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गिरते लिंगानुपात ने करनाल बढ़ाई स्वास्थ्य विभाग की मुश्किलें, बेटों के मुकाबले 1406 बेटियां कम

हरियाणा के जिला करनाल में बेटियों के जीवन पर फिर से संकट मंडराने लगा है. करनाल जिले में जनवरी से नवंबर तक 13 हजार 248 लड़कों के मुकाबले 11 हजार 842 लड़कियां पैदा (Sex Ratio in Karnal) हुई है. इसका मतलब है कि लड़कों के मुकाबले 1406 बेटियां कम पैदा हुई हैं.

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Published : Dec 15, 2022, 8:13 PM IST

करनाल: हरियाणा में जिला करनाल में गिरते लिंगानुपात से स्वास्थ्य विभाग की चिंताएं बढ़ती हुई दिखाई दे रही हैं. इसके बाद अब जिला स्वास्थ्य विभाग हरकत में आया है. आप जानकर हैरान हो जाएंगें कि करनाल में लड़कों (Sex Ratio in Karnal) की तुलना में लड़िकयों का आंकड़ा बेहद कम है. लिंगानुपात में करनाल जिला अन्य जिलों से पिछड़ता हुआ नजर आ रही है. इसकी तस्वीर आज साफ हुई जब स्वास्थ्य विभाग ने बैठक कर इस विषय में मंधन किया.

दरअसल आपको बता दें कि करनाल जिले में जनवरी से नवंबर तक 13 हजार 248 लड़कों के मुकाबले 11 हजार 842 लड़कियां पैदा हुई है. यानि लड़कों के मुकाबले 1406 बेटियां कम (Girls are less than boys) पैदा हुई हैं. करनाल में लिंगानुपात 896 पर जा पहुंचा है. हालांकि पिछले दस वर्षों की तुलना में लिंगानुपात में हल्का सा सुधार तो हुआ है लेकिन प्रदेश में अभी भी जिला 17वें स्थान पर है. इन आंकड़ों से साफ अंदाजा लगाया जा सकता है कि या तो जिले में कहीं भ्रूण जांच का खेल चल रहा है या फिर गर्भवती महिलाएं अन्य राज्यों में जाकर भ्रूण जांच (gender test in karnal) करवा रही है.

ऐसे में स्वास्थ्य विभाग की चिंताएं बढ़ना लाजमी है. लिंगानुपात के आंकड़ों को देखते हुए आज करनाल जिले के मुख्य चिकित्सा अधिकारी योगेश शर्मा ने सरकारी तथा गैर सरकारी डॉक्टरों के साथ एक बैठक की इस बैठक में लगातार गिर रहे लिंगानुपात पर चर्चा की गई तथा इसे सुधारने पर भी सभी डॉक्टरों के साथ विचार साझा किए गए. इस विषय पर जानकारी देते हुए मुख्य चिकित्सा अधिकारी योगेश शर्मा ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग (Karnal Health Department) को लगातार जानकारी मिल रही है कि जिले की गर्भवती महिलाएं करनाल के साथ लगते राज्य उत्तर प्रदेश में जाकर भ्रूण जांच कराती हैं.

ये भी पढ़ें: हरियाणा कैबिनेट का अहम फैसला, सरकारी पुरुष कर्मचारियों को मिलेगी 2 साल की चाइल्ड केयर लीव

इस दौरान यदि गर्भ में लड़की की सूचना मिलती है तो वहीं पर ही गर्भपात भी करा दिया जाता है. इन मामलों को देखते हुए जिला स्वास्थ्य विभाग ने कई बार उत्तर प्रदेश के शामली में भी अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर छापेमारी की है और इसमें जो दोषी पाए गए हैं उनके खिलाफ कार्रवाई भी की गई है. डॉ. योगेश शर्मा ने कहा कि लिंगानुपात को (Sex Ratio in Karnal) बेहतर करने के लिए पूरा प्रयास किया जा रहा है. इसको लेकर जिले के सभी सरकारी तथा गैर सरकारी डॉक्टरों के साथ बैठक की भी की गई है.

