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ग्रामीण सड़कों में गड़बड़ी करने वाले अधिकारियों पर होगी कार्रवाई, 7 टीम सभी जिलों में करेंगी जांच

राज्य में ग्रामीण कार्य विभाग की ओर से ग्रामीण इलाकों में बनाई जाने वाली सड़कों की जांच बुधवार से शुरू होगी. इसके लिए विभाग की ओर से सात टीम का गठन कर दिया गया है.

सचिव पंकज पाल
सचिव पंकज पाल
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Published : Feb 23, 2021, 7:00 PM IST

पटना: राज्य में बनने वाले ग्रामीण सड़कों में कई जगहों से गड़बड़ी की सूचना मिलने के बाद विभाग गंभीर हो गया है. राज्य में ग्रामीण कार्य विभाग की ओर से ग्रामीण इलाकों में बनाई जाने वाली सड़कों की जांच बुधवार से शुरू होगी. इसके लिए विभाग की ओर से सात टीम का गठन कर दिया गया है. इस टीम का नेतृत्व अध्यक्ष अधीक्षण अभियंता और कार्यपालक अभियंता की ओर से किया जाएगा. इनके साथ जूनियर इंजीनियर और असिस्टेंट इंजीनियर भी टीम में शामिल होंगे. बीते दिनों कई जगहों पर घर बारी की सूचना मिलने के बाद विभाग की ओर से तत्काल कई इंजीनियरों पर कार्रवाई करते हुए निलंबित भी कर दिया गया है.

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'पिछले दिनों 50 ग्रामीण सड़कों की जांच की गई थी. जिसमें 2 जगहों पर कई तरह की गड़बड़ियां पाई गईं, जहां पर गड़बड़ियां हुई है. वहां के संबंधित अधिकारी और कर्मचारी को शो कॉज नोटिस करते हुए निलंबित कर दिया गया है. इसके अलावा इन पर विभागीय कार्रवाई भी की जाएगी. इसके बाद ही विभाग ने निर्णय लिया है, कि अगले 1 माह के भीतर राज्य के सभी जिलों की ग्रामीण सड़कों के मेंटेनेंस और मरम्मत कार्य का स्थल निरीक्षण का रिपोर्ट जमा किया जाएगा.- पंकज पाल, सचिव, ग्रामीण कार्य विभाग

वास्तविक स्थिति का करेंगे आकलन
पंकज पाल ने बताया कि निरीक्षण के दौरान टीम की ओर से राज्य में प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क और मुख्यमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के अंतर्गत निर्माणाधीन सड़कों की वास्तविक स्थिति का आकलन करेंगे. अगर कहीं बजट रिवाइज की जरूरत महसूस होगी तो वह भी किया जाएगा. जिन पथों में कमियां पाई जाएंगी उसका स्टीमेट रिवीजन भी किया जाएगा. अगर सड़क की लंबाई, चौड़ाई या गुणवत्ता में और सुधार करने की जरूरत है तो वह कार्यवाही तेजी से की जाए लेकिन काम बाधित न हो इसका पूरा ख्याल रखा जाएगा.

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पुराने एस्टीमेट में बदलाव की जरूरत
वहीं, अगर निर्माण कार्य को पूरा करने में पुराने एस्टीमेट में बदलाव करने की जरूरत होगी तो उसकी भी विभाग की ओर से जल्द प्रशासनिक स्वीकृति दी जाएगी. पंकज पाल ने बताया कमेटी गठन करने का उद्देश्य राज्य में कौन है. ग्रामीण सड़क निर्माण कार्य की गुणवत्ता की जांच करने के साथ-साथ उसमें बेहतरीन करने का है.

पटना: राज्य में बनने वाले ग्रामीण सड़कों में कई जगहों से गड़बड़ी की सूचना मिलने के बाद विभाग गंभीर हो गया है. राज्य में ग्रामीण कार्य विभाग की ओर से ग्रामीण इलाकों में बनाई जाने वाली सड़कों की जांच बुधवार से शुरू होगी. इसके लिए विभाग की ओर से सात टीम का गठन कर दिया गया है. इस टीम का नेतृत्व अध्यक्ष अधीक्षण अभियंता और कार्यपालक अभियंता की ओर से किया जाएगा. इनके साथ जूनियर इंजीनियर और असिस्टेंट इंजीनियर भी टीम में शामिल होंगे. बीते दिनों कई जगहों पर घर बारी की सूचना मिलने के बाद विभाग की ओर से तत्काल कई इंजीनियरों पर कार्रवाई करते हुए निलंबित भी कर दिया गया है.

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'पिछले दिनों 50 ग्रामीण सड़कों की जांच की गई थी. जिसमें 2 जगहों पर कई तरह की गड़बड़ियां पाई गईं, जहां पर गड़बड़ियां हुई है. वहां के संबंधित अधिकारी और कर्मचारी को शो कॉज नोटिस करते हुए निलंबित कर दिया गया है. इसके अलावा इन पर विभागीय कार्रवाई भी की जाएगी. इसके बाद ही विभाग ने निर्णय लिया है, कि अगले 1 माह के भीतर राज्य के सभी जिलों की ग्रामीण सड़कों के मेंटेनेंस और मरम्मत कार्य का स्थल निरीक्षण का रिपोर्ट जमा किया जाएगा.- पंकज पाल, सचिव, ग्रामीण कार्य विभाग

वास्तविक स्थिति का करेंगे आकलन
पंकज पाल ने बताया कि निरीक्षण के दौरान टीम की ओर से राज्य में प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क और मुख्यमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के अंतर्गत निर्माणाधीन सड़कों की वास्तविक स्थिति का आकलन करेंगे. अगर कहीं बजट रिवाइज की जरूरत महसूस होगी तो वह भी किया जाएगा. जिन पथों में कमियां पाई जाएंगी उसका स्टीमेट रिवीजन भी किया जाएगा. अगर सड़क की लंबाई, चौड़ाई या गुणवत्ता में और सुधार करने की जरूरत है तो वह कार्यवाही तेजी से की जाए लेकिन काम बाधित न हो इसका पूरा ख्याल रखा जाएगा.

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पुराने एस्टीमेट में बदलाव की जरूरत
वहीं, अगर निर्माण कार्य को पूरा करने में पुराने एस्टीमेट में बदलाव करने की जरूरत होगी तो उसकी भी विभाग की ओर से जल्द प्रशासनिक स्वीकृति दी जाएगी. पंकज पाल ने बताया कमेटी गठन करने का उद्देश्य राज्य में कौन है. ग्रामीण सड़क निर्माण कार्य की गुणवत्ता की जांच करने के साथ-साथ उसमें बेहतरीन करने का है.

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