रांची: झारखंड में हुए 34 वें राष्ट्रीय खेल घोटाले में तत्कालिन खेल मंत्री बंधु तिर्की, राष्ट्रीय खेल आयोजन समिति के कार्यकारी अध्यक्ष आरके आनंद समेत 5 आरोपियों पर मुकदमा चलाने की अनुमति एंटी करप्शन ब्यूरो को मिल गई है. खेल घोटाले में टेंडर समिति से जुड़े एचएल दास, शुकदेव सुबोध गांधी और अजीत जोईस लकड़ा पर अभियोजन चलाने की सहमति एसीबी को खेल विभाग ने दी है. एसीबी अधिकारियों ने जल्द ही इन आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दायर करने का दावा किया है.
एसीबी ने मामले की जांच में बंधु तिर्की, आरके आनंद समेत टेंडर समिति के सदस्यों की भूमिका गलत पाई थी. इसके बाद एसीबी ने अभियोजन चलाने के लिए विभाग से सहमति मांगी थी. चार्जशीट दायर करने अभियोजन चलाने की अनुमति संबंधी पत्र एसीबी को गुरूवार शाम ही मिला. एसीबी सूत्रों के मुताबिक, जांच में कुछ नए तथ्य भी आए हैं, जिसके आधार पर एसएम हाशिमी, मधुकांत पाठक पर पूरक चार्जशीट की जा सकती है. एसीबी ने अबतक जांच में आयोजन समिति के सचिव एसएम हाशिमी, तात्कालिन खेल निदेशक पीसी मिश्रा और कोषाध्यक्ष मधुकांत पाठक के खिलाफ चार्जशीट की है.
बंधु की अग्रिम जमानत खारिज, आनंद पर पीड़क कार्रवाई पर रोक
एसीबी ने साल 2010 में कांड संख्या 49/19 दर्ज किया था. 9 साल चली जांच के बाद फरवरी महीने में तत्कालिन मंत्री समेत अन्य के खिलाफ अभियोजन की स्वीकृति मांगी गई थी. बंधु तिर्की खेल घोटाले में अग्रिम जमानत के लिए हाईकोर्ट की शरण में गए थे, लेकिन वहां उनकी याचिका खारिज हो गई, वहीं, आरके आनंद के खिलाफ किसी भी तरह की पीड़क कार्रवाई पर हाईकोर्ट ने 17 अक्तूबर तक रोक लगाई है.
क्या है पूरा मामला
झारखंड में साल 2007 में राष्ट्रीय खेल का आयेाजन होना था. हालांकि तैयारी पूरी नहीं होने के कारण 34 वें राष्ट्रीय खेल साल 2011 में झारखंड में आयोजित हुए. राष्ट्रीय खेल के आयेाजन के पहले खेल सामग्री की खरीद, खेल, ठेका देने में अनियमितता, निर्माण में गड़बड़ी के मामले सामने आए. आंकलन के मुताबिक, 29 करोड़ से अधिक का नुकसान सरकार को हुआ. जिसके बाद साल 2010 में एसीबी ने इस संबंध में एफआईआर दर्ज की.