करसोग/मंडी: कोरोना महामारी को लेकर प्रशासन ने करसोग के बॉर्डर एरिया में सख्ती बरतनी शुरू कर दी है. कोरोना वायरस के संक्रमण से करसोग में लोगों को बचाने के लिए उपमंडल के प्रवेश द्वार पर बाहरी राज्यों सहित अन्य जिलों से लौट रहे लोगों की लाइव मॉनिटरिंग की जा रही है.
उपमंडल के तत्तापानी, थली, परलोग व केलोधार बॉर्डर पर लाइव मॉनिटरिंग के साथ थर्मल स्कैनिंग व मोबाइल नंबर भी नोट किए जा रहे हैं. जिले में बाहर से आए लोगों को 28 दिन के अनिवार्य होम क्वारंटाइन की हिदायत दी गई है. इसके साथ सभी को आरोग्य सेतु ऐप डाउनलोड करने को भी कहा गया है. क्वारंटाइन के समय लोगों को सरकार के दिशा-निर्देशों का सही तरीके से पालन करने के निर्देश भी दिए गए हैं.
अब तक 42 लोग आ चुके हैं वापस:
प्रदेश सरकार के निर्देशों के बाद बाहर फंसे लोग फेज वाइस आना शुरू हो गए हैं. अब तक 42 लोग करसोग पहुंच चुके हैं. बॉर्डर पर ऐसे लोगों को लाइव मॉनिटरिंग के साथ थर्मल स्कैनिंग के बाद ही प्रवेश करने दिया जा रहा है. इसके साथ ही इन लोगों को डीसी मंडी का साइन किया हुआ 28 दिन का क्वारंटाइन नोटिस भी दिया जा रहा है. ये नोटिस 28 दिन के क्वारंटाइन पीरियड में व्यक्ति को सरकार की ओर से जारी एडवाइजरी के तहत नियमों का पालन करने के लिए दिया जा रहा है. इस बीच किसी भी व्यक्ति की ओर से क्वारंटाइन का पालन न करने पर उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज की जाएगी.
क्या है क्वारंटाइन:
होम क्वारंटाइन का मतलब घर में रहते हुए अपने आप को दूसरे लोगों से अलग कर लेना है. होम क्वारंटाइन के लिए खुद को एक कमरे में सीमित करके घर के अन्य सदस्यों से भी दूर रहना होगा. इसमें लोगों को अपनी जिम्मेदारी समझनी होगी, जिससे संक्रमण फैलने के किसी भी खतरे को टाला जा सके. होम क्वारंटाइन के लिए कमरा हवादार होना चाहिए और उसमें अटैच बाथरूम होना चाहिए. होम क्वारंटाइन के समय व्यक्ति को बुजुर्गों, गर्भवती महिलाओं और बच्चों से दूरी बनाकर रहना होगा.
एसडीम करसोग ने क्या कहा:
एसडीएम करसोग सुरेंद्र ठाकुर का कहना है कि सरकार के निर्देशानुसार बाहर फंसे लोग फेज वाइज पहुंचना शुरू हो गए हैं. अब तक 42 लोग करसोग वापस लौट चुके हैं. उन्होंने कहा कि सभी लोगों की बॉर्डर पर लाइव स्कैनिंग होने के साथ थर्मल स्कैनिंग भी की जा रही है. इसके साथ ही सरकार की ओर से जारी एडवाइजरी की पालना के लिए लोगों को 28 दिन तक क्वारंटाइन का भी नोटिस दिया जा रहा है