सीहोर : तमिलनाडु के कुन्नूर में बुधवार को हुए हेलीकॉप्टर क्रैश में जनरल बिपिन रावत सहित 13 जवान शहीद हाे गए थे. हादसे में सीहोर जिले के 31 साल के नायक जितेंद्र कुमार वर्मा (Nayak of Shaheed Sehore Jitendra Kumar Verma) की भी माैत हाे गई. सीहोर के नायक का सपना था कि उनकी बेटी खूब पढ़े और देश का नाम रोशन करे. उन्होंने 4 साल की बेटी का 13 अगस्त को केजी-1 में एडमिशन करवाया था.
इस दौरान उन्होंने बेटी को अच्छी शिक्षा की इच्छा शिक्षकों के सामने जताई थी. उन्हें याद करते हुए अमलाहा पब्लिक स्कूल के संचालक ने शहीद की बेटी की 12वीं तक की पढ़ाई नि:शुल्क करवाने का निर्णय किया है. बेटी के लिए स्कूल बस भी फ्री कर दी गई है.
पिता को किया वादा पूरा नहीं कर पाए जितेंद्र
जितेंद्र के पिता शिवराज वर्मा ने बताया कि उनके पास करीब तीन एकड़ जमीन है. अपने खेत पर काम करने के साथ उन्होंने मजूदरी भी की और बच्चों को पढ़ाया. उन्होंंने बताया कि हमारा पहले कच्चा मकान था, जितेंद्र 2011 में सेना में भर्ती हुआ तो उसने हमारे लिए खेत पर ही पक्का मकान बनवा दिया. उन्होंने कहा कि वैसे तो वह कभी सीहोर से बाहर नहीं गए, लेकिन बेटा पिछली बार उन्हें सलकनपुर लेकर गया था. वह जनवरी में वैष्णो देवी लेकर जाने का कहकर गया था, लेकिन इस हादसे ने उनका बेटा छीन लिया.
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बचपन में देखा था प्लेन में उड़ने का सपना
जितेंद्र के दोस्त देवनारायण ने बताया कि 'जब भी वह पिता को रुपये भेजता, तो मैं एटीएम से निकालकर उनको देता था.' उसने बताया कि जितेंद्र का आसमान में उड़ने का सपना स्कूल के समय से ही था. वह हमेशा से डिफेंस में जाना चाहता था.
ग्रामीणों को शहीद जितेंद्र के पार्थिव देह के आने का इंतजार है. शुक्रवार को कई अधिकारी गांव पहुंचे और अंतिम कार्यक्रम स्थल का जायजा लिया. रात में कलेक्टर और एसपी भी गांव पहुंचे थे. जितेंद्र की शादी 2014 में सुनीता से हुई थी. उनके दो बच्चे चार साल की बेटी श्रव्या और डेढ़ साल का बेटा चैतन्य हैं.