लखीसरायः आजादी के 72 साल पूरे हो जाने के बाद भी लखीसराय शहीद द्वार स्थित स्मारक स्थल प्रशासनिक उपेक्षा का शिकार बना हुआ है. ना तो इसका कोई अनावरण हुआ और न ही समुचित देखरेख की कोई व्यवस्था की गई.
जिले के स्वतंत्रता सेनानियों ने देश की आजादी में अपना बलिदान दे दिया. जिसके याद में यहां शहीद स्मारक का निर्माण किया गया. लेकिन प्रशासनिक लापरवाही के कारण शहीदों की उपेक्षा हो रही है. जिला प्रशासन और नगर प्रशासन ने मिलकर शहीदों की याद में स्मारक स्थल बनाए, ताकि आने वाला भविष्य देश की गरिमा और पहचान को जान सके.
शहीद द्वार स्थित स्मारक स्थल
एसडीएम मुरली प्रसाद सिंह ने कहा कि शहर के शहीद द्वार स्थित स्मारक स्थल को सुसज्जित तरीके से बनाने के लिए नगर प्रशासन की ओर से शीघ्र ही कार्य शुरू किया जाएगा. यह स्मारक स्थल पटना के कारगिल शहीदों के सम्मान में बने, स्मारक के समान होगा और जहां तहां बिखरे तमाम स्मारक स्थल के स्तंभ चिन्ह को सुसज्जित तरीके से सजाया जाएगा.
नगर प्रशासन करेगा शीघ्र कार्य
लखीसराय नगर परिषद के उपसभापति अरविंद पासवान ने कहा कि शहीद द्वार स्थित स्मारक स्थल के निर्माण के लिए विशेष डीपीआर भवन निर्माण विभाग को बनाना है, जिसका प्राक्कलन अभी तक तैयार नहीं हुआ है. इसके लिए लखीसराय एसडीओ से हमारी बातचीत हुई थी लेकिन भवन निर्माण विभाग द्वारा कोई प्राक्कलन नहीं भेजी गई जिसके कारण शहीद स्मारक बनाने में देर हो गई जब भी भवन निर्माण विभाग से प्राक्कलन बनाकर नगर परिषद को भेजी जाएगी तो नगर परिषद शीघ्र ही शहीद स्मारक के लिए निर्माण कार्य शुरू करा देगा.