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लॉकडाउन में ईंट-भट्ठा संचालकों की भी बढ़ी परेशानी, सरकार से लगाई मदद की गुहार

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Published : Apr 18, 2020, 12:04 PM IST

Updated : May 24, 2020, 4:20 PM IST

लॉकडाउन की वजह से ईंट का धंधा पूरी तरह से ठप हो गया है और लॉकडाउन के बाद भी इस धंधे में गिरावट की आशंका है. ऐसे में ईंट भट्ठा संचालक हताश दिख रहे हैं.

मधेपुरा
मधेपुरा

मधेपुराः कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए बिहार सहित पूरे देश को लॉकडाउन किया गया है, ये 3 मई तक जारी रहेगा. ऐसे में सभी कामकाज ठप पड़े हैं. लेकिन सरकार अब लॉकडाउन में ढील देने जा रही है. जिसके तहत सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए कुछ क्षेत्र में काम शुरू करने की अनुमति दी गई है.

हताश हैं ईंट-भट्ठा संचालक
इसके तहत ईंट निर्माण कार्य को भी छूट दी गई है, लेकिन इसकी बिक्री पर पूरी तरह प्रतिबंध रहेगा. ऐसे में ईंट भट्ठा संचालक ईंट निर्माण में आने वाली लागत को लेकर हताश हैं. ईंट उद्योग संघ के जिला सचिव मिथिलेश कुमार ने कहा कि लॉकडाउन के बाद से धंधा पूरी तरह ठप पड़ गया है और लॉकडाउन के बाद भी इस धंधे में गिरावट की आशंका है. ईंट-भट्ठा संचालक मजदूरों को बैठाकर पैसा दे रहे हैं. ऐसे में ईंट निर्माण में आने वाली लागत को लेकर संचालक चिंतित हैं.

'इधर भी ध्यान दे सरकार'
मिथिलेश कुमार ने कहा कि जिले में ईंट-भट्ठों पर प्रदेश के कई जिलों सहित दूसरे राज्यों के भी मजदूर काम करते हैं. लॉकडाउन की वजह से कोई भी घर नहीं जा सका. ऐसे में भट्ठा संचालकों को ही उनके रहने-खाने का इंतजाम करना पड़ा. उन्होंने कहा कि भट्ठा संचालक आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं. सरकार को इस ओर भी ध्यान देना चाहिए.

मधेपुराः कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए बिहार सहित पूरे देश को लॉकडाउन किया गया है, ये 3 मई तक जारी रहेगा. ऐसे में सभी कामकाज ठप पड़े हैं. लेकिन सरकार अब लॉकडाउन में ढील देने जा रही है. जिसके तहत सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए कुछ क्षेत्र में काम शुरू करने की अनुमति दी गई है.

हताश हैं ईंट-भट्ठा संचालक
इसके तहत ईंट निर्माण कार्य को भी छूट दी गई है, लेकिन इसकी बिक्री पर पूरी तरह प्रतिबंध रहेगा. ऐसे में ईंट भट्ठा संचालक ईंट निर्माण में आने वाली लागत को लेकर हताश हैं. ईंट उद्योग संघ के जिला सचिव मिथिलेश कुमार ने कहा कि लॉकडाउन के बाद से धंधा पूरी तरह ठप पड़ गया है और लॉकडाउन के बाद भी इस धंधे में गिरावट की आशंका है. ईंट-भट्ठा संचालक मजदूरों को बैठाकर पैसा दे रहे हैं. ऐसे में ईंट निर्माण में आने वाली लागत को लेकर संचालक चिंतित हैं.

'इधर भी ध्यान दे सरकार'
मिथिलेश कुमार ने कहा कि जिले में ईंट-भट्ठों पर प्रदेश के कई जिलों सहित दूसरे राज्यों के भी मजदूर काम करते हैं. लॉकडाउन की वजह से कोई भी घर नहीं जा सका. ऐसे में भट्ठा संचालकों को ही उनके रहने-खाने का इंतजाम करना पड़ा. उन्होंने कहा कि भट्ठा संचालक आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं. सरकार को इस ओर भी ध्यान देना चाहिए.

Last Updated : May 24, 2020, 4:20 PM IST
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