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Himachal Monsoon: मानसून की बारिश में अब तक 187 लोगों की मौत, ₹5620 करोड़ का नुकसान, 7863 घर क्षतिग्रस्त

हिमाचल में मानसून सीजन की शुरुआत से लगातार बारिश का दौर जारी है. जिसकी वजह से राज्य को हजारों करोड़ का नुकसान हुआ है. राज्य में अब तक ₹5620 करोड़ की संपत्ति को नुकसान पहुंचा है. वहीं, 187 लोगों की मौत हो चुकी है. पढ़िए पूरी खबर....

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Published : Jul 29, 2023, 7:54 PM IST

शिमला: हिमाचल प्रदेश में मानसून अबकी बार कहर बरपा रहा है. मूसलाधार बारिश सड़कें, पुल, पानी की परियोजनाओं और निजी संपत्ति को भारी नुकसान पहुंचा है. मानसून सीजन में अब तक ₹5620 करोड़ का नुकसान हो चुका है. वहीं, 7863 परिवारों के आशियाने क्षतिग्रस्त हुए हैं. जबकि भारी बारिश में हुए हादसों में करीब 187 लोगों की मौत और 215 लोग घायल हुए हैं.

बारिश में बही ₹5620 करोड़ की संपत्ति: प्रदेश में मानसून की बारिश से सड़कों, पानी की परियोजनाओं, निजी संपत्तियों को करीब ₹5620 करोड़ की क्षति हुई है. इसमें लोक निर्माण विभाग को ₹1909 करोड़ की क्षति हुई है. सैकड़ों सड़कों के साथ करीब 90 पुलों को भी क्षति पहुंची है. जबकि 19 पुल बाढ़ में बह गए हैं. हालांकि, लोक निर्माण विभाग सड़कों को बहाल करने का काम कर रहा है, लेकिन लगातार हो रही बारिश से फिर से सड़कें बंद हो रही हैं.

प्रदेश में अभी भी 468 सड़कें बंद: प्रदेश में अभी भी करीब 468 सड़कें बाधित हैं. इनमें 286 सड़कें लोक निर्माण विभाग शिमला जोन और 130 सड़कें मंडी जोन की बंद हैं. कांगड़ा जोन में 37 और हमीरपुर जोन के तहत 13 सड़कें बंद हैं. इसके अलावा कुछ राजमार्ग भी बारिश से बाधित हैं. विभाग ने करीब 940 टिप्पर, जेसीबी और अन्य मशीनें तैनात कर रखी हैं.

जल शक्ति विभाग को भारी नुकसान: मानसून मूसलाधार बारिश से पानी की परियोजनाओं को भी क्षति पहुंच रही है. पानी की लाइनें और जल स्त्रोत भूस्खलन होने से क्षतिग्रस्त हो गए हैं. मानसून में जल शक्ति विभाग की करीब 8439 योजनाओं को बरसात से क्षति पहुंची है. इनमें 6659 पेयजल की हैं. हालांकि विभाग ने इनमें से 6425 परियोजनाएं अस्थाई तौर पर बहाल कर दी हैं. इसके अलावा सिंचाई की 1524 फ्लड कंट्रोल की 181 व सीवरेज की 68 परियोजनाएं भी क्षतिग्रस्त हुई हैं. भारी बारिश से जल शक्ति विभाग को करीब अब तक ₹1543 करोड़ हुआ है. इसके अलावा प्रदेश बिजली बोर्ड को भी करीब ₹1497 करोड़, कृषि को करीब ₹167 करोड़ और बागवानी को करीब ₹144 करोड़ का नुकसान हुआ है. शहरी निकायों में करीब ₹6.47 करोड़ और पशुपालन विभाग को करीब ₹1.76 करोड़ का नुकसान हुआ है.

187 जानें गईं, 7863 मकान क्षतिग्रस्त: प्रदेश में भारी बारिश जानी नुकसान भी पहुंचा रही है. अब तक मानसून में 187 जानें जा चुकी हैं और 215 लोग जख्मी हुए हैं. भारी बारिश से अबकी बार सैंकड़ों मकान भी भूस्खलन व फ्लड की चपेट में आ गए. प्रदेश के विभिन्न जिलों में करीब 7863 परिवारों के आशियाने बारिश से क्षतिग्रस्त हुए, जिनमें 702 घर पूरी तरह ढह गए. वहीं अलावा 241 दुकानें भी क्षतिग्रस्त हुई. प्रदेश में 2118 से ज्यादा गौशालाएं भी ढह गईं और सैकड़ों मवेशियों की मौत भी हुई है.

बाबा बालक नाथ मंदिर दियोथसिद्ध ट्रस्ट ने शिमला में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को आपदा राहत कोष के लिए 3 करोड़ रुपये का चैक भेंट किया. इसके अलावा ट्रस्ट ने मुख्यमंत्री सुख आश्रय कोष के लिए भी 2 करोड़ रुपये का चेक भेंट किया. इस अवसर पर बड़सर के विधायक इंद्र दत्त लखनपाल भी उपस्थित रहे. धूमू शाह मेला समिति दाड़ी ने भी मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को मुख्यमंत्री राहत कोष के लिए 10 लाख रुपये का चेक भेंट किया.

