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पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह सबूत के अभाव में बरी, लालू के विधायक सहित 4 को भी क्लीन चिट

चुनावी आदर्श आचार संहिता के एक मामले में बिहार के महराजगंज के पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह को बरी कर दिया गया है. वहीं एक अन्य मामले में साक्ष्य के अभाव में सोनपुर के राजद विधायक रामानुज राय सहित 4 लोग भी बरी किये गये हैं.

पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह सबूत के अभाव में बरी
पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह सबूत के अभाव में बरी
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Published : Jul 24, 2021, 11:20 AM IST

सारण : बिहार के महाराजगंज के पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह (Prabhunath Singh) को विशेष मजिस्ट्रेट (Specail Court) एसीजेएम प्रथम रणधीर कुमार ने आचार संहिता उल्लंघन के केस में सबूत के अभाव में बरी कर दिया. बीडीओ राजेश्वर प्रसाद ने 16 अप्रैल 2014 को भगवान बाजार थाने में मामला दर्ज कराया था.

ये भी पढ़ें : पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह के भाई सहित 65 पर FIR, कोविड गाइडलाइन के उल्लंघन का आरोप

पूरा मामला 16 अप्रैल 2014 का है. प्राथिमिकी में बीडीओ ने कहा था कि लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र से राष्ट्रीय जनता दल के प्रत्याशी सह पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के नामांकन पत्र दाखिल करने के बाद जिला स्कूल के बोर्डिंग मैदान में आमसभा में भाषण के दौरान आचार संहिता का उल्लंघन किया गया था. वहीं विशेष मजिस्ट्रेट (एमपी, एमएलए, एमएलसी) सह एसीजेएम प्रथम रणधीर कुमार की कोर्ट ने साक्ष्य के अभाव में सोनपुर के राजद विधायक रामानुज राय सहित चार लोगों को बरी कर दिया. विधायक के साथ ग्राम शाहपुर निवासी बच्चन राय, ग्राम पहलेजा निवासी मोहन राय तथा सतीश कुमार को बरी करने का आदेश दिया है.

इसे भी पढ़ें : 4 दिनों की रिमांड पर भेजा गया आतंकी अरमान मंसूरी, छपरा के CJM कोर्ट में हुई पेशी

बता दें कि 19 जुलाई 1996 को डेढ़ बजे दिन में सोनपुर के तत्कालीन विधायक राजकुमार राय ने सोनपुर थाना में जाकर अपनी जान बचाने की गुहार लगाई थी. उसी समय सभी आरोपी और लगभग 500 अज्ञात व्यक्ति हथियार से लैस होकर नाजायज मजमा बनाकर थाने पर गए और नारा लगाने लगे. हथियार से पुलिस बल पर हमला एवं सरकारी वाहन को क्षतिग्रस्त करने तथा गोली चलाने का आरोप लगा. पुलिस द्वारा 29 मई 2001 को चारों आरोपियों के विरुद्ध आरोप पत्र दाखिल किया गया था. लेकिन कोर्ट में सुनवाई के दौरान विधायक एवं अन्य के खिलाफ कोई साक्ष्य नहीं मिल पाया. जिसके बाद कोर्ट ने सभी चारों आरोपितों को रिहा करने का आदेश दे दिया.

सारण : बिहार के महाराजगंज के पूर्व सांसद प्रभुनाथ सिंह (Prabhunath Singh) को विशेष मजिस्ट्रेट (Specail Court) एसीजेएम प्रथम रणधीर कुमार ने आचार संहिता उल्लंघन के केस में सबूत के अभाव में बरी कर दिया. बीडीओ राजेश्वर प्रसाद ने 16 अप्रैल 2014 को भगवान बाजार थाने में मामला दर्ज कराया था.

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पूरा मामला 16 अप्रैल 2014 का है. प्राथिमिकी में बीडीओ ने कहा था कि लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र से राष्ट्रीय जनता दल के प्रत्याशी सह पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के नामांकन पत्र दाखिल करने के बाद जिला स्कूल के बोर्डिंग मैदान में आमसभा में भाषण के दौरान आचार संहिता का उल्लंघन किया गया था. वहीं विशेष मजिस्ट्रेट (एमपी, एमएलए, एमएलसी) सह एसीजेएम प्रथम रणधीर कुमार की कोर्ट ने साक्ष्य के अभाव में सोनपुर के राजद विधायक रामानुज राय सहित चार लोगों को बरी कर दिया. विधायक के साथ ग्राम शाहपुर निवासी बच्चन राय, ग्राम पहलेजा निवासी मोहन राय तथा सतीश कुमार को बरी करने का आदेश दिया है.

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बता दें कि 19 जुलाई 1996 को डेढ़ बजे दिन में सोनपुर के तत्कालीन विधायक राजकुमार राय ने सोनपुर थाना में जाकर अपनी जान बचाने की गुहार लगाई थी. उसी समय सभी आरोपी और लगभग 500 अज्ञात व्यक्ति हथियार से लैस होकर नाजायज मजमा बनाकर थाने पर गए और नारा लगाने लगे. हथियार से पुलिस बल पर हमला एवं सरकारी वाहन को क्षतिग्रस्त करने तथा गोली चलाने का आरोप लगा. पुलिस द्वारा 29 मई 2001 को चारों आरोपियों के विरुद्ध आरोप पत्र दाखिल किया गया था. लेकिन कोर्ट में सुनवाई के दौरान विधायक एवं अन्य के खिलाफ कोई साक्ष्य नहीं मिल पाया. जिसके बाद कोर्ट ने सभी चारों आरोपितों को रिहा करने का आदेश दे दिया.

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