पटना: शक्ति की देवी मां दुर्गा ( Maa Durga ) की अराधना का महापर्व नवरात्र आज से शुरु हो गया है. नवरात्रि ( Navratri ) के पहले दिन मां शैलपुत्री की उपासना की जा रही है. आज के दिन कलश स्थापना किया जाता है. इस साल नवरात्रि 7 अक्टूबर से शुरू होकर 15 अक्टूबर को पूरा होगा. हर दिन मां दुर्गा के अलग-अलग स्वरुपों की पूजा होती है.
गौरतलब है कि कोरोना संक्रमण ( Corona Virus ) के कारण साल 2020 में सभी पर्व त्योहारों पर खास असर पड़ा था. सभी तरह के धार्मिक गतिविधियां रुक गई थी, लेकिन इस बार धार्मिक कार्यक्रमों में छूट दी गई है. इस बाबत पटना डीएम ने गाइडलाइन भी जारी किया है.
ये भी पढ़ें- Shardiya Navratri 2021 : जानिए पहले दिन कैसे करें मां शैलपुत्री की पूजा
पटना डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह ( Patna DM Chandrashekhar ) ने कहा है कि दुर्गा पूजा ( Durga Puja ) के मौके पर राजधानी पटना में बड़े पैमाने पर सांस्कृतिक कार्यक्रम होते हैं, इस बार कोविड-19 को ध्यान में रखकर किसी भी कार्यक्रम की अनुमति नहीं दी जाएगी. उन्होंने बताया कि कालिदास रंगालय में रावण वध कार्यक्रम छोटे पैमाने पर होगा, जिसकी लाइव वेबकास्टिंग होगी. इसके अलावा जिले में कहीं भी रावण वध कार्यक्रम नहीं होगा. इसके अलावे आतिशबाजी पर भी रोक रहेगी.
पटना के डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह ने लोगों से शांतिपूर्ण तरीके से नवरात्र की पूजा आरधना करने की अपील की है. डीएम ने बताया कि ज्यादातर अधिकारियों का सुझाव था कि कोरोना वायरस का खतरा अभी टला नहीं है, इसलिए दशहरा पर मेले के आयोजन की अनुमति नहीं दी जाए, क्योंकि मेले में भीड़ हो जाती है. ऐसी स्थिति में संक्रमण बढ़ सकता है.
ये भी पढ़ें- नवरात्रि: संकल्प का नाम है व्रत, इन चीजों का सेवन करने से सफल हाेगी आराधना
उन्होंने कहा कि दुर्गा पूजा के मौके पर बड़े पैमाने पर पटना में सांस्कृतिक कार्यक्रम होते हैं, इस बार वो भी नहीं होंगे. डीएम ने कहा कि पंडालों में लाउडस्पीकर तो बजेंगे लेकिन अधिक डेसीबल वाले नहीं होंगे. इसके लिए पूजा समितियों को अनुमति लेनी होगी.
दशहरा के आयोजन पर डीएम ने कहा कि रावण वध एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम होता है. इस बार इसकी सार्वजनिक आयोजन की अनुमति नहीं दी जायेगी. कालिदास रंगालय में रावण वध कार्यक्रम छोटे पैमाने पर होगा, जिसकी लाइव वेबकास्टिंग होगी. इसके अलावा जिले में कहीं भी रावण वध कार्यक्रम नहीं होगा. आतिशबाजी पर भी रोक रहेगी.
ये भी पढ़ें- : Shardiya Navratri 2021 : जानिए पहले दिन कैसे करें मां शैलपुत्री की पूजा
डीएम ने कहा कि पूजा समिति के पदाधिकारियों को सभी नियमों का अनुपालन करना होगा. 10 अक्टूबर के पहले सभी पूजा समितियों के पंडालों का सत्यापन कर लाइसेंस निर्गत करने का निर्देश दिया गया है.
डीएम ने कहा कि प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड और नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के निर्देशानुसार नदियों में मूर्ति के विसर्जन पर रोक लगा दी है. इसके लिए जिलाधिकारी ने नगर निगम के अधिकारियों को निर्देश दिया है कि मूर्ति विसर्जन के लिए कृत्रिम तालाब बना दें ताकि पूजा समिति के लोग सुविधाजनक तरीके से विसर्जन कर सकें.