पश्चिमी चंपारण: जिले के बेतिया में वाल्मीकि व्याघ्र आरक्षण वन प्रमंडल एक और दो सहित वाल्मीकिनगर, गोनौली, हरनाटाड़, चिउटाहां, मदनपुर, रघिया, गोवर्धना के अलावा मंगुराहा वन क्षेत्र में वन्य जीव और वन संपदा की सुरक्षा, संरक्षण और विकास को ध्यान में रखते हुए वाल्मीकि नगर टाइगर रिजर्व प्रशासन द्वारा वन कर्मियों की कार्य स्थल को लेकर कई फेरबदल करने की कार्रवाई शुरू कर दी है.
वन संपदा की सुरक्षा के लिए फेरबदल
वाल्मीकि टाइगर रिजर्व के वन प्रमंडल एक और दो के वन क्षेत्रों में सुरक्षा व्यवस्था को चुस्त दुरुस्त और सख्त बनाने के उद्देश्य से वन कर्मियों की ड्यूटी में फेरबदल करने की प्रक्रिया शुरु की गई है.
ये भी पढ़ें- वाल्मीकि टाइगर रिजर्व: गश्त पर निकले वनकर्मियों को मिला बाघ का शव, वन विभाग में हड़कंप
इस संबंध में वन संरक्षक सह-क्षेत्र निदेशक हेमकांत राय ने बताया कि शिकायतें मिल रही है कि जंगल और जानवरों की सुरक्षा में कतिपय वनपाल, वनरक्षी और दैनिक वनकर्मियों के द्वारा लापरवाही बरती जा रही है. वन अपराध में कुछ वन कर्मियों द्वारा सहयोग के संकेत प्राप्त हो रहे है. इसको गंभीरता से लेते हुए यह कार्रवाई की गई है. वन विभाग ने इसे गंभीरता से लेते हुए दर्जनों वन कर्मियों को चिन्हित करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. उनको जल्द ही प्रमंडलवार स्थांतरण किया जायेगा.
अपराध में संलिप्त वन कर्मी होंगे सेवानिवृत्त
साथ ही कई लापरवाह और वन अपराधियों को संरक्षण देने वाले वन कर्मियों की कार्य शैली के संबंध में जांच भी की जा रही है. जांच में संलिप्त पाए जाने पर उन्हें कार्य मुक्त भी कर दिया जाएगाय उन्होंने बताया कि वाल्मीकि टाइगर रिजर्व प्रशासन वन संपदा और वन्यजीवों की सुरक्षा को अपनी पहली प्राथमिकता मानता है और इसमें कोताही करने वाले किसी भी वन कर्मियों को बख्शा नहीं जाएगा.