ये भी पढ़ें: Himachal Weather Update: मौसम विभाग का अलर्ट, 3 अगस्त तक बारिश की चेतावनी, इन 3 जिलों में फ्लैश फ्लड का खतरा

शिमला: हिमाचल प्रदेश में मानसून अबकी बार कहर बरपा रहा है. मूसलाधार बारिश सड़कें, पुल, पानी की परियोजनाओं और निजी संपत्ति को भारी नुकसान पहुंचा है. मानसून सीजन में अब तक ₹5620 करोड़ का नुकसान हो चुका है. वहीं, 7863 परिवारों के आशियाने क्षतिग्रस्त हुए हैं. जबकि भारी बारिश में हुए हादसों में करीब 187 लोगों की मौत और 215 लोग घायल हुए हैं.

बारिश में बही ₹5620 करोड़ की संपत्ति: प्रदेश में मानसून की बारिश से सड़कों, पानी की परियोजनाओं, निजी संपत्तियों को करीब ₹5620 करोड़ की क्षति हुई है. इसमें लोक निर्माण विभाग को ₹1909 करोड़ की क्षति हुई है. सैकड़ों सड़कों के साथ करीब 90 पुलों को भी क्षति पहुंची है. जबकि 19 पुल बाढ़ में बह गए हैं. हालांकि, लोक निर्माण विभाग सड़कों को बहाल करने का काम कर रहा है, लेकिन लगातार हो रही बारिश से फिर से सड़कें बंद हो रही हैं.

प्रदेश में अभी भी 468 सड़कें बंद: प्रदेश में अभी भी करीब 468 सड़कें बाधित हैं. इनमें 286 सड़कें लोक निर्माण विभाग शिमला जोन और 130 सड़कें मंडी जोन की बंद हैं. कांगड़ा जोन में 37 और हमीरपुर जोन के तहत 13 सड़कें बंद हैं. इसके अलावा कुछ राजमार्ग भी बारिश से बाधित हैं. विभाग ने करीब 940 टिप्पर, जेसीबी और अन्य मशीनें तैनात कर रखी हैं.

जल शक्ति विभाग को भारी नुकसान: मानसून मूसलाधार बारिश से पानी की परियोजनाओं को भी क्षति पहुंच रही है. पानी की लाइनें और जल स्त्रोत भूस्खलन होने से क्षतिग्रस्त हो गए हैं. मानसून में जल शक्ति विभाग की करीब 8439 योजनाओं को बरसात से क्षति पहुंची है. इनमें 6659 पेयजल की हैं. हालांकि विभाग ने इनमें से 6425 परियोजनाएं अस्थाई तौर पर बहाल कर दी हैं. इसके अलावा सिंचाई की 1524 फ्लड कंट्रोल की 181 व सीवरेज की 68 परियोजनाएं भी क्षतिग्रस्त हुई हैं. भारी बारिश से जल शक्ति विभाग को करीब अब तक ₹1543 करोड़ हुआ है. इसके अलावा प्रदेश बिजली बोर्ड को भी करीब ₹1497 करोड़, कृषि को करीब ₹167 करोड़ और बागवानी को करीब ₹144 करोड़ का नुकसान हुआ है. शहरी निकायों में करीब ₹6.47 करोड़ और पशुपालन विभाग को करीब ₹1.76 करोड़ का नुकसान हुआ है.

187 जानें गईं, 7863 मकान क्षतिग्रस्त: प्रदेश में भारी बारिश जानी नुकसान भी पहुंचा रही है. अब तक मानसून में 187 जानें जा चुकी हैं और 215 लोग जख्मी हुए हैं. भारी बारिश से अबकी बार सैंकड़ों मकान भी भूस्खलन व फ्लड की चपेट में आ गए. प्रदेश के विभिन्न जिलों में करीब 7863 परिवारों के आशियाने बारिश से क्षतिग्रस्त हुए, जिनमें 702 घर पूरी तरह ढह गए. वहीं अलावा 241 दुकानें भी क्षतिग्रस्त हुई. प्रदेश में 2118 से ज्यादा गौशालाएं भी ढह गईं और सैकड़ों मवेशियों की मौत भी हुई है.

बाबा बालक नाथ मंदिर दियोथसिद्ध ट्रस्ट ने शिमला में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को आपदा राहत कोष के लिए 3 करोड़ रुपये का चैक भेंट किया. इसके अलावा ट्रस्ट ने मुख्यमंत्री सुख आश्रय कोष के लिए भी 2 करोड़ रुपये का चेक भेंट किया. इस अवसर पर बड़सर के विधायक इंद्र दत्त लखनपाल भी उपस्थित रहे. धूमू शाह मेला समिति दाड़ी ने भी मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को मुख्यमंत्री राहत कोष के लिए 10 लाख रुपये का चेक भेंट किया.

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