जमुई: जमुई के अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रथम सह विशेष न्यायाधीश अनंत कुमार ने नाबालिग के साथ हुए दुष्कर्म मामले में अभियुक्त 23 वर्षीय मोहम्मद नैयर को 10 साल की सजा सुनाई (Punishment for raping Jamui minor) है. इसके अलावा न्यायाधीश ने आरोपी पर 50,000 रुपए का जुर्माना भी लगाया है. जुर्माना की राशि पीड़िता को देने का आदेश दिया गया है. साक्ष्य के अभाव में उसके मां-पिता और अन्य पांच अभियुक्तों को रिहा कर दिया गया.
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दोनों पक्षों के वकीलों की दलीलें सुनकर सुनाई सजा: एडीजे प्रथम अनंत कुमार ने अपने 27 पेज के फैसले में अभियोजन की ओर से प्रस्तुत 7 गवाह साक्ष्य और दस्तावेज तथा मेडिकल रिपोर्ट का अवलोकन करने के बाद दोनों पक्षों के वकीलों की दलीलें सुनकर मोहम्मद नैयर को यह सजा सुनाई. सरकार की ओर से अपर लोक अभियोजक रामाकांत सिंह और बचाव पक्ष की ओर से अधिवक्ता श्याम देव सिंह ने बहस की.
कोलकाता ले जाकर किया दुष्कर्म: जमुई महिला थाना में दर्ज एफआइआर और पीड़िता के आवेदन मे कहा गया कि सोनो थाने मोहम्मद नैयर ने शादी का प्रलोभन दिया. उसके बाद नाबालिग के साथ शारीरिक संबंध बनाया. 25 दिसंबर 2020 को उसे लेकर कोलकाता गया और वहां भी उसके साथ दुष्कर्म किया. बाद में युवक ने निकाह से इनकार कर दिया. उसके परिजनों ने नाबालिग और उसके परिवार वालों की पिटाई भी कर दी.
मां-पिता व अन्य पांच अभियुक्तों को किया रिहा : इस मामले में उपलब्ध साक्ष्य और गवाहों के बयान के आधार पर एडीजे प्रथम ने मोहम्मद नैयर को सजा सुनायी. जबकि साक्ष्य के अभाव में उसकी मां पिता एवं अन्य पांच अभियुक्तों को रिहा कर दिया गया.