिखित शिकायत पत्र से संबंधित समाचार पत्र की कॉपी और पीड़ित का मेडिकल रिपोर्ट भी भेजा है.

जानें क्या है पूरा मामलाः दरअसल, पीड़ित विनोद कुमार सिन्हा की दो माह पहले मोबाइल चोरी हुई थी. घटना के दिन हरमू बाजार में एक मोबाइल चोर पकड़ा गया था. यह बात सुनने के बाद वह अरगोड़ा थाना गए थे. उन्हें लगा कि कहीं उसी चोर ने तो उनका भी मोबाइल गायब नहीं किया है. इसी उद्देश्य से वो अरगोड़ा थाना पहुंच गए. थाने में विनोद ने सामने बैठे पुलिसकर्मियों से बस इतना पूछा कि चोर पकड़ाता है, क्या मोबाइल भी मिलता है. हर दिन आप लोग 10 से अधिक सनहा लिखते हैं, लेकिन कभी मोबाइल नहीं मिल पाता है. लगता है कि पुलिस की शह पर ऐसा होता है. इतना सुनते ही सामने बैठे मुंशी ने उसे अंदर बुलाया. विनोद के अंदर पहुंचते ही मुंशी विनोद के चेहरे पर घूंसा मारने लगा और लात जूते से पिटाई शुरू कर दी. इसके बाद भी उसे नहीं छोड़ा गया उसके नाक, मुंह से खून गिरने लगा. पुलिस की पिटाई से घायल युवक विनोद कुमार फिलहाल रिम्स में इलाजरत है.

रांची: पुलिस की प्रताड़ना का शिकार युवक विनोद कुमार सिन्हा का मामला अब तूल पकड़ने लगा है. झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को पत्र लिखकर घटना से अवगत कराया है. राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग दिल्ली के अध्यक्ष को भेजे गए पत्र में बाबूलाल मरांडी ने उल्लेख किया है कि 15 जून 2023 को रांची के अरगोड़ा थाना में विनोद कुमार सिन्हा नामक एक व्यक्ति की थाने के अंदर बर्बरतापूर्वक पिटाई की गई है. उन्होंने मामले को गंभीर बताते हुए थाना प्रभारी संजय कुमार सहित अन्य पुलिसकर्मियों को तत्काल सेवा से बर्खास्त करने की मांग की है.

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झारखंड के पुलिस पदाधिकारी उड़ा रहे विधि-व्यवस्था की धज्जियांः बाबूलाल मरांडी ने पत्र के माध्यम से राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को घटना से अवगत कराते हुए कहा गया है कि पीड़ित ना तो कोई अपराधी है और ना ही आपराधिक रिकॉर्ड का व्यक्ति है, वह एक आम इंसान है जो थाने में न्याय की गुहार लगाने के लिए गया था. कहा जाता है कि कोई भी पुलिस थाना आपराधिक न्याय प्रणाली की पहली सीढ़ी है जहां से न्याय के बीज का जन्म होता है, लेकिन अत्यंत अफसोस की बात है कि एक थाने में एक इंसान द्वारा महज कुछ सवाल पूछे जाने पर उसे बुरी तरह से पीट-पीटकर लहूलुहान कर दिया जाता है. खून से लथपथ पीड़ित के चेहरे पर जो खून के धब्बे हैं वह यह बयान कर रहे हैं कि किस तरह से झारखंड में विधि व्यवस्था की खुलेआम धज्जियां उड़ाई जा रही हैं.

Police Harassment Case In Ranchi
बाबूलाल मरांडी का पत्र

बाबूलाल ने मामले में तत्काल कार्रवाई की मांग कीः एक तरफ देश में आजादी के अमृत काल का महोत्सव मनाया जा रहा है, वहीं दूसरी तरफ कुछ पुलिस पदाधिकारी जनता का दमन करने में ब्रिटिश राज को भी पीछे छोड़ रहे हैं. ऐसे में झारखंड सरकार को तत्काल एफआईआर दर्ज करने का निर्देश दिया जाए, ताकि पीड़ित व्यक्ति को न्याय दिलाने की प्रक्रिया शुरू हो सके. साथ ही सरकार द्वारा पूरे मामले को रफा-दफा करने की कोशिश की गई है इसे ध्यान में रखकर झारखंड सरकार को भी इस मामले में पार्टी बनाया जाए. बाबूलाल मरांडी ने अपनी लिखित शिकायत पत्र के साथ पीड़ित का खून से लथपथ वीडियो और बयान, पीड़ित का एनएचआरसी के नाम लिखित शिकायत पत्र से संबंधित समाचार पत्र की कॉपी और पीड़ित का मेडिकल रिपोर्ट भी भेजा है.

जानें क्या है पूरा मामलाः दरअसल, पीड़ित विनोद कुमार सिन्हा की दो माह पहले मोबाइल चोरी हुई थी. घटना के दिन हरमू बाजार में एक मोबाइल चोर पकड़ा गया था. यह बात सुनने के बाद वह अरगोड़ा थाना गए थे. उन्हें लगा कि कहीं उसी चोर ने तो उनका भी मोबाइल गायब नहीं किया है. इसी उद्देश्य से वो अरगोड़ा थाना पहुंच गए. थाने में विनोद ने सामने बैठे पुलिसकर्मियों से बस इतना पूछा कि चोर पकड़ाता है, क्या मोबाइल भी मिलता है. हर दिन आप लोग 10 से अधिक सनहा लिखते हैं, लेकिन कभी मोबाइल नहीं मिल पाता है. लगता है कि पुलिस की शह पर ऐसा होता है. इतना सुनते ही सामने बैठे मुंशी ने उसे अंदर बुलाया. विनोद के अंदर पहुंचते ही मुंशी विनोद के चेहरे पर घूंसा मारने लगा और लात जूते से पिटाई शुरू कर दी. इसके बाद भी उसे नहीं छोड़ा गया उसके नाक, मुंह से खून गिरने लगा. पुलिस की पिटाई से घायल युवक विनोद कुमार फिलहाल रिम्स में इलाजरत है.

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