आणंद (गुजरात): आपने भ्रष्टाचार के खिलाफ कई उग्र प्रदर्शनों के बारे सुना या देखा होगा लेकिन गुजरात के आणंद में भ्रष्टाचार के खिलाफ लोगों ने ऐसा प्रदर्शन किया जो शांतिपूर्ण के साथ ही अनूठा भी था. प्रदर्शन का गांधीगीरी का तरीका भी आपने कई बार देखा और सुना होगा लेकिन आणंद के एक गांव में युवाओं ने अपनी गांधीगीरी से भ्रष्टाचार और सड़क निर्माण को लेकर कई सवाल उठाए.
'सड़क की मौत' पर बुलाई शोक सभा
मामला आणंद जिले के हदगुड गांव का है जहां सड़क के खस्ताहाल होने के बाद स्थानीय युवाओं ने अनोखे ढंग से प्रदर्शन किया. गांव के युवक उसी सड़क के दोनों ओर इकट्ठे होकर मोमबत्तियां जलाकर अपना रोष प्रकट किया. ये प्रदर्शन सड़क निर्माण में हो रहे भ्रष्टाचार के विरोध में भी था. दरअसल ये सड़क हाल ही में बनकर तैयार हुई थी लेकिन कुछ ही दिनों में इस पर दरारें आ गई जो अब बदहाल हो चुकी है. सड़क की खराब गुणवत्ता के विरोध में में ही गांव के युवाओं ने सड़क किनारे ये प्रदर्शन किया.
हदगुड गांव में बनी ये सड़क हाल फिलहाल में ही 14वें वित्त आयोग के तहत मिली आर्थिक मदद से तैयार की गई थी. अब इस सड़क में जगह-जगह गड्ढों की भरमार है. जिसके बाद गांव के युवाओं ने सड़क के दोनों ओर मोमबत्तियां जलाई और 'सड़क की मौत' पर शोक सभा का आयोजन किया. ग्रामीणों के मुताबिक 5 साल की कड़ी मशक्कत के बाद ये सड़क उन्हें नसीब हुई थी लेकिन निर्माण के कुछ वक्त बाद ही सड़क की हालत बद से बदतर हो गई है.
सड़क की आत्मा की शांति के लिए जलाई मोमबत्तियां
सड़क की गुणवत्ता को लेकर ग्रामीणों ने ग्राम पंचायत से लेकर तालुका पंचायत तक उच्च अधिकारियों को शिकायत की. लेकिन किसी के कान पर जूं तक नहीं रेंगी. आखिर में ग्रामीणों ने विरोध का बिगुल बजा दिया. स्थानीय युवाओं और ग्रामीणों ने गांधीगीरी स्टाइल में इकट्ठा होकर सड़क के दोनों तरफ मोमबत्तियां जलाईं और सड़क की आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की.
सड़क निर्माण में भ्रष्टाचार का आरोप
ग्राम पंचायत द्वारा बनाई गई ये सड़क निर्माण के कुछ ही समय बाद टूटने लगी. जिसको लेकर ग्रामीणों का आरोप है कि सड़क निर्माण में भ्रष्टाचार हुआ है. गांव के युवाओं ने उच्च अधिकारियों को कई बार शिकायत की, लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ. सरकारी सिस्टम को जगाने के लिए भी युवाओं ने अनोखे अंदाज में प्रदर्शन करने का फैसला लिया.
सड़क को दोबारा बनाने की मांग
ग्रामीणों के मुताबिक सड़क निर्माण में घटिया सामग्री का इस्तेमाल हुआ जिसके कारण बनने के कुछ दिन बाद ही इसमें दरारें और गड्ढे पड़ गए. जो दिखाता है कि सड़क निर्माण में भ्रष्टाचार हुआ है. ग्रामीणों ने इसके लिए हुदगड ग्राम पंचायत के सदस्यों पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए हैं. ग्रामीणों ने मांग की है कि सड़क का निर्माण दोबारा होना चाहिए. ग्रामीणों ने कहा कि जब तक सड़क का दोबारा निर्माण नहीं हो जाता तब तक उनकी ये जंग चलती रहेगी.
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