पटना: बिहार विधानमंडल में मॉनसून सत्र चल रहा है. इसके दूसरे दिन विपक्ष एईएस को लेकर सरकार को घेर रही थी. सदन में स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने इसको लेकर सरकार के कार्यो की जानकारी दी. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि यह सरकार एईएस को लेकर पूरी तरह से संवेदनशील है.
मंगल पांडेय ने 2013 से एईएस की वजह से मौत के आंकड़ों को सदन में रखा. एईएस को लेकर उन्होंने कहा कि इसका प्रकोप 1995 से है. दुनिया के कई बड़े अस्पतालों में रिसर्च किया जा रहा है. हर वर्ष लगातार एईएस से मृत्यु दर में कमी आ रही है. इस बीमारी से बिहार में 154 बच्चों की मौत हुई है. एईएस से इस बार बच्चों की मृत्यु दर 21 प्रतिशत है.
सरकार के कार्यों को गिनाया
इसके साथ मंगल पांडेय एईएस को लेकर सरकार की कार्यो को भी गिनाया. उन्होंने कहा कि प्रदेश के 12 जिलों के सभी अस्पतालों में इसके लिए व्यवस्था की गयी है. एईएस बीमारी को लेकर जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है. लीची की पैदावार करने वाले जिले के लिए 18 लाख पैंपलेट दिये गये हैं. इनमें 14 लाख बांटे गये हैं. ओआरएस भी बांटा गया है. इसको लेकर सोशल मीडिया, फेसबुक और ट्विटर के माध्यम से प्रचार भी किया गया है.