पटना: बिहार विधान परिषद के लिए बड़ी खुशखबरी है. मालूम हो कि भारत सरकार ने पूरे देश में विधानसभा और विधान परिषदों में ई-विधान लागू करने का फैसला लिया था, जिसमें बिहार विधान परिषद इसे लागू करने के मामले में अव्वल आया है. भारत सरकार ने इसकी सूचना बिहार विधान परिषद के सभापति हारून रशीद को दी है. हारून रशीद के अनुसार एक-दो दिनों में भारत सरकार से इसका पत्र भी आ जाएगा.
उत्साहित दिखे सभापति हारून रशीद
ज्ञात हो कि पिछले साल ही ई-विधान पर काम शुरू हुआ था. बिहार के सदस्यों ने इस सुविधा का बेहतर इस्तेमाल किया है, जिसका इनाम भी बिहार को मिलेगा. बिहार ई-विधान को लागू करने वालों राज्यों में सबसे आगे है. बिहार विधान परिषद के सभापति हारून रशीद इससे काफी उत्साहित हैं. उनका कहना है कि इस दिशा में और भी बेहतर काम किया जाएगा. उन्होंने बताया कि इसे सफल बनाने में कर्मचारियों ने बहुत मेहनत की है.
परिषद सदस्यों समेत आम लोग भी ले सकेंगे लाभ
बता दें कि बिहार विधान परिषद में कुल 75 सदस्य होते हैं. जिसमें अभी 2 सदस्यों का पद रिक्त है. मानसून सत्र 28 जून से होने वाला है. उसमें भी ई-विधान का अधिक से अधिक लाभ सदस्यों के साथ आम लोग भी ले सकेंगे. इसके माध्यम से लोगों को विधान परिषद की कार्यवाही की पूरी जानकारी आसानी से मिल सकेगी.
क्या है ई-विधान?
21 अप्रैल 2018 को केंद्रीय संसदीय मामलों के मंत्रालय ने संसद भवन में सरकार की ई-विधान परियोजना के लिए केंद्रीय परियोजना निगरानी इकाई के नए कार्यालय का उद्घाटन किया था. इसे संसदीय मामलों, सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन के केंद्रीय राज्य मंत्री (एमओएस) विजय गोयल की ओर से शुरू किया गया था.
मुख्य बातें
- ई-विधान मिशन मोड परियोजना को डिजिटलीकृत करने और भारत में राज्य विधानसभाओं के कामकाज के भार को कम करने ,पेपर लेस करने के लिए शुरू हुई थी
- यह केंद्र सरकार के डिजिटल इंडिया कार्यक्रम का हिस्सा है
- यह काफी हद तक कागज के उपयोग को कम करके स्वच्छता और पर्यावरण में योगदान देता है