रोहतासः पूर्व सीएम जीतन राम मांझी और तेज प्रताप यादव के बीच अमर्यादित जुबानी टिप्पणियों पर पूर्व विधायक रामेश्वर चौरसिया ने सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने कहा है कि जनता ने इन लोगों को किसी के निजी जिंदगी में ताक-झांक के लिए नहीं चुना है. इन लोगों को प्रदेश की विकास की बात करनी चाहिए.
विकास की चर्चा क्यों नहीं?
यह लोग निजी पारिवारिक मामलो में उलझा कर बिहार की राजनीति की ऐसी की तैसी करने में लगे हैं. आज विकास की बात करने को कोई तैयार नहीं है. कौन कहां जा रहा है? कौन अपने कमरे में क्या कर रहा है? इस पर चर्चा करने में ही सत्ता और विपक्ष अपने महत्वपूर्ण समय को जाया कर रहे हैं. जबकि सरकार में बैठे लोगों को विकास की बात करनी चाहिए और सत्ता पर नजर रखने के लिए विपक्ष को आई ओपनर का काम करना चाहिए. लेकिन आज ऐसा कुछ नहीं हो रहा है.
विकास पर हो चर्चा
सत्ता और विपक्ष पर सवाल खड़ा करते हुए उन्होंने कहा कि जनता एक दूसरे के घरों में ताक झांक करने, कौन शादी किया, कौन नहीं किया? कौन पत्नी को रखा है, कौन पत्नी को छोड़ा है. इन्हीं मुद्दों पर बहस करने के लिए चुनी है क्या? उन्होंने कहा कि व्यक्तिगत तथा निजी हमले बंद होने चाहिए. प्रदेश के विकास पर ही चर्चा को केंद्रित करने की जरूरत है.
बेवजह छींटाकशी से बचें
भाजपा छोड़कर लोजपा में आए रामेश्वर चौरसिया ने कहा कि राजनीति में आज शुचिता का अभाव हो गया है. चाहे किसी दल के नेता हो. उन्हें जनता में अपना विश्वास कायम रखने की जरूरत है. एक दूसरे पर बेवजह छींटाकशी से बचने की आवश्यकता है. विकास के मुद्दे पर सत्तापक्ष को घेरने में विपक्ष की जो भूमिका होनी चाहिए थी, वह भी नहीं दिख रही है. आज जरूरत है कि राजनीति में एक दल के नेता दूसरे दल के नेताओं के व्यक्तिगत मुद्दों पर बात ना करें. चर्चा प्रदेश के विकास पर होनी चाहिए और हम सबका दायित्व है कि जनसमस्याओं को कम करने में अपनी भूमिका निभाएं.