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किन्नर समुदाय की समस्या सुनने खुद मंच से उतरे न्यायाधीश, मौके पर ही अधिकारियों को दिए ये निर्देश

हमीरपुर के टाउन हॉल में आयोजित विधिक सेवाएं जागरूकता शिविर में न्यायाधीश त्रिलोक चंद चौहान ने किन्नर समुदाय के लोगों से मुलाकात की. इस दौरान किन्नर समुदाय के लोगों की समस्या सुनकर उच्च न्यायलय के न्यायधीश त्रिलोक चंद चौहान भावुक हो उठे. उन्होंने किन्नर अखाडे़े के लिए जमीन उपलब्ध करवाने के दिशानिर्देश भी मौके पर मौजूद अधिकारियों को दिए

transgender community in legal services awareness camp
विधिक सेवाएं जागरूकता शिविर में किन्नर समुदाय.
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Published : Oct 13, 2021, 6:54 PM IST

Updated : Oct 13, 2021, 9:33 PM IST

हमीरपुर: राज्य विधिक सेवाएं प्राधिकरण के जागरूकता शिविर में किन्नर समुदाय के लोगों की समस्या सुनकर उच्च न्यायलय के न्यायधीश त्रिलोक चंद चौहान भावुक हो उठे. समस्या की सुनवाई के लिए उनकी इस आत्मीयता का हर कोई कायल हुआ. हमीरपुर के टाउन हॉल में बुधवार को आयोजित विधिक सेवाएं जागरूकता शिविर में जब किन्नर समुदाय के लोगों ने अपनी समस्या न्यायाधीश के समक्ष रखी तो न्यायमूर्ति खुद मंच से उतर कर उनके पास पहुंच गए. करीब दस मिनट तक मंच से नीचे ही उन्होंने समस्या को समझा. इतना ही नहीं समझ सको समझने के बाद उन्होंने दस्तावेजों की जांच करने के साथ ही अधिकारियों को दिशा निर्देश भी दिए.

किन्नर समुदाय के लोग जब अपनी एक बेटी के लिए जमीन की समस्या जागरूकता शिविर में रखने लगे तो न्यायाधीश त्रिलोक चंद चौहान ने उनसे मौके पर इससे संबंधित दस्तावेज मांग लिए. दस्तावेज की प्रतियों को मंच तक पहुंचाने के लिए जब किन्नर समुदाय के लोग आगे बढ़े तो न्यायाधीश खुद ही मंच से उतर उनके पास पहुंच गए. दस्तावेजों की जांच के करने वाले न्यायाधीश ने कहा यह काफी हैं. इसके बाद न्यायाधीश ने कुछ वर्ष वाले किन्नर समुदाय के एक गुरु चेले की संपत्ति केस का जिक्र किया.

वीडियो.

इसके साथ ही उन्होंने किन्नर अखाडे़े के लिए जमीन उपलब्ध करवाने के दिशानिर्देश भी मौके पर मौजूद अधिकारियों को दिए. उनकी पहल से किन्नर समुदाय के लोग भी भावुक हो उठे. समस्या को बयां करते हुए उनके आंखों से आंसू भी छलक उठे. उन्होंने न्यायाधीश से आश्रम अथवा अखाड़े के लिए जमीन का प्रावधान की मांग उठाई, जिस पर मौके पर न्यायाधीश की तरफ से उनकी मांग को पूरा करने के लिए हमीरपुर अथवा अन्य किसी जिले में इसके लिए जमीन उपलब्ध करवाने के लिए अधिकारियों को कार्य करने की बात कही.

शिविर के प्रतिभागियों के साथ संवाद करते हुए त्रिलोक चंदचौहान ने बताया कि गरीब और असहाय लोगों को मुफ्त एवं सक्षम कानूनी सहायता प्रदान करने के लिए नालसा ने एक बहुत ही महत्वपूर्ण योजना आरंभ की है, पात्र लोगों को इस मुफ्त कानूनी सहायता योजना का लाभ उठाना चाहिए. उन्होंने अधिकारियों-कर्मचारियों, पंचायतीराज संस्थाओं और स्वयंसेवी संस्थाओं के पदाधिकारियों से कहा कि वे जरूरतमंद लोगों को मुफ्त कानूनी सहायता योजना की जानकारी दें, ताकि ऐसे लोग इसका लाभ उठा सकें. कार्यक्रम के दौरान न्यायमूर्ति तरलोक सिंह चौहान ने प्रतिभागियों की कई शंकाओं का समाधान किया और उनके कई प्रश्नों के उत्तर दिए.

ये भी पढ़ें: मंडी के विकास को देखते हुए जनता बीजेपी के साथ, ब्रिगेडियर खुशाल सिंह बनेंगे सांसद: गोविंद ठाकुर

ये भी पढ़ें: सेना को ढाल ना बनाकर मुद्दों पर लड़ा जाए चुनाव: विधायक विक्रमादित्य सिंह

हमीरपुर: राज्य विधिक सेवाएं प्राधिकरण के जागरूकता शिविर में किन्नर समुदाय के लोगों की समस्या सुनकर उच्च न्यायलय के न्यायधीश त्रिलोक चंद चौहान भावुक हो उठे. समस्या की सुनवाई के लिए उनकी इस आत्मीयता का हर कोई कायल हुआ. हमीरपुर के टाउन हॉल में बुधवार को आयोजित विधिक सेवाएं जागरूकता शिविर में जब किन्नर समुदाय के लोगों ने अपनी समस्या न्यायाधीश के समक्ष रखी तो न्यायमूर्ति खुद मंच से उतर कर उनके पास पहुंच गए. करीब दस मिनट तक मंच से नीचे ही उन्होंने समस्या को समझा. इतना ही नहीं समझ सको समझने के बाद उन्होंने दस्तावेजों की जांच करने के साथ ही अधिकारियों को दिशा निर्देश भी दिए.

किन्नर समुदाय के लोग जब अपनी एक बेटी के लिए जमीन की समस्या जागरूकता शिविर में रखने लगे तो न्यायाधीश त्रिलोक चंद चौहान ने उनसे मौके पर इससे संबंधित दस्तावेज मांग लिए. दस्तावेज की प्रतियों को मंच तक पहुंचाने के लिए जब किन्नर समुदाय के लोग आगे बढ़े तो न्यायाधीश खुद ही मंच से उतर उनके पास पहुंच गए. दस्तावेजों की जांच के करने वाले न्यायाधीश ने कहा यह काफी हैं. इसके बाद न्यायाधीश ने कुछ वर्ष वाले किन्नर समुदाय के एक गुरु चेले की संपत्ति केस का जिक्र किया.

वीडियो.

इसके साथ ही उन्होंने किन्नर अखाडे़े के लिए जमीन उपलब्ध करवाने के दिशानिर्देश भी मौके पर मौजूद अधिकारियों को दिए. उनकी पहल से किन्नर समुदाय के लोग भी भावुक हो उठे. समस्या को बयां करते हुए उनके आंखों से आंसू भी छलक उठे. उन्होंने न्यायाधीश से आश्रम अथवा अखाड़े के लिए जमीन का प्रावधान की मांग उठाई, जिस पर मौके पर न्यायाधीश की तरफ से उनकी मांग को पूरा करने के लिए हमीरपुर अथवा अन्य किसी जिले में इसके लिए जमीन उपलब्ध करवाने के लिए अधिकारियों को कार्य करने की बात कही.

शिविर के प्रतिभागियों के साथ संवाद करते हुए त्रिलोक चंदचौहान ने बताया कि गरीब और असहाय लोगों को मुफ्त एवं सक्षम कानूनी सहायता प्रदान करने के लिए नालसा ने एक बहुत ही महत्वपूर्ण योजना आरंभ की है, पात्र लोगों को इस मुफ्त कानूनी सहायता योजना का लाभ उठाना चाहिए. उन्होंने अधिकारियों-कर्मचारियों, पंचायतीराज संस्थाओं और स्वयंसेवी संस्थाओं के पदाधिकारियों से कहा कि वे जरूरतमंद लोगों को मुफ्त कानूनी सहायता योजना की जानकारी दें, ताकि ऐसे लोग इसका लाभ उठा सकें. कार्यक्रम के दौरान न्यायमूर्ति तरलोक सिंह चौहान ने प्रतिभागियों की कई शंकाओं का समाधान किया और उनके कई प्रश्नों के उत्तर दिए.

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Last Updated : Oct 13, 2021, 9:33 PM IST
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