पटना: 26 जनवरी यानी गणतंत्र दिवस के अवसर पर देश को दहलाने की साजिश को नाकाम कर दिया गया है. देश की राजधानी दिल्ली ( explosive found in delhi), पंजाब और जम्मू कश्मीर में सुरक्षा एजेंसियों ने बड़ी साजिश का पर्दाफाश किया है. पूर्वी दिल्ली के गाजीपुर फूल मंडी में आइईडी मिलने से हड़कंप मच गया. इसके बाद बिहार पुलिस मुख्यालय ने सभी जिलों को अलर्ट कर दिया है. क्या इस मामले का कनेक्शन बिहार (Bihar Terrorist Connection) से भी है, इसकी भी जांच की जा रही है.
गाजीपुर फूल मंडी से आईईडी मिलने के बाद बम निरोधक दस्ता के द्वारा उसे निष्क्रिय किया गया है. वहीं श्रीनगर के ख्वाजा बाजार में भी आईईडी बरामद किया गया है तो, पंजाब में भी आरडीएक्स की बड़ी खेप बरामद की गई है. बड़ी तादाद में तबाही का सामान बरामद होने के बाद बिहार पुलिस मुख्यालय ने सभी जिलों को अलर्ट कर दिया है. बिहार पुलिस मुख्यालय के विशेष सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली पुलिस ने बिहार पुलिस से इस मामले को देखते हुए संपर्क भी किया है.
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पुलिस मुख्यालय के विशेष सूत्रों से मिल रही जानकारी के अनुसार दिल्ली पुलिस के द्वारा बरामद किए गए आईईडी के बाद अनुमान जताया जा रहा है कि, इसे बिहार के रास्ते दिल्ली लाया गया है. सूचना के मुताबिक नेशनल जांच एजेंसी को शक है कि, आतंकी संगठन ने एक साजिश के तहत जम्मू कश्मीर के साथ यूपी,बिहार के युवाओं को भर्ती करने की योजना बनाई थी. इसे लेकर एनआईए के द्वारा रविवार को एक चार्जशीट दाखिल की गई थी.
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दाखिल चार्जशीट से यह बात सामने आयी है कि, बिहार के गरीब लड़कों को पैसे का लालच देकर और उनकी मजबूरी का फायदा उठाकर उन्हें जिहादी बनाया गया था. उसके पीछे का मुख्य कारण है कि, बिहार से कई आतंकियों को पहले भी गिरफ्तार किया जा चुका है. जिसका कनेक्शन कई आतंकियों के साथ पहले भी मिल चुका है. जांच एजेंसियों को शक है कि, आतंकी संगठन ने बिहार के उन आरोपी युवाओं को टारगेट किया था जो, बेहद कम पैसों के लिए ही बिहार से हथियार की सप्लाई करने के लिए तैयार हो जाते थे.
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एनआईए की जांच में सामने आया है कि, ज्यादा से ज्यादा पैसे देने का लालच देकर हथियारों की सप्लाई करवाई गई थी. बिहार में हथियार बनाकर उसे बिहार से पंजाब, हरियाणा के रास्ते जम्मू कश्मीर के अंदर सप्लाई का काम भी सौंपा गया था. दरअसल नेपाल और बांग्लादेश के रास्ते बिहार में आतंकी पहले भी घुसते आए हैं और अब विशेष सूत्रों के अनुसार दिल्ली के गाजीपुर फूल मंडी में आईईडी मिलने के साथ श्रीनगर के ख्वाजा बाजार में आईईडी बरामद और पंजाब में आरडीएक्स की बड़ी खेप बरामद होने में बिहार कनेक्शन भी सामने आ सकता है.
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फिलहाल पूरे मामले की पड़ताल चल रही है. हालांकि औपचारिक रूप से ना ही जांच एजेंसी और ना ही बिहार पुलिस मुख्यालय कुछ भी बोलने को तैयार है. दरअसल बिहार के सीमावर्ती इलाके इंडियन मुजाहिदीन के लिए सेफ जोन बन गया है. इंडियन मुजाहिदीन अब अपने नापाक मंसूबों को अंजाम तक पहुंचाने के लिए बिहार के सीमावर्ती इलाकों का इस्तेमाल कर रहा है.
दरअसल आतंकियों से बिहार का लगातार कनेक्शन सामने आ रहा है. बिहार का सीमांचल मिथिलांचल इलाका आतंकियों के छुपने के लिए सेफ जोन माना जाने लगा है. साल 2013 में खुफिया एजेंसियों ने इंडियन मुजाहिदीन के मोस्ट वांटेड सरगना यासीन भटकल और असादुल्लाह उर्फ हड्डी को रक्सौल से गिरफ्तार किया था. वहीं लश्कर के बम मशीन अब्दुल करीम टुंडा को भारतीय नेपाल सीमा से ही गिरफ्तार किया गया था.
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लश्कर के नेपाल चीफ मोहम्मद मदनी को 2009 में गिरफ्तार किया गया था. यही नहीं दरभंगा ब्लास्ट मामले में जिन आतंकियों को गिरफ्तार किया गया है, उसका कनेक्शन भी बिहार से रहा है. साल 2006 में बेनीपट्टी से मोहम्मद कमाल की गिरफ्तारी की गई थी. साल 2008 में सलाउद्दीन को सकरी और मोहम्मद फारुख को मधवापुर और मोहम्मद मुख्तार अली खान को साल 2019 में मधुबनी से गिरफ्तार किया गया था. आपको बता दें कि, साल 2021 में अरमान अली पर मोहम्मद जावेद के साथ मिलकर जम्मू कश्मीर के आतंकियों को पिस्तौल सप्लाई करने के आरोप लगा था. बिहार एटीएस ने 15 जनवरी 2021 को छपरा से उसे गिरफ्तार किया था.
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बिहार में हाल ही में गोपालगंज जिले से जफर अब्बास जो इंडियन मुजाहिदीन के पैसे से आलीशान मकान बना रहा था, उसे गिरफ्तार किया गया है. इंडियन मुजाहिदीन के स्लीपर से अब्बास पैसों की फंडिंग (Terror funding case) किया करता था. इन सभी मामलों को देखते हुए हाल के दिनों में दिल्ली, पंजाब और जम्मू-कश्मीर में मिले विस्फोटक पदार्थ का कनेक्शन बिहार से खंगाला जा रहा है, जिसको लेकर बिहार पुलिस मुख्यालय के विशेष सूत्रों के अनुसार दिल्ली पुलिस ने बिहार पुलिस से संपर्क किया है.
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