सरगुजा : साबुन, मॉस्किटो क्वायल, टॉयलेट क्लीनर, फर्श क्लीनर, बर्तन बार जैसे ना जाने कितने उत्पादों में लेमन ऑयल का उपयोग किया जाता है. बायोटेक साइंटिस्ट डॉ. प्रशांत बताते हैं " छत्तीसगढ़ में लेमन ग्रास की दो वेरायटी पाई जाती है. सीकेपी 25 और दूसरी कृष्णा वेरायटी है. दोनों का उपयोग तेल निकालने में किया जाता है. इसमें बहुत सारे औषधीय उपयोग के साथ साथ घरेलू उपयोग की वस्तुओं का निर्माण किया जाता है"
कई गुणों से भरपूर है लेमन ग्रास : डॉ प्रशांत कहते हैं "ये एंटी ऑक्सीडेंट, एंटी बैक्टीरियल और एंटी फंगल भी होता है. घर मे मक्खी, मच्छर का प्रकोप है तो इसकी कुछ बूंदों को अगर पानी मे मिलाकर पोछा लगाये तो हमको इससे निजात मिलती है. ये विटामिन ए का भी स्त्रोत है. जिस कारण ये आंखों के लिये भी फायदेमंद है. एंटी फंगल होने के कारण इसकी कम मात्रा को अगर हम पानी में मिलाकर उपयोग करें तो शरीर मे चर्म रोग से छुटकारा मिलता है. कई साबुन और बर्तन धोने वाले साबुन में भी इसका इस्तेमाल किया जाता है"
कैसे निकालते हैं लेमन ग्रास से तेल : लेमन ग्रास में जो तेल होता है उसका रासायनिक नाम सिट्रल होता है. सिट्रल को निकालने की जो प्रक्रिया है वो आसवन विधि से की जाती है. आसवन विधि के लिए एक छोटी सी यूनिट आती है. जिसको हम असानी से घर में लगा सकते हैं. ये यूनिट 5 लीटर से लेकर कई टन की कैपिसिटी की होती है. सीधी भाषा मे लेमन ग्रास को उबालने पर उसमें से निकलने वाला वाष्प लेमन ऑयल या सिट्रल का काम करता है"
कैसे लगाए लेमन ग्रास : लेमन ग्रास की खेती हम आसानी से घर के गमलों में या बाड़ी में कर सकते हैं. जब इसके पौधे की उम्र 90 दिन से अधिक हो जाए. तब यह परिपक्व होता है. तब इसमे तेल की मात्रा या सिट्रल की मात्रा आ जाती है. तब इसकी पत्तियों को तोड़कर आसवन विधि से उसका तेल निकालना होता है. वैज्ञानिक तर्क की बात करें तो लगभग 1 टन लेमन ग्रास में लगभग 5 से 6 लीटर तेल निकलता है"
किन चीजों में होता है लेमन ग्रास इस्तेमाल : "ग्रास से बने लेमन ऑयल की कुछ बूंद अगर पानी मे डालकर पोंछा लगाए तो इसकी खुशबू भी अच्छी आती है साथ ही एंटी फंगल, एंटी बैक्टीरियल होने के कारण सफाई भी होती है. तेल निकालने के बाद जो घास बच जाती है. उसको सुखाकर उसका पावडर बनाकर उससे मॉस्किटो क्वायल बनता है. जिससे मच्छरों से निजात मिलती है"
स्वच्छ भारत मिशन के नोडल ऑफिसर रितश सैनी बताते हैं कि " हम लोग अपने एसएलआरएम सेंटरों में लेमन ऑयल का उपयोग करते हैं. रिक्शों की सफाई के लिये उपयोग करते हैं. हमने लेमन ग्रास की खेती की है.फिर आसवन विधि के जरिये लेमन ऑयल बना रहे हैं. अभी जितना भी ऑयल उत्पादन हो रहा है वो हमारे ही उपयोग में खत्म हो जाता है.भविष्य में अगर उत्पादन बढ़ा तो इसका कमर्शियल उपयोग भी किया जा सकता है"
ये भी पढ़ें- लेमन ग्रास है हजारों औषधीय गुणों से भरपूर
कैसे करें लेमन ग्रास का इस्तेमाल : लेमन ग्रास से लेमन ऑयल बनाने का संयत्र भी आप 10 से 12 हजार में खरीदकर घर में लगा सकते हैं. घरेलू जुगाड़ से भी ग्रास को उबालकर उसकी भाप निकाल सकते हैं. उबाल से निकलने वाली भाप ही सिट्रल या लेमन ऑयल का काम करती है. ऑयल निकलने के बाद इस ऑयल की कुछ बूंद ही आपके घर को स्वच्छ और चमकदार करने के काम आएगी. बची हुई सूखी घास का पावडर बनाकर मच्छर बनाने का क्वाइल बना सकते हैं.