पटनाः जदयू की इफ्तार पार्टी में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव भी शामिल हुए थे. तेजस्वी यादव को सीएम नीतीश कुमार ने गाड़ी तक छोड़ा था. इस पर बिहार में सियासी बयानबाजी तेज हो गई है, लेकिन नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav on Iftar Party Politics in Bihar) ने कहा है कि यह एक शिष्टाचार मुलाकात है. इफ्तार पार्टी में भाग लेना, एक दूसरे को छोड़ना इनमें कहीं कोई राजनीति नहीं है.
यह भी पढ़ें- JDU की इफ्तार पार्टी में सभी दल के नेता हुए शामिल, RCP सिंह और संजय जायसवाल की गैरमौजूदगी रही चर्चा का विषय
'जदयू की इफ्तार पार्टी में सीएम नीतीश कुमार से मुलाकात शिष्टाचार मुलाकात थी. इसे राजनीति रूप देना गलत है. लेकिन लोगों के देखने का अपना-अपना चश्मा है. लोग जिस चश्मे का उपयोग करके जिस तरह से भी देखें, उससे हमें कोई मतलब नहीं है.' - तेजस्वी यादव, नेता प्रतिपक्ष
बिहार में नहीं आया है लाउडस्पीकर हटाने का फैसलाः इसके साथ ही उन्होंने बिहार सरकार के मंत्री जनक राम के उस बयान पर भी पलटवार किया, जिसमें मंत्री ने कहा था कि उत्तर प्रदेश में मंदिर मस्जिद से लाउडस्पीकर हटाए जाते हैं. पड़ोसी राज्य बिहार भी है, यहां भी उसका फर्क जरूर पड़ेगा. इसको लेकर कानून बनाया जाएगा. इस पर तेजस्वी यादव ने कहा कि अगर इस तरह का कानून बिहार में आएगा, तो हम लोग देखेंगे. फिलहाल मंदिर और मस्जिदों में लाउडस्पीकर है. यहां कोई हाईकोर्ट का फैसला नहीं आया है, जबकि उत्तर प्रदेश में तो हाईकोर्ट ने हटाने का फैसला दिया है. बिहार में इस तरह का कोई फैसला नहीं आया है.
बेरोजगारी के मुद्दे पर नहीं बोलती बीजेपी -तेजस्वीः वहीं उन्होंने कहा कि भाजपा और आरएसएस वाले कुछ ना कुछ बयानबाजी करते रहते हैं. अब बिहार में भी सरकार नागपुर से ही चलायी जा रही है. उन्होंने कहा कि धर्म को लेकर जो बातें यह लोग कर रहे हैं, बिल्कुल गलत है. हम लोग सभी धर्मों को एक साथ लेकर चलते हैं. टीका भी लगाते हैं, चंदन भी लगाते हैं, टोपी भी पहनते हैं. हमने तो अपनी शादी भी दूसरे धर्म में की है. सभी धर्म के लोग पूरे देश में बेरोजगार हैं. इस बेरोजगारी के मुद्दे पर भाजपा के लोग कुछ नहीं बोलते हैं. भाजपा के मंत्री जिस तरह से धर्म को लेकर बयान दे रहे हैं, निश्चित तौर पर इसका जवाब उन्हें उन्हीं के मंत्री शाहनवाज हुसैन को देना चाहिए.
विश्वसनीय खबरों को देखने के लिए डाउनलोड करें ETV BHARAT APP