शिमला: कोरोना संक्रमण के कारण प्रदेश की आर्थिक स्थिति पर बुरा असर पड़ा है. निजी बस ऑपरेटर्स संघ के एक प्रतिनिधिमंडल ने बदहाल आर्थिक स्थिति को लेकर परिवहन मंत्री बिक्रम सिंह से मुलाकात की. संघ के सदस्यों ने परिवहन मंत्री से सरकार द्वारा लगाए गए विभिन्न टैक्स माफ करने की मांग भी की.
संघ के महासचिव रमेश कमल ने बताया कि उन्होंने परिवहन मंत्री से एसआरटी एवं टोकन टैक्स माफ करने की मांग रखी है और परिवहन मंत्री ने उन्हें भरोसा दिलाया है कि जैसे ही प्रदेश कोरोना वायरस से बाहर निकलेगा उनकी मांगों पर विचार किया जाएगा.
रमेश कमल ने कहा कि अगर प्रदेश के निजी बस ऑपरेटरों को सरकार द्वारा राहत नहीं दी जाती है तो प्रदेश के अधिकतर निजी बस ऑपरेटर्स बसें नहीं चला पाएंगे. क्योंकि ना तो वह अपनी बसों को पास करवा पा रहे हैं और ना ही बसों की इंश्योरेंस करवाने में सक्षम हैं.
आर्थिक स्थिति दिन-प्रतिदिन खराब होती जा रही है
ऐसे में निजी बस ऑपरेटर्स की आर्थिक स्थिति दिन-प्रतिदिन खराब होती जा रही है. उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा घोषणा की गई थी कि प्रतिवर्ष 2 लाख रुपये का वर्किंग कैपिटल दिया जाएगा.
इसके अतिरिक्त 31 जुलाई 2020 तक निजी बस ऑपरेटर्स का एसआरटी टोकन टैक्स माफ कर दिया गया था. जिसके लिए प्रदेश के निजी बस ऑपरेटर्स ने परिवहन मंत्री का आभार व्यक्त किया था, लेकिन उसके बाद भी कोरोना संक्रमण के डर से और प्रदेश सरकार द्वारा लगाई गई पाबंदियों के बाद परिवहन व्यवसाय लगातार घाटे में चलता रहा.
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