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बड़े हादसे को न्योता दे रहा है यह भवन, नेताओं की अनदेखी से बिल्डिंग की हालत खस्ता - पांवटा साहिब

सिरमौर के गिरिपार क्षेत्र में स्थित छात्रावास भवन की हालत प्रशासन और सरकार की अनदेखी के कारण खस्ता होती जा रही है. बिल्डिंग के जीर्णोद्धार के लिए प्रशासन की तरफ से स्थानीय लोगों की मांगों को हर बार अनसुना कर दिया जाता है.

बड़े हादसे को न्योता दे रहा है यह भवन, नेताओं की अनदेखी से बिल्डिंग की हालत खस्ता
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Published : Oct 17, 2019, 2:38 PM IST

Updated : Oct 17, 2019, 4:02 PM IST

पांवटा साहिब: जिला सिरमौर के गिरिपार और अम्बोया के बीच स्थित छात्रावास भवन प्रशासन की अनदेखी के कारण खंडहर में तबदील होता जा रहा है. बिल्डिंग की दीवारें जर्जर हो चुकी है. समय रहते भलन की मरम्मत न होने के कारण ये इमारत किसी भी समय गिर सकती है.

भवन की कमरों की दीवारें अंदर से बिल्कुल टूट चुकी हैं. कमरे ईंटो से भरे हुए हैं. वहीं, स्थानीय लोग इस बिल्डिंग के आसपास खड़े होने में भी कतराते हैं. लोगों की माने तो प्रशासन और प्रदेश के दोनों बड़ी पार्टियों के नेता इस बिल्डिंग की सुध लेने को तैयार नहीं है.

वीडियो.

बता दें सन 1985 में गिरीपार क्षेत्रों में स्कूलों की संख्या कम होती थी. उस दौरान लगभग 10 पंचायतों के छात्र अम्बोया स्कूल में शिक्षा ग्रहण करने के लिए आते थे. इन छात्रों के रहने के लिए भवन दिया गया था, लेकिन जैसे-जैसे इलाके में स्कूलों की संख्या बढ़ती गई वैसे ही अम्बोया स्कूल में छात्रों की संख्या कम होती गई. कई वर्षों से खाली पड़ी ये बिल्डिंग खंडहर हो चुकी है. पंचायत प्रतिनिधियों ने प्रशासन और नेताओं से इस बिल्डिंग की मरम्मत करवाने की गुहार लगाई, लेकिन अभी तक इस ओर किसी ने भी कोई ध्यान नहीं दिया है.

पांवटा साहिब: जिला सिरमौर के गिरिपार और अम्बोया के बीच स्थित छात्रावास भवन प्रशासन की अनदेखी के कारण खंडहर में तबदील होता जा रहा है. बिल्डिंग की दीवारें जर्जर हो चुकी है. समय रहते भलन की मरम्मत न होने के कारण ये इमारत किसी भी समय गिर सकती है.

भवन की कमरों की दीवारें अंदर से बिल्कुल टूट चुकी हैं. कमरे ईंटो से भरे हुए हैं. वहीं, स्थानीय लोग इस बिल्डिंग के आसपास खड़े होने में भी कतराते हैं. लोगों की माने तो प्रशासन और प्रदेश के दोनों बड़ी पार्टियों के नेता इस बिल्डिंग की सुध लेने को तैयार नहीं है.

वीडियो.

बता दें सन 1985 में गिरीपार क्षेत्रों में स्कूलों की संख्या कम होती थी. उस दौरान लगभग 10 पंचायतों के छात्र अम्बोया स्कूल में शिक्षा ग्रहण करने के लिए आते थे. इन छात्रों के रहने के लिए भवन दिया गया था, लेकिन जैसे-जैसे इलाके में स्कूलों की संख्या बढ़ती गई वैसे ही अम्बोया स्कूल में छात्रों की संख्या कम होती गई. कई वर्षों से खाली पड़ी ये बिल्डिंग खंडहर हो चुकी है. पंचायत प्रतिनिधियों ने प्रशासन और नेताओं से इस बिल्डिंग की मरम्मत करवाने की गुहार लगाई, लेकिन अभी तक इस ओर किसी ने भी कोई ध्यान नहीं दिया है.

Intro:महेल जैसी बिल्डिंग बनी खंडहर
बड़े हादसे को न्योता दे रही है यह पुराना भवन
मौत की बिल्डिंग के नाम से प्रसिद्ध है
नेताओं की अनदेखी से बिल्डिंग की हालत खस्ता


Body:

जिला सिरमौर के गिरिपार राजपुर ओर अम्बोया के बीच स्थित छात्रावास भवन कभी सबसे सुंदर भवन के नाम से प्रसिद्ध था आज इसकी दशा इतनी खतरनाक हो कि देखने में डर लगता है बिल्डिंग की दीवारें जर्जर हालत में नजर आ रही है कभी भी पूरी बिल्डिंग क्षतिग्रस्त हो सकती है भवन की कमरों की दीवारें अंदर से बिल्कुल टूट चुकी है कमरे इंटो से भरे हुए हैं लोगों ने अब इसे मौत के बिल्डिंग का नाम ले लिया है बिल्डिंग के आसपास खड़े होने में भी लोग कतराते हैं यहां के दोनों दलों के नेता पिछले कई वर्षों से इस बिल्डिंग की सुध लेने को तैयार नहीं है बता दें सन 1985 के आसपास जब गिरी पार में स्कूल संख्या कम होती थी तो लगभग 10 पंचायतों के छात्र अमबोया स्कूल में शिक्षा ग्रहण करने के लिए आते थे इन छात्रों के लिए रहने के लिए भवन दिया गया था लेकिन दिन प्रतिदिन जैसे स्कूलों की संख्या बढ़ी बिल्डिंग की ओर किसी ने ध्यान नहीं दिया और कई वर्षों से खंडहर पड़ी है ऐसा नहीं है कि पंचायतों ने शासन प्रशासन नेताओं व प्रदेश के मुखिया तक इस समस्या की कई बार गुहार भी लगाई है पर नेताओं के दिए गए वादे अभी तक पूरे नहीं हुए हैं। खामियाजा आज भी यहां के लोगों को झेलनी पड़ रही है



Conclusion:
Last Updated : Oct 17, 2019, 4:02 PM IST
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