गोपालगंजः जिले के हरखुआ गांव निवासी धनंजय शर्मा का परिवार लॉकडाउन की वजह से पिछले 4 दिनों से भूखा था. कोई मदद करने वाला भी नहीं था. मजबूरन नाबालिग बच्चे को मजदूरी करनी पड़ी, लेकिन उससे मिले पैसे भी परिवार का भूख मिटाने के बजाए कर्जदार को देने पड़े. ईटीवी भारत के इस खबर को दिखाए जाने के बाद इस परिवार की मदद के लिए मददगार पहुंचने लगे हैं.
परिवार को मिला राशन
जिले प्रसिद्ध डॉक्टर समीम परवेज और उनकी पत्नी तबस्सुम आरा ने पीड़ित परिवार के बीच पहुंच कर उनकी हालत जानी और उन्हें चावल, आटा, दाल, तेल, नमक, सर्फ, साबुन और आलू सहित कई अन्य खाद्य सामग्री पहुंचाई. साथ ही उनकी हरसंभव मदद करने की बात कही है.
मदद करने की अपील
पीड़ित परिवार खाद्य सामग्री पाकर काफी खुश है. उन्होंने ईटीवी भारत को धन्यवाद देते हुए कहा कि खबर दिखाने के बाद हम लोगों तक मदद पहुंची है. इससे पहले कोई देखने भी नहीं आता था. डॉ. समीम परवेज ने कहा कि ईटीवी भारत पर दिखाई गई खबरों के बाद हम लोग यहां जरूरतमंद लोगों के बीच खाद्य सामग्री का वितरण करने आए हैं. उन्होंने जिले के लोगों से भी आसपास रहने वाले लोगों की मदद करने की अपील की.
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मजबूरन करनी पड़ी मजदूरी
बता दें कि धनंजय शर्मा गुजरात में दर्जी का काम कर परिवार का भरण पोषण करते थे, लेकिन लॉकडाउन के कारण उनका काम बंद है. जिससे उनकी पत्नी और बच्चे कई दिनों से भूखे रह रहे थे. मजबूरन डीएवी स्कूल में पढ़ाई कर रहे सातवीं के छात्र ने परिवार का भूख मिटाने के लिए पहली बार मजदूरी की, लेकिन कर्ज चुकाने की वजह से उन्हें भोजन नहीं मिल पाया. ईटीवी भारत के '4 दिनों से दाने दाने को मोहताज है ये परिवार' शीर्षक से खबर दिखाए जाने के बाद इस परिवार तक मदद पहुंची है.