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रोहतास: सेविका चयन में धांधली को लेकर ग्रामीणों ने किया जमकर हंगामा - villagers created a ruckus regarding rigging in the selection of a servant in rohtas

डालमियानगर इलाके के सिंधौली में बाल विकास परियोजना की ओर से वार्ड नंबर 4 में सेविका चयन के लिए आम सभा बुलाई गई थी. इस दौरान लोगों ने गलत तरीके से बहाली करने का आरोप लगाते हुए हंगामा करना शुरू कर दिया.

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Published : Jan 22, 2020, 7:23 AM IST

रोहतासः आंगनवाड़ी केंद्रों में चयन प्रक्रिया को लेकर धांधली के मामले अक्सर सुनने को मिलते रहते हैं. ऐसा ही कुछ मामला रोहतास जिले से आया है. जहां बाल विकास परियोजना के अधिकारियों पर ग्रामीणों ने चयन में धांधली का आरोप लगाते हुए जमकर बवाल काटा है.

आंगनवाड़ी केंद्रों में चयन प्रक्रिया को लेकर धांधली
दरअसल, डालमियानगर इलाके के सिंधौली में बाल विकास परियोजना की ओर से वार्ड नंबर 4 में सेविका चयन के लिए आम सभा बुलाई गई थी. इस दौरान लोगों ने गलत तरीके से बहाली करने का आरोप लगाते हुए हंगामा करना शुरू कर दिया.

सेविका चयन के लिए बुलाई गई आम सभा
स्थानीय लोगों का कहना है कि एल एस की ओर से नियमों को ताक पर रखकर एक पक्ष को फायदा पहुंचाने के उद्देश्य से मिलीभगत कर बहाली की प्रक्रिया की जा रही है. उनका कहना था कि नियमावली में स्पष्ट दर्ज है कि आवेदिका का नाम मैपिंग पंजी पोषक क्षेत्र में दर्ज के साथ मेघा सूची में शामिल होनी चाहिए. साथ ही आवेदिका का स्थाई निवास भी होना चाहिए. लेकिन सारे दस्तावेज उलट हैं.

देखें पूरी रिपोर्ट

स्थानीय लोगों ने आरोप लगाया गया कि आवेदक का नाम मतदाता सूची में 2016 के अनुसार दर्ज है. लेकिन दस्तावेज में 2018 का मतदाता सूची के आधार पर आवेदन में संलग्न किया गया है, जो कि नियम के विरुद्ध है. साथ ही सबसे बड़ी बात है कि पूरा मामला अभी न्यायालय के अधीन है. बावजूद बहाली की जा रही है.

स्थानीय लोगों ने किया हंगामा
इस पूरे मामले पर जब एल एस से पूछा गया तो वह सवालों से बचती नजर आई, उनका कहना था कि आवेदिका का चयन सही है, प्रक्रिया गलत थी. जिस कारण दोबारा आमसभा विभाग के आदेश के आलोक में की जा रही है.

रोहतासः आंगनवाड़ी केंद्रों में चयन प्रक्रिया को लेकर धांधली के मामले अक्सर सुनने को मिलते रहते हैं. ऐसा ही कुछ मामला रोहतास जिले से आया है. जहां बाल विकास परियोजना के अधिकारियों पर ग्रामीणों ने चयन में धांधली का आरोप लगाते हुए जमकर बवाल काटा है.

आंगनवाड़ी केंद्रों में चयन प्रक्रिया को लेकर धांधली
दरअसल, डालमियानगर इलाके के सिंधौली में बाल विकास परियोजना की ओर से वार्ड नंबर 4 में सेविका चयन के लिए आम सभा बुलाई गई थी. इस दौरान लोगों ने गलत तरीके से बहाली करने का आरोप लगाते हुए हंगामा करना शुरू कर दिया.

सेविका चयन के लिए बुलाई गई आम सभा
स्थानीय लोगों का कहना है कि एल एस की ओर से नियमों को ताक पर रखकर एक पक्ष को फायदा पहुंचाने के उद्देश्य से मिलीभगत कर बहाली की प्रक्रिया की जा रही है. उनका कहना था कि नियमावली में स्पष्ट दर्ज है कि आवेदिका का नाम मैपिंग पंजी पोषक क्षेत्र में दर्ज के साथ मेघा सूची में शामिल होनी चाहिए. साथ ही आवेदिका का स्थाई निवास भी होना चाहिए. लेकिन सारे दस्तावेज उलट हैं.

देखें पूरी रिपोर्ट

स्थानीय लोगों ने आरोप लगाया गया कि आवेदक का नाम मतदाता सूची में 2016 के अनुसार दर्ज है. लेकिन दस्तावेज में 2018 का मतदाता सूची के आधार पर आवेदन में संलग्न किया गया है, जो कि नियम के विरुद्ध है. साथ ही सबसे बड़ी बात है कि पूरा मामला अभी न्यायालय के अधीन है. बावजूद बहाली की जा रही है.

स्थानीय लोगों ने किया हंगामा
इस पूरे मामले पर जब एल एस से पूछा गया तो वह सवालों से बचती नजर आई, उनका कहना था कि आवेदिका का चयन सही है, प्रक्रिया गलत थी. जिस कारण दोबारा आमसभा विभाग के आदेश के आलोक में की जा रही है.

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आंगनबाड़ी केंद्रों में चयन प्रक्रिया को लेकर धांधली के मामले अक्सर सुनने को मिलते रहते हैं ऐसा ही कुछ मामला रोहतास जिले से आया है जहां बाल विकास परियोजना के अधिकारियों पर ग्रामीणों ने चयन में धांधली का आरोप लगाते हुए जमकर बवाल काटा




Body:दरअसल डालमियानगर इलाके के सिधौली में बाल विकास परियोजना के द्वारा वार्ड नंबर 4 में सेविका के चयन के लिए आम सभा बुलाई गई थी ।इस दौरान लोगों ने गलत तरीके से बहाली करने का आरोप लगाते हुए हंगामा करना शुरू कर दिया
स्थानीय लोगों का कहना था कि एल एस के द्वारा नियमों को ताक पर रखकर एक पक्ष को फायदा पहुंचाने के उद्देश्य से मिलीभगत कर बहाली की प्रक्रिया की जा रही है।

उनका कहना था कि नियमावली में स्पष्ट दर्ज है कि आवेदिका का नाम मैपिंग पंजी पोषक क्षेत्र में दर्ज के साथ मेघा सूची में शामिल होनी चाहिए साथ ही आवेदिका का स्थाई निवास भी होना चाहिए लेकिन सारे दस्तावेज उलट हैं यह भी आरोप लगाया गया कि आवेदक का नाम मतदाता सूची में 2016 के अनुसार दर्ज है लेकिन दस्तावेज में 2018 का मतदाता सूची के आधार पर आवेदन में संलग्न किया गया है जो कि नियम के विरुद्ध है
साथ ही सबसे बड़ी बात है कि पूरा मामला अभी न्यायालय के अधीन है बावजूद बहाली की जा रही है






Conclusion:इस पूरे मामले पर जब एल एस से पूछा गया तो वह सवालों से बचती नजर आई उनका कहना था कि आवेदिका का चयन सही है प्रक्रिया गलत थी जिस कारण दोबारा आमसभा विभाग के आदेश के आलोक में की जा रही है बाहर हाल तमाम विरोध के बावजूद आवेदिका विद्यालक्ष्मी का चयन कर लिया गया
बाईट - जुबैर अहमद ग्रामीण
बाईट - सरोज़ा कुमारी एल एस
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