ये भी पढ़ें: बेटी बोझ क्यों है! कड़ाके की ठंड में 10 दिन की बच्ची को रेहड़ी में फेंककर फरार हुई मां, रोने की आवाज सुन पहुंचे लोग

जिन क्षेत्रों में लिंगानुपात कम है वहां की आशा वर्कर, आंगनबाड़ी वर्कर और ए.एन.एम को बुलाकर उनके साथ बैठक की जा रही है. वहीं दूसरी ओर गर्भवती महिलाओं के साथ उनके परिजनों को भी जागरुक किया जा रहा है. आमजन से भी अपील है कि यदि उन्हें भ्रूण जांच व गर्भपात (gender test in karnal) करने के बारे में कहीं से सूचना मिले तो वह इसकी जानकारी स्वास्थ्य विभाग को दे. सूचना देने वाले का नाम गुप्त रखा जाएगा और उसे पुरस्कार भी दिया जाएगा.

करनाल: हरियाणा में जिला करनाल में गिरते लिंगानुपात से स्वास्थ्य विभाग की चिंताएं बढ़ती हुई दिखाई दे रही हैं. इसके बाद अब जिला स्वास्थ्य विभाग हरकत में आया है. आप जानकर हैरान हो जाएंगें कि करनाल में लड़कों (Sex Ratio in Karnal) की तुलना में लड़िकयों का आंकड़ा बेहद कम है. लिंगानुपात में करनाल जिला अन्य जिलों से पिछड़ता हुआ नजर आ रही है. इसकी तस्वीर आज साफ हुई जब स्वास्थ्य विभाग ने बैठक कर इस विषय में मंधन किया.

दरअसल आपको बता दें कि करनाल जिले में जनवरी से नवंबर तक 13 हजार 248 लड़कों के मुकाबले 11 हजार 842 लड़कियां पैदा हुई है. यानि लड़कों के मुकाबले 1406 बेटियां कम (Girls are less than boys) पैदा हुई हैं. करनाल में लिंगानुपात 896 पर जा पहुंचा है. हालांकि पिछले दस वर्षों की तुलना में लिंगानुपात में हल्का सा सुधार तो हुआ है लेकिन प्रदेश में अभी भी जिला 17वें स्थान पर है. इन आंकड़ों से साफ अंदाजा लगाया जा सकता है कि या तो जिले में कहीं भ्रूण जांच का खेल चल रहा है या फिर गर्भवती महिलाएं अन्य राज्यों में जाकर भ्रूण जांच (gender test in karnal) करवा रही है.

ऐसे में स्वास्थ्य विभाग की चिंताएं बढ़ना लाजमी है. लिंगानुपात के आंकड़ों को देखते हुए आज करनाल जिले के मुख्य चिकित्सा अधिकारी योगेश शर्मा ने सरकारी तथा गैर सरकारी डॉक्टरों के साथ एक बैठक की इस बैठक में लगातार गिर रहे लिंगानुपात पर चर्चा की गई तथा इसे सुधारने पर भी सभी डॉक्टरों के साथ विचार साझा किए गए. इस विषय पर जानकारी देते हुए मुख्य चिकित्सा अधिकारी योगेश शर्मा ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग (Karnal Health Department) को लगातार जानकारी मिल रही है कि जिले की गर्भवती महिलाएं करनाल के साथ लगते राज्य उत्तर प्रदेश में जाकर भ्रूण जांच कराती हैं.

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इस दौरान यदि गर्भ में लड़की की सूचना मिलती है तो वहीं पर ही गर्भपात भी करा दिया जाता है. इन मामलों को देखते हुए जिला स्वास्थ्य विभाग ने कई बार उत्तर प्रदेश के शामली में भी अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर छापेमारी की है और इसमें जो दोषी पाए गए हैं उनके खिलाफ कार्रवाई भी की गई है. डॉ. योगेश शर्मा ने कहा कि लिंगानुपात को (Sex Ratio in Karnal) बेहतर करने के लिए पूरा प्रयास किया जा रहा है. इसको लेकर जिले के सभी सरकारी तथा गैर सरकारी डॉक्टरों के साथ बैठक की भी की गई है.

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जिन क्षेत्रों में लिंगानुपात कम है वहां की आशा वर्कर, आंगनबाड़ी वर्कर और ए.एन.एम को बुलाकर उनके साथ बैठक की जा रही है. वहीं दूसरी ओर गर्भवती महिलाओं के साथ उनके परिजनों को भी जागरुक किया जा रहा है. आमजन से भी अपील है कि यदि उन्हें भ्रूण जांच व गर्भपात (gender test in karnal) करने के बारे में कहीं से सूचना मिले तो वह इसकी जानकारी स्वास्थ्य विभाग को दे. सूचना देने वाले का नाम गुप्त रखा जाएगा और उसे पुरस्कार भी दिया जाएगा.

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