कटिहारः राज्य के लोगों को आर्थिक सहायता प्रदान करने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मुख्यमंत्री ग्राम परिवहन योजना की शुरुआत की थी. इस योजना के तहत लोगों को वाहन खरीदने के लिए 50% तक की सब्सिडी प्रदान करने की योजना थी. जिससे ग्रामीण वित्तीय सहायता से खुद का रोजगार शुरू कर सके. इस योजना से जिले के बेरोजगार लोगों को रोजगार का नया अवसर मिला है. योजना के तहत सब्सिडी प्राप्त वाहन सड़कों पर फर्राटा भरते दिखाई दे रहे हैं.
हर पंचायत से 5 लोगों को योजना का लाभ
योजना के तहत बिहार सरकार राज्य से हो रहे पलायन को रोकने में भी अहम कदम मान रही है. सरकार का मानना है इसके जरिए लोग अपने घर में ही रोजगार कर रहे हैं. उन्हें पैसे कमाने के लिए दूसरे राज्यों का रुख नहीं करना पड़ रहा है. बता दें कि जिले में कुल 235 पंचायत हैं, सभी पंचायतों में 5 लोगों को इस योजना का लाभ दिया जा रहा है. योजना को 4 फेज में पूरा कर लिया गया है.
'नहीं मिल रहा योजना का सही लाभ'
योजना का लाभ उठाने वाले लाभार्थी संजय कुमार विश्वास ने कहा कि मुख्यमंत्री ने बेरोजगारों को रोजगार देने के लिए यह योजना लाई थी. लेकिन इस योजना का लाभ लोगों को सही से नहीं मिल रहा है. वाहन खरीदने के लिए बिहार सरकार की ओर से इसके लिए 1लाख तक की सब्सिडी दी जाती है. जबकि तीन पहिया वाहन में 4 लाख का खर्च आता है. उनका कहना है कि यदि हम खुद अपने पैसे से वाहन खरीदे तो ढाई से तीन लाख के बीच नया वाहन आ जाएगा, लेकिन योजना के तहत हमें 1 लाख अधिक चुकाना पड़ रहा है.
पलायन को रोकने में अहम कदम
मामले में उप विकास आयुक्त सुश्री वर्षा सिंह ने कहा कि यह योजना बिहार में पलायन को कम करने में एक अहम कदम माना जा रहा है. इसके जरिए जिले के लोगों का पलायन भी रुका है और लोग इसके तहत लोग अपनी जीविकोपार्जन चला रहे हैं. उन्होंने बताया जिले में कई लोगों ने इसका लाभ उठाया है. उन्होंने बताया कि आगे अभी इसका काम जारी